ढाका : बांग्लादेश की जनता को एक बड़ी सौगात मिली है. 21 साल के लंबे इंतजार के बाद पद्मा नदी पर बने ब्रिज का उद्घाटन हुआ. प्रधानमंत्री शेख हसीना ने शनिवार को बांग्लादेश के सबसे लंबे पुल का उद्घाटन किया, जो पूरी तरह से देश के धन से निर्मित हुआ है. इस मौके पर उन्होंने कहा कि पद्मा पुल केवल ईंट और सीमेंट का ढेर नहीं, बल्कि बांग्लादेश के गौरव, क्षमता और शान का प्रतीक है.
पद्मा नदी पर बने इस पुल की लंबाई 6.15 किलोमीटर है और यह दक्षिण पश्चिमी बांग्लादेश को राजधानी तथा देश के अन्य भागों से जोड़ता है. इस बहुद्देशीय सड़क-रेल पुल के निर्माण का खर्च, तीन अरब 60 करोड़ डॉलर है, जिसे पूरी तरह बांग्लादेश सरकार ने वहन किया है. हसीना ने पद्मा पुल के निर्माण से जुड़े लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया. पद्मा पुल का उद्घाटन इसलिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह पूरी तरह घरेलू खर्च से निर्मित हुआ है.
प्रधानमंत्री ने कहा, "मुझे किसी से कोई शिकायत नहीं है लेकिन मुझे लगता है कि जिन्होंने पद्मा पुल की निर्माण योजना का विरोध किया और उसे ‘पाइप ड्रीम’ बताया, उनके भीतर आत्मविश्वास की कमी थी. मुझे उम्मीद है कि यह पुल उनके अंदर विश्वास पैदा करेगा." उन्होंने कहा, "यह पुल केवल ईंट, सीमेंट, लोहे और कंक्रीट का ढेर नहीं यह पुल हमारा गौरव है, यह हमारी क्षमता, शक्ति और शान का प्रतीक है. यह पुल बांग्लादेश के लोगों का है."
इस बीच, भारतीय उच्चायोग ने इस परियोजना के पूरा होने पर बांग्लादेश सरकार को बधाई दी.