गुंटूर: आंध्र प्रदेश के गुंटूर जिले के ताडेपल्ली में एक शख्स ने साथ रह रही महिला और उसके बच्चे से छुटकारा पाने के लिए बड़ा कदम उठाया. उसने महिला और उसके दो बच्चों को रात में उफनती गोदावरी नदी में धोखा देकर धक्का दे दिया. इस हत्याकांड में लड़की की सूझबूझ और आंध्र प्रदेश पुलिस की तत्परता से एक 13 साल की लड़की की जान बच गई. उसने आपबीती सुनाई. फिर पुलिस ने मामल दर्ज कर आरोपी को तलाश शुरू कर दी है.
आंध्र प्रदेश के गुंटूर जिले के ताडेपल्ली की पुप्पाला सुहासिनी (36) मतभेद के कारण अपने पति से अलग हो गईं. वह मजदूरी कर अपनी बेटी कीर्तना के साथ जीवन यापन करने लगी. इस दौरान उसकी मुलाकात दो साल पहले प्रकाशम जिले के दर्शी के उलवा सुरेश से हुई. बाद में सुहासिनी उसके साथ रहने लगी. इसके बाद सुहासिनी को एक बच्चा भी हुआ. उसका नाम जर्सी (उम्र एक वर्ष) रखा गया. हाल ही में सुरेश और सुहासिनी के बीच भी मतभेद पैदा हो गया. फिर सुरेश सुहासिनी और उसके बच्चे से छुटकारा पाने की योजना बनाई.
शनिवार की शाम को वह तीनों को कार में बैठाकर राजामहेंद्रवरम में कपड़े खरीदने के लिए ले गया. वह रात भर अलग-अलग जगहों पर घूमता रहा और रविवार तड़के 4 बजे रावुलपालेम में गौतमी ओल्ड ब्रिज (गोदावरी नदी पर बना पुल) पर ले आया. उसने वहां उनसे सेल्फी लेने को कहा. सुहासिनी और उसके दोनों बच्चों को दीवार पर खड़ा कर दिया. फिर उसने सभी को नदी में धक्का दे दिया और कार में बैठकर भाग गया. जब सुहासिनी और जर्सी नदी में गिरे तो कीर्तना ने पुल के किनारे एक केबल पाइप पकड़ लिया. वह एक हाथ से पाइप पकड़कर चिल्लाने लगी कि कोई उसे बचा ले.
ऐसे में लड़की ने अदम्य साहस दिखाते हुए और बगैर अपना विवेक खोए अपनी जान बचाई. उसे याद आया कि उसकी जेब में एक मोबाइल फोन है. लटकते समय एक हाथ से पाइप पकड़कर दूसरे हाथ से धीरे-धीरे मोबाइल फोन बाहर निकाला. तुरंत पुलिस को फोन मिलाया. उसने रावुलापलेम एसआई को फोन कर बुलाया. पुलिसकर्मी वेंकटरमन स्टाफ के साथ वहां पहुंचे और लड़की को सकुशल बचा लिया.
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वह न सिर्फ करीब आधे घंटे तक अंधेरे में पाइप के सहारे लटकी रही, बल्कि उसने फोन पर जो बताया उसे जानकर पुलिस भी हैरान रह गई. उसके साहस की सराहना की. सीआई रजनीकुमार ने बताया कि गोदावरी में लापता दोनों व्यक्तियों के लिए एक टीम और आरोपियों के लिए दूसरी टीम का गठन किया गया है. एसपी श्रीधर ने बच्चे को बचाने के लिए पुलिस को बधाई दी.