सहारनपुर: फतवों की नगरी के नाम पहचान बना चुके विश्व प्रसिद्ध इस्लामिक शिक्षण संस्था दारुल उलूम ने बाद एलान किया है. दारुल उलूम प्रबंधन ने न सिर्फ सभी छात्रों को दाढ़ी रखना अनिवार्य करार दिया है. बल्कि दाढ़ी कटवाने वाले चार छात्रों को निष्काषित भी कर दिया है. दारुल उलूम की इस कार्रवाई से मदरसे के छात्रों में हड़कंप मचा हुआ है. वहीं बड़े एलान के बाद एक बार फिर दारुल उलूम सुर्खियों में आ गया है.
प्रबंधन तंत्र ने अपने छात्रों को दाढ़ी कटवाने पर सख्त सजा के प्रावधान की जानकारी नोटिस चस्पा कर दी है. प्रबंध तंत्र ने नोटिस में साफ कहा है कि यदि कोई छात्र दाढ़ी कटवाता है, तो उसके विरुद्ध सीधे निष्कासन की कार्रवाई की जाएगी. इसी महीने इस इल्जाम में चार छात्रों पर की गई कार्रवाई की जानकारी भी प्रबंध तंत्र की ओर से नोटिस में दी गई.
आपको बता दें कि विश्वविख्यात इस्लामिक शिक्षण संस्थान दारुल उलूम में न सिर्फ दुनिया भर के मुस्लिम छात्र इस्लामिक तालीम ले रहे हैं, बल्कि दारुल उलूम का फैसला दुनिया भर के मुसलमानों के लिए अहम माना जाता है. यही वजह है कि दारुल उलूम देवबंद को फतवों की नगरी कहा जाता है. दारुल उलूम प्रबंधन मदरसा में पढ़ने वाले तमाम छात्रों के लिए बड़ा एलान किया है. उलेमाओं ने छात्रों के लिए दाढ़ी रखना अनिवार्य कर दिया है. इसके लिए बाकायदा नोटिस चस्पा किया गया है.
शिक्षा विभाग के प्रभारी मौलाना हुसैन अहमद हरिद्वारी की ओर से चस्पा नोटिस में छात्रों को अनुशासन में रखने के लिए नसीहत की गई है. विशेषकर दाढ़ी कटवाने वाले छात्रों को सख्त चेतावनी दी है. नोटिस में स्पष्ट कहा गया है कि यदि कोई पुराना छात्र दाढ़ी कटवाता है, तो उसके विरुद्ध सीधे निष्कासन की कार्रवाई अमल में लाई जाएगी. वहीं दाढ़ी कटवा कर संस्था में प्रवेश के लिए आने वाले किसी भी छात्र को दाखिला नहीं दिया जाएगा. दाढ़ी काटने के मामले पर प्रबंध तंत्र ने अपने सख्त रुख से भी छात्रों को रूबरू कराया. बताया गया कि करीब 15 दिन पूर्व दाढ़ी काटने पर दौरे हदीस के चार छात्रों का निष्कासन किया गया है. चारों छात्रों ने माफीनामा भी दिया, लेकिन शिक्षा विभाग ने उसे स्वीकार नहीं किया.
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