चमोली: उत्तराखंड बोर्ड की 10वीं और 12वीं की परीक्षाएं सोमवार से शुरू हो गई हैं. कोरोना काल के बाद परीक्षा में शामिल हो रहे परीक्षार्थियों में खास उत्साह देखने को मिल रहा है. ऐसी ही एक तस्वीर गोपेश्वर से सामने आई है. गोपेश्वर में 51 वर्षीय आशा थपलियाल हाईस्कूल की परीक्षा देकर ये संदेश दे रही है कि पढ़ने और लिखने की कोई उम्र नहीं होती है. आप किसी भी उम्र में अपने सपने पूरे कर सकते हैं. इस उम्र में उनकी पढ़ाई पूरी करने की ललक और बोर्ड परीक्षा में शामिल होना चर्चा का विषय बना हुआ है.
कहते हैं न पढ़ने की कोई उम्र नहीं होती, इस बात को 51 वर्षीय आशा थपलियाल ने सच कर दिखाया है. आशा थपलियाल इस साल हाईस्कूल की परीक्षा दे रही हैं. आशा थपलियाल कहती हैं, जब उनकी पढ़ने की उम्र थी, तब उनके मायके की पारिवारिक हालत ठीक नहीं थी, फिर शादी के बाद बच्चों के साथ पढ़ाई का समय नहीं मिल पाया. उनके बच्चों की शादी हो चुकी हैं. अब वह आराम से पढ़ाई कर सकती हैं.
बता दें कि 2011 के जनगणना के अनुसार, उत्तराखंड राज्य की साक्षरता दर 79.63 प्रतिशत है. राज्य की महिला साक्षरता दर 70.70 और पुरुष साक्षरता दर 88.33 पर्सेंट है.
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