अमरावती : मौजूदा अंशदायी पेंशन योजना (सीपीएस) के विरोध के बीच आंध्र प्रदेश सरकार ने समानांतर गारंटी पेंशन योजना (जीपीएस) लाने का सोमवार को एक नया प्रस्ताव पेश किया. वाईएस जगन मोहन रेड्डी के नेतृत्व वाली सरकार ने सीपीएस की जांच के लिए तीन मंत्रियों और समान संख्या में वरिष्ठ अधिकारियों की एक नई छह सदस्यीय समिति का गठन किया. उधर, सरकारी कर्मचारियों और शिक्षकों ने अंशदायी पेंशन योजना को तुरंत समाप्त करने की मांग करते हुए अपना आंदोलन तेज कर दिया है.
इसके साथ ही, सरकार ने संयुक्त कर्मचारी परिषद की एक बैठक आयोजित की जिसमें उसने सीपीएस को खत्म करने के बजाय जीपीएस पर विचार किया. हालांकि, कर्मचारी संघों ने कहा कि वे जीपीएस का विरोध करते हैं, सीपीएस को खत्म करने और पुरानी पेंशन योजना को वापस करने की अपनी मांग पर कायम हैं. उन्होंने जीपीएस का भी विरोध किया है, लेकिन सरकार ने कहा कि वह इस मुद्दे पर आगे चर्चा करने के लिए सभी संबंधित संघों के साथ 10 दिनों में एक और बैठक बुलाएगी. जीपीएस के प्रस्ताव पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए एपी अराजपत्रित अधिकारी संघ के अध्यक्ष बी श्रीनिवास राव ने कहा कि उन्होंने केवल पुरानी पेंशन योजना को वापस लाने की मांग की है.
श्रीनिवास राव ने सरकारी अधिकारियों के साथ बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा, 'सरकार सीपीएस को खत्म करने के लिए सहमत नहीं है, लेकिन वह नए जीपीएस को लागू करना चाहती है. हमने स्पष्ट कर दिया है कि हम केवल पुरानी पेंशन योजना चाहते हैं.' उधर, सीपीएस को समाप्त करने की अपनी मांग के समर्थन में 'चलो विजयवाड़ा' आंदोलन कार्यक्रम आयोजित करने की मांग करने वाले शिक्षकों पर सोमवार को भारी शिकंजा कसा गया.
'चलो विजयवाड़ा' कार्यक्रम : आंदोलनकारी संघों से जुड़े शिक्षकों को 'चलो विजयवाड़ा' कार्यक्रम से पहले नजरबंद कर दिया गया या हिरासत में ले लिया गया. विजयवाड़ा पहुंचे कुछ शिक्षकों और शिक्षक संघ के नेताओं को शहर में प्रवेश करते ही गिरफ्तार कर लिया गया. पुलिस ने विजयवाड़ा और तडेपल्ली में मुख्य सड़कों पर कंटीले तारों की बाड़ लगा दी, जिससे मुख्यमंत्री आवास तक पहुंच जा सके. बसों में कॉलेजों की ओर जा रहे छात्रों को कनकदुर्गम्मा वरधी के पास रोक दिया गया और उनके बैग की जांच की गई.
समिति में ये नाम : मंत्री बोत्सा सत्यनारायण, बुगना राजेंद्रनाथ, ए सुरेश, सरकारी सलाहकार (सार्वजनिक मामले) एसआरके रेड्डी और मुख्य सचिव समीर शर्मा नई समिति के सदस्य होंगे जबकि विशेष मुख्य सचिव (वित्त) सदस्य-संयोजक होंगे. मुख्य सचिव ने एक आदेश में कहा, 'समिति सीपीएस के मुद्दे की जांच करेगी और कर्मचारी संघों के साथ विचार-विमर्श और चर्चा करेगी और मामले में निर्णय लेने के लिए सरकार को अपनी सिफारिशें देगी.' गौरतलब है कि अगस्त 2019 में सरकार ने सीपीएस पर सेवानिवृत्त मुख्य सचिव एस पी टकर ( S P Tucker) की अध्यक्षता में विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट की समीक्षा करने और अपनी सिफारिशें प्रस्तुत करने के लिए मंत्रियों की एक समिति का गठन किया था. रिपोर्ट अभी तक प्रस्तुत नहीं की गई है.
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