नई दिल्लीः ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (AASU) ने एनआरसी की अंतिम सूची में सुधार की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट जाने का फैसला किया है.
गौरतलब है कि एनआरसी की अंतिम सूची में 19 लाख से ज्यादा लोगों को बाहर रखा गया था.
AASU ने एनआरसी की पूरी प्रक्रिया में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए शीर्ष अदालत का रुख करने का फैसला किया है.
बता दें कि AASU ने असम में अवैध रूप से रहने वालों के खिलाफ 70 के दशक के अंत में एंटी फॉरेनर्स आंदोलन की अगुवाई की थी.
छात्र संगठन ने आरोप लगाया है कि अंतिम एनआरसी सूची से बाहर किए गए लोगों की संख्या ज्यादा होनी चाहिए.
नई दिल्ली में ऑल असम स्टूडेंट्स एसोसिएशन ने कहा कि अंतिम NRC सूची में काफी गड़बड़ियां हैं.
AASU दिल्ली अध्यक्ष शुभ्रज्योति दुआरा ने कहा, 'हम एक साफ सुथरी एनआरसी की उम्मीद कर रहे थे. लेकिन एनआरसी सूची में बहुत सारी गड़बड़ियां हैं.'
महासचिव मृगेन ज्योति कश्यप ने कहा कि जो लोग एनआरसी सूची में शामिल होने योग्य नहीं हैं, उनकी संख्या अधिक होनी चाहिए.
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केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू का हवाला देते हुए कश्यप ने कहा कि रिजिजू ने पहले कहा था कि 41 लाख अवैध विदेशी थे, तो बाकी के 21 लाख कहां गए?
इससे पहले भाजपा नेता भी एनआरसी की प्रक्रिया को लेकर सवाल खड़े कर चुके हैं.
असम के मंत्री हिमंता बिस्वा शर्मा ने कहा कि अवैध विदेशियों का पता लगाने के लिए कुछ और ठोस कदम उठाए जाने चाहिए.