नई दिल्ली : नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने संसद में बताया कि सरकार के पास एयर इंडिया के निजीकरण के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है. इसपर भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) की नेता और पूर्व सांसद बृंदा करात ने सरकार पर वार करते हुए कहा कि मौजूदा सरकार का इरादा भारत को बेचने का है.
करात ने ईटीवी भारत को दिए एक विशेष साक्षात्कार में सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा, यह किस तरह का आर्थिक दृष्टिकोण है. यह सरकार 'मेक इन इंडिया' नहीं, भारत को बेचने की कोशिश कर रही है.
करात नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप सिंह पुरी के उस बयान का जिक्र कर रही थीं, जिसमें उन्होंने कहा था कि सरकार को एअर इंडिया के निजीकरण की जरूरत है वरना उसे बंद करना पड़ेगा.
बृंदा करात ने कहा कि यह राष्ट्रीय एयरलाइन है और सरकार ने एयरलाइन को बर्बाद कर दिया है, जो चिंता का विषय है.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बुधवार को संसद में स्वीकार किया था कि धीमी अर्थव्यवस्था के बीच, उनकी सरकार अर्थव्यवस्था को उच्च विकास दर पर ले जाने के लिए आवश्यक कार्रवाई कर रही है.
गौरतलब है कि भारतीय अर्थव्यवस्था छह साल में अपने सबसे निचले स्तर पर पहुंच गई है, जो जून तिमाही में 5 प्रतिशत की दर से बढ़ रही थी.
सरकार द्वारा उठाए गए निजीकरण के कदम का जिक्र करते हुए करात ने कॉरपोरेट्स को राष्ट्रीय सम्पत्ति सौंपने के लिए भाजपा सरकार की कड़ी आलोचना की.
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करात ने कहा, वे (सरकार) हर चीज का निजीकरण कर रहे हैं. एक दिन वे कहेंगे कि हम देश की रक्षा नहीं कर सकते, इसलिए हम इसे निजी क्षेत्र को सौंप देंगे या फिर हम इसे बंद कर देंगे.'
सरकार का लक्ष्य है कि वह देश की अर्थव्यव्स्था को पांच ट्रिलियन डॉलर तक लेकर जाएगी. इसकी आलोचना करते हुए करात ने कहा, 'भुखमरी के मामले में 117 देशों के बीच भारत 102वें स्थान पर है. सरकार को सपने देखने के बजाय भूखों का पेट भरने के बारे में सोचना चाहिए.'