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अन्नाद्रमुक ने अपनी नियमावली में बदलाव किया, शशिकला के लिए दरवाजे बंद किए

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Published : Dec 1, 2021, 5:23 PM IST

तमिलनाडु की मुख्य विपक्षी और वी. के. शशिकला की चुनौती से निपटने की कोशिश कर रही अन्नाद्रमुक ने बुधवार को अपनी नियमावली में बदलाव किया है.

file photo
शशिकला

चेन्नई : तमिलनाडु की मुख्य विपक्षी और वी. के. शशिकला की चुनौती से निपटने की कोशिश कर रही अन्नाद्रमुक ने बुधवार को अपनी नियमावली में बदलाव किया ताकि मौजूदा शीर्ष दो पदों के ढांचे को बरकरार रखा जा सके और उन्हें मजबूती प्रदान की जा सके. इन पदों पर अभी ओ पनीरसेलवम और के पलानीसामी पदस्थ है.

नियमावली में बदलाव का फैसला अन्नाद्रमुक की कार्यकारी समिति की यहां हुई बैठक में लिया गया, जिससे शशिकला के लिए रास्ते प्रभावी तौर पर बंद हो गए जो खुद को पार्टी महासचिव होने का दावा कर रही हैं.

गौरतलब है कि वर्ष 2017 में पार्टी नियमों में किए गए बदलाव के तहत महासचिव के पद में निहित सभी शक्तियों को नव सृजित पदों पार्टी समन्वयक (पनीरसेलवम) और संयुक्त समन्वयक (पलानीस्वामी) में निहित कर दी गई थी और इस नए बदलाव से शीर्ष पार्टी ढांचे को मजबूती मिलेगी.

ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कषगम (अन्नाद्रमुक) ने पार्टी की नियमावली में परिवर्तन कर शीर्ष नेतृत्व के चुनाव के लिए प्राथमिक सदस्यों के लिए एक मत की व्यवस्था की है. यह शीर्ष नेतृत्व दो पदों समन्वयक और संयुक्त समन्वयक को मिलाकर बना है. वहीं, दो पदों के लिए अलग मत नहीं होंगे क्योंकि दोनों पद एक साथ पार्टी का शीर्ष नेतृत्व का निर्माण करते हैं.

अन्नाद्रमुक के मुताबिक शशिकला पार्टी की सदस्य नहीं हैं, हालांकि वह महासचिव होने का दावा करती हैं.

पढ़ें - बीजेपी विधायक एसआर विश्वनाथ की हत्या की साजिश रचने आरोप, सीबीआई ने शुरू की जांच

वरिष्ठ नेता डी जयकुमार ने संवाददाताओं से कहा कि जो पांच साल या इससे अधिक समय से सदस्य हैं, वे ही पार्टी नेतृत्व का चुनाव करने के लिए मतदान की अर्हता रखते हैं.

चेन्नई : तमिलनाडु की मुख्य विपक्षी और वी. के. शशिकला की चुनौती से निपटने की कोशिश कर रही अन्नाद्रमुक ने बुधवार को अपनी नियमावली में बदलाव किया ताकि मौजूदा शीर्ष दो पदों के ढांचे को बरकरार रखा जा सके और उन्हें मजबूती प्रदान की जा सके. इन पदों पर अभी ओ पनीरसेलवम और के पलानीसामी पदस्थ है.

नियमावली में बदलाव का फैसला अन्नाद्रमुक की कार्यकारी समिति की यहां हुई बैठक में लिया गया, जिससे शशिकला के लिए रास्ते प्रभावी तौर पर बंद हो गए जो खुद को पार्टी महासचिव होने का दावा कर रही हैं.

गौरतलब है कि वर्ष 2017 में पार्टी नियमों में किए गए बदलाव के तहत महासचिव के पद में निहित सभी शक्तियों को नव सृजित पदों पार्टी समन्वयक (पनीरसेलवम) और संयुक्त समन्वयक (पलानीस्वामी) में निहित कर दी गई थी और इस नए बदलाव से शीर्ष पार्टी ढांचे को मजबूती मिलेगी.

ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कषगम (अन्नाद्रमुक) ने पार्टी की नियमावली में परिवर्तन कर शीर्ष नेतृत्व के चुनाव के लिए प्राथमिक सदस्यों के लिए एक मत की व्यवस्था की है. यह शीर्ष नेतृत्व दो पदों समन्वयक और संयुक्त समन्वयक को मिलाकर बना है. वहीं, दो पदों के लिए अलग मत नहीं होंगे क्योंकि दोनों पद एक साथ पार्टी का शीर्ष नेतृत्व का निर्माण करते हैं.

अन्नाद्रमुक के मुताबिक शशिकला पार्टी की सदस्य नहीं हैं, हालांकि वह महासचिव होने का दावा करती हैं.

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वरिष्ठ नेता डी जयकुमार ने संवाददाताओं से कहा कि जो पांच साल या इससे अधिक समय से सदस्य हैं, वे ही पार्टी नेतृत्व का चुनाव करने के लिए मतदान की अर्हता रखते हैं.

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