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कोरोना संकट : जन्म देने के बाद भी बच्चे को दूध नहीं पिला सकती है मां

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Published : Apr 18, 2020, 8:08 PM IST

देशभर में कोरोना से हाहाकार मचा हुआ है. कोरोना से हर वर्ग के लोग बुरी तरह प्रभावित हुए हैं. यहां तक कि कोरोना के कारण छोटे और नवजात बच्चे भी अपनी मां से दूर हो गए हैं. देशभर के अलग अलग राज्यों से इस तरह के कई मामले सामने आ रहे, जहां कोरोना के कारण मां-बाप अपने बच्चों से अलग होने को मजबूर हो गए हैं.

जिला अस्पताल
जिला अस्पताल

कर्नाटक/ मुंबई : देशभर में कोरोना से हाहाकार मचा हुआ है. कोरोना से हर वर्ग के लोग बुरी तरह प्रभावित हुए हैं. यहां तक कि कोरोना के कारण छोटे और नवजात बच्चे भी अपनी मां से दूर हो गए हैं. देशभर के अलग अलग राज्यों से इस तरह के कई मामले सामने आ रहे, जहां कोरोना के कारण मां-बाप अपने बच्चों से अलग होने को मजबूर हो गए हैं.

दरअसल, कर्नाटक के वीरभद्रनगर के निवासी संतोष और दीपा जनमाति दोनों बेलागवी के जिला अस्पताल में स्वास्थ्यकर्मी हैं. इन्हें बीआईएमएस के आइसोलेशन वार्ड में ड्यूटी सौंपी गई थी. ड्यूटी खत्म होने के बाद दोनों को क्वारन्टीन कर दिया गया है. उनका एक साल का बच्चा है, लेकिन उन्हें मिलने की इजाजत नहीं दी गई है.

ऐसा ही एक मामला महाराष्ट्र के औरंगाबाद से सामने आया ह. यहां एक कोरोना पॉजिटिव महिला ने बच्चे को जन्म दिया. लेकिन वह अपने बच्चे को ना तो दूध पिला सकती है और ना ही उसके नजदीक जा सकती है. हालांकि, उनका बच्चा तंदुरुस्त है.

इसके अलावा यूपी के गाजियाबाद के इस्लाम नगर की रहने वाली एक गर्भवती महिला को नंद ग्राम के अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां महिला ने बच्चे को जन्म दिया. उस महिला का टेस्ट हुआ, तो वह कोरोना से संक्रमित पाई गई. उसे उसके बच्चे से अलग रखा गया है. महिला के घर पर स्वास्थ्य विभाग की टीम पहुंची, और घर के साथ-साथ इलाके को भी सैनिटाइज कर दिया.

पढ़ें - भारत में कोरोना : संक्रमित लोगों का आंकड़ा 14 हजार के पार, मृतकों की संख्या 480 तक पहुंची

कर्नाटक/ मुंबई : देशभर में कोरोना से हाहाकार मचा हुआ है. कोरोना से हर वर्ग के लोग बुरी तरह प्रभावित हुए हैं. यहां तक कि कोरोना के कारण छोटे और नवजात बच्चे भी अपनी मां से दूर हो गए हैं. देशभर के अलग अलग राज्यों से इस तरह के कई मामले सामने आ रहे, जहां कोरोना के कारण मां-बाप अपने बच्चों से अलग होने को मजबूर हो गए हैं.

दरअसल, कर्नाटक के वीरभद्रनगर के निवासी संतोष और दीपा जनमाति दोनों बेलागवी के जिला अस्पताल में स्वास्थ्यकर्मी हैं. इन्हें बीआईएमएस के आइसोलेशन वार्ड में ड्यूटी सौंपी गई थी. ड्यूटी खत्म होने के बाद दोनों को क्वारन्टीन कर दिया गया है. उनका एक साल का बच्चा है, लेकिन उन्हें मिलने की इजाजत नहीं दी गई है.

ऐसा ही एक मामला महाराष्ट्र के औरंगाबाद से सामने आया ह. यहां एक कोरोना पॉजिटिव महिला ने बच्चे को जन्म दिया. लेकिन वह अपने बच्चे को ना तो दूध पिला सकती है और ना ही उसके नजदीक जा सकती है. हालांकि, उनका बच्चा तंदुरुस्त है.

इसके अलावा यूपी के गाजियाबाद के इस्लाम नगर की रहने वाली एक गर्भवती महिला को नंद ग्राम के अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां महिला ने बच्चे को जन्म दिया. उस महिला का टेस्ट हुआ, तो वह कोरोना से संक्रमित पाई गई. उसे उसके बच्चे से अलग रखा गया है. महिला के घर पर स्वास्थ्य विभाग की टीम पहुंची, और घर के साथ-साथ इलाके को भी सैनिटाइज कर दिया.

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