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UNSC में भारत की स्थायी सदस्यता राजनीतिक मुद्दा, चीन विरोध ही करेगा : प्रो. हर्ष पंत

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Published : Oct 8, 2019, 5:26 PM IST

UNSC में स्थायी सदस्यता पाने के लिए भारत की कोशिशें लगातार जारी हैं. इस मामले को लेकर प्रो. हर्ष पंत ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की. प्रो. पंत के अनुसार विदेश मंत्री ने हाल ही में कहा था कि भारत के बिना UNSC संयुक्त राष्ट्र की विश्वसनीयता को प्रभावित करेगा. जानें प्रो पंत ने इस संबंध में क्या कुछ कहा...

ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के निदेशक प्रो हर्ष वी. पंत

नई दिल्ली : संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में स्थायी सीट पाने के लिए भारत लंबे समय से कोशिश कर रहा है. हालांकि अन्य देशों समेत भारत के इस प्रयास का कोई नतीजा अब तक नहीं निकला है. इस संबंध में ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के निदेशक प्रो. हर्ष वी. पंत ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की.

गौरतलब है कि UNSC सदस्यता के अलावा यदि P5 सदस्य देशों की बात करें, जिनके पास वीटो पावर है तो किसी ने भी UNSC (यूनाइटेड नेशन सिक्योरिटी काउंसिल) में सुधार लाने के लिए कोई उत्साह नहीं दिखाया है. क्योंकि यह वर्तमान विश्व व्यवस्था में उनके अधिकारों को खतरे में डाल सकता है.

हाल ही में दुनिया को यह बताने के अलावा कि भारत UNSC में एक स्थायी सीट पाने का हकदार क्यों है, भारत ने विश्व निकाय की विश्वसनीयता पर सवाल उठाना शुरू कर दिया है.

इसी क्रम में पीएम नरेंद्र मोदी ने अपने ह्यूस्टन और संयुक्त राष्ट्र के भाषण में बहु-ध्रुवीय विश्व व्यवस्था के बारे में बात की.

हाल ही में विदेश मंत्री डॉ. जयशंकर ने दावा किया था कि भारत के बिना UNSC संयुक्त राष्ट्र की विश्वसनीयता को प्रभावित करता है.

पढ़ेंः UN सुरक्षा परिषद की अस्थाई सदस्यता के लिए भारत को 55 देशों का समर्थन

इस संबंध में ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के निदेशक प्रो. हर्ष वी. पंत ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की है.

हर्ष पंत ने की ईटीवी भारत से बातचीत, देखें वीडियो...

प्रो पंत का मानना है कि वर्तमान में UNSC में किसी भी सुधार की बहुत संभावना नहीं है क्योंकि यह राजनीतिक मुद्दा है, जहां चीन कदापि नहीं चाहेगा कि भारत इसका हिस्सा बने.

हालांकि प्रो. पंत ने यह भी दोहराया कि विदेश मंत्री कह चुके हैं कि यदि संयुक्त राष्ट्र में सुधार नहीं होता तो इसकी विश्वसनीयता दांव पर है.

आपको बता दें, इससे पहले भारत सात बार UNSC का गैर स्थायी सदस्य रहा है.

नई दिल्ली : संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में स्थायी सीट पाने के लिए भारत लंबे समय से कोशिश कर रहा है. हालांकि अन्य देशों समेत भारत के इस प्रयास का कोई नतीजा अब तक नहीं निकला है. इस संबंध में ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के निदेशक प्रो. हर्ष वी. पंत ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की.

गौरतलब है कि UNSC सदस्यता के अलावा यदि P5 सदस्य देशों की बात करें, जिनके पास वीटो पावर है तो किसी ने भी UNSC (यूनाइटेड नेशन सिक्योरिटी काउंसिल) में सुधार लाने के लिए कोई उत्साह नहीं दिखाया है. क्योंकि यह वर्तमान विश्व व्यवस्था में उनके अधिकारों को खतरे में डाल सकता है.

हाल ही में दुनिया को यह बताने के अलावा कि भारत UNSC में एक स्थायी सीट पाने का हकदार क्यों है, भारत ने विश्व निकाय की विश्वसनीयता पर सवाल उठाना शुरू कर दिया है.

इसी क्रम में पीएम नरेंद्र मोदी ने अपने ह्यूस्टन और संयुक्त राष्ट्र के भाषण में बहु-ध्रुवीय विश्व व्यवस्था के बारे में बात की.

हाल ही में विदेश मंत्री डॉ. जयशंकर ने दावा किया था कि भारत के बिना UNSC संयुक्त राष्ट्र की विश्वसनीयता को प्रभावित करता है.

पढ़ेंः UN सुरक्षा परिषद की अस्थाई सदस्यता के लिए भारत को 55 देशों का समर्थन

इस संबंध में ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के निदेशक प्रो. हर्ष वी. पंत ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की है.

हर्ष पंत ने की ईटीवी भारत से बातचीत, देखें वीडियो...

प्रो पंत का मानना है कि वर्तमान में UNSC में किसी भी सुधार की बहुत संभावना नहीं है क्योंकि यह राजनीतिक मुद्दा है, जहां चीन कदापि नहीं चाहेगा कि भारत इसका हिस्सा बने.

हालांकि प्रो. पंत ने यह भी दोहराया कि विदेश मंत्री कह चुके हैं कि यदि संयुक्त राष्ट्र में सुधार नहीं होता तो इसकी विश्वसनीयता दांव पर है.

आपको बता दें, इससे पहले भारत सात बार UNSC का गैर स्थायी सदस्य रहा है.

Intro:New Delhi: India's long attempt alongwith many other countries to get a permanent seat at the United Nations Security Council hasn't yielded any result. Leave aside getting membership, none of the P5 member nations with veto power have shown any enthusiasm to bring reforms at the UNSC as it might jeopardise their authority in the current world order.


Body:But recently, there has been calculated shift in India's position. Apart from telling the world that why India deserves to have a permanent seat at UNSC, New Delhi has started questioning the credibility of the world body which is still tied to old order.

While PM Modi talked about the acceptance of multi-polar world order in his Houston and UN speech, Dr. Jaishankar claimed that UNSC without India affects UN's credibility.

Observer Research Foundation's Director Research Prof Harsh V Pant believes any reforms in the current the UNSC is highly unlikely as it is political issue where China won't like India to be part of it.




Conclusion:He even went on to claim that the seeds of lack of reforms at the UN are imbedded in the very system itself. Though he reiterated what External Affairs Minister said that if UN doesn't reform then its very credibility is at stake.

In the past, India had been UNSC's non-permanent member for seven times. Recently, it was unanimously endorsed by the 55 member Asia-Pacific group including China and Pakistan for 2021-22.
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