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सूरजपुर: कोरोना और लॉकडाउन के बीच शराब की अवैध बिक्री

सूरजपुर जिले में कोरोना के बढ़ते केस को देखते हुए 13 अप्रैल से लॉकडाउन लगा हुआ है. लेकिन हैरानी की बात ये हैं कि ऐसे समय में भी शराब की अवैध बिक्री की जा रही है. नगर से लगे ग्रामीण इलाकों में देसी और विदेशी शराब की अवैध बिक्री हो रही है.

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कोरोना और लॉकडाउन के बीच शराब की अवैध बिक्री
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Published : Apr 19, 2021, 12:35 PM IST

सूरजपुर: लगातार बढ़ते कोरोना संक्रमण के दौरान घोषित लॉकडाउन में भी नगर समेत कोयलांचल के गावों में महुआ शराब बनाने और बेचने का अवैध कारोबार धड़ल्ले से जारी है. अपराधी प्रवित्ति के युवकों द्वारा भी आदतन अपराधियों को महंगे दाम में अवैध अंग्रेजी शराब भी उपलब्ध कराई जा रही है. आबकारी और पुलिस विभाग की नाक के नीचे शराब की अवैध बिक्री धड़ल्ले से जारी है. जिससे कोरोना संक्रमण फैलने का खतरा और भी बढ़ गया है.

लॉकडाउन में भी बिक रही देसी शराब

नगर के शिवनन्दनपुर बस्ती समेत मेन मार्केट के अलावा अवराडुगू बस्ती, चोपड़ा कालोनी, माइनस कालोनी, आरटीआई कालोनी, पउआ पारा और झोपड़ पट्टी में करीब दो दर्जन जगहों पर अवैध महुआ शराब बनाकर धड़ल्ले से बिक्री कर लॉकडाउन के दिशा निर्देशों का उल्लंघन किया जा रहा है. सतपता गांव सहित लकड़ा पारा केशवनगर, कुरुवां व आसपास के ग्रामों में महुआ शराब के अवैध अड्डे धड़ल्ले से संचालित होने से कम उम्र के ग्रामीण बच्चे भी तेजी से शराब की लत के शिकार हो रहे हैं. शराब के अवैध कारोबार में तथाकथित पुलिस एवं आबकारी विभाग के कर्मचारियों की संलिप्तता से लॉकडाउन में भी अवैध शराब बनाने एवं बेचने का सिलसिला बदस्तूर जारी है.

आदिवासियों ने छूट को बनाया व्यवसाय

आदिवासी वर्ग की बाहुल्यता के कारण वैसे तो सरकार ने आदिवासियों को स्वयं के सेवन के लिए पांच लीटर महुआ शराब अपने घरों में बनाने की छूट दे रखी है, लेकिन आदिवासियों के बड़े तबके ने इस छूट की आड़ में अवैध शराब बनाने और उसे बेचने के कारोबार को अपने परिवार के जीविकोपार्जन का जरिया बना रखा है. आदिवासियों के अलावा गैर आदिवासियों ने भी अवैध महुआ शराब के गोरखधंधे को अपना प्रमुख व्यवसाय बना लिया है.

सूरजपुर में लॉकडाउन को लेकर प्रशासन सख्त

अंग्रेजी शराब भी धड़ल्ले से बिक रही

लॉकडाउन की संभावना के मद्देनजर नशे की प्रवृत्ति के अपराधी नुमा आरोपियों ने पहले से ही शराब स्टॉक कर रख लिया था. जिसकी अब ऊंचे दर पर अवैध बिक्री की जा रही है.

अवैध महुआ शराब की बिक्री के मामले में कार्रवाई की मांग

NSUI नेता जाकेश राजवाड़े का आरोप है कि पुलिस और आबकारी विभाग की भ्रष्ट कार्यशैली के कारण कोरोना काल में भी गांव-गांव में अवैध महुआ शराब की बिक्री की जा रही है. उन्होंने इस दिशा में उचित कार्रवाई की मांग की है.

गांवों में अवैध शराब का कारोबार बढ़ा

भाजयुमो मंडल अध्यक्ष दुर्गा गुप्ता ने कहा कि श्रमिक कॉलोनियों और आसपास के गांवों में अवैध शराब और नशे का कारोबार धड़ल्ले से संचालित रहने के कारण युवा वर्ग नशे की चपेट में आकर बर्बाद हो रहा है. नशे की आपूर्ति के लिए वे चोरी जैसी वारदात में लिप्त होने को मजबूर है. धरपकड़ के नाम पर महज औपचारिकता पूरी करने के कारण नशे का कारोबार बेखौफ जारी है. जिससे कोरोना संक्रमण का खतरा बढ़ गया है.

जारी है नशे का कारोबार

नगर के बुद्धिजीवी दुर्गा शंकर त्रिपाठी ने कहा कि इस संकट के दौर में भी कोयलांचल में संबंधित महकमों की सांठगांठ से नशे का कारोबार धड़ल्ले से जारी है. जिससे कई परिवार बर्बादी की कगार पर पहुंच चुके हैं.

सूरजपुर में लॉकडाउन
कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में लगातार इजाफा होने के कारण पिछले 13 अप्रैल से सूरजपुर जिले में दस दिनों का लॉकडाउन किया गया है. लॉकडाउन के दौरान जिले की समस्त शासकीय शराब दुकानों को भी कोरोना संक्रमण के खतरे के कारण बंद रखा गया है. लॉकडाउन के दौरान पुलिस की मुस्तैदी के बावजूद नगर सहित कोयलांचल में अवैध महुआ शराब और अंग्रेजी शराब की बिक्री जारी है.

सूरजपुर: लगातार बढ़ते कोरोना संक्रमण के दौरान घोषित लॉकडाउन में भी नगर समेत कोयलांचल के गावों में महुआ शराब बनाने और बेचने का अवैध कारोबार धड़ल्ले से जारी है. अपराधी प्रवित्ति के युवकों द्वारा भी आदतन अपराधियों को महंगे दाम में अवैध अंग्रेजी शराब भी उपलब्ध कराई जा रही है. आबकारी और पुलिस विभाग की नाक के नीचे शराब की अवैध बिक्री धड़ल्ले से जारी है. जिससे कोरोना संक्रमण फैलने का खतरा और भी बढ़ गया है.

लॉकडाउन में भी बिक रही देसी शराब

नगर के शिवनन्दनपुर बस्ती समेत मेन मार्केट के अलावा अवराडुगू बस्ती, चोपड़ा कालोनी, माइनस कालोनी, आरटीआई कालोनी, पउआ पारा और झोपड़ पट्टी में करीब दो दर्जन जगहों पर अवैध महुआ शराब बनाकर धड़ल्ले से बिक्री कर लॉकडाउन के दिशा निर्देशों का उल्लंघन किया जा रहा है. सतपता गांव सहित लकड़ा पारा केशवनगर, कुरुवां व आसपास के ग्रामों में महुआ शराब के अवैध अड्डे धड़ल्ले से संचालित होने से कम उम्र के ग्रामीण बच्चे भी तेजी से शराब की लत के शिकार हो रहे हैं. शराब के अवैध कारोबार में तथाकथित पुलिस एवं आबकारी विभाग के कर्मचारियों की संलिप्तता से लॉकडाउन में भी अवैध शराब बनाने एवं बेचने का सिलसिला बदस्तूर जारी है.

आदिवासियों ने छूट को बनाया व्यवसाय

आदिवासी वर्ग की बाहुल्यता के कारण वैसे तो सरकार ने आदिवासियों को स्वयं के सेवन के लिए पांच लीटर महुआ शराब अपने घरों में बनाने की छूट दे रखी है, लेकिन आदिवासियों के बड़े तबके ने इस छूट की आड़ में अवैध शराब बनाने और उसे बेचने के कारोबार को अपने परिवार के जीविकोपार्जन का जरिया बना रखा है. आदिवासियों के अलावा गैर आदिवासियों ने भी अवैध महुआ शराब के गोरखधंधे को अपना प्रमुख व्यवसाय बना लिया है.

सूरजपुर में लॉकडाउन को लेकर प्रशासन सख्त

अंग्रेजी शराब भी धड़ल्ले से बिक रही

लॉकडाउन की संभावना के मद्देनजर नशे की प्रवृत्ति के अपराधी नुमा आरोपियों ने पहले से ही शराब स्टॉक कर रख लिया था. जिसकी अब ऊंचे दर पर अवैध बिक्री की जा रही है.

अवैध महुआ शराब की बिक्री के मामले में कार्रवाई की मांग

NSUI नेता जाकेश राजवाड़े का आरोप है कि पुलिस और आबकारी विभाग की भ्रष्ट कार्यशैली के कारण कोरोना काल में भी गांव-गांव में अवैध महुआ शराब की बिक्री की जा रही है. उन्होंने इस दिशा में उचित कार्रवाई की मांग की है.

गांवों में अवैध शराब का कारोबार बढ़ा

भाजयुमो मंडल अध्यक्ष दुर्गा गुप्ता ने कहा कि श्रमिक कॉलोनियों और आसपास के गांवों में अवैध शराब और नशे का कारोबार धड़ल्ले से संचालित रहने के कारण युवा वर्ग नशे की चपेट में आकर बर्बाद हो रहा है. नशे की आपूर्ति के लिए वे चोरी जैसी वारदात में लिप्त होने को मजबूर है. धरपकड़ के नाम पर महज औपचारिकता पूरी करने के कारण नशे का कारोबार बेखौफ जारी है. जिससे कोरोना संक्रमण का खतरा बढ़ गया है.

जारी है नशे का कारोबार

नगर के बुद्धिजीवी दुर्गा शंकर त्रिपाठी ने कहा कि इस संकट के दौर में भी कोयलांचल में संबंधित महकमों की सांठगांठ से नशे का कारोबार धड़ल्ले से जारी है. जिससे कई परिवार बर्बादी की कगार पर पहुंच चुके हैं.

सूरजपुर में लॉकडाउन
कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में लगातार इजाफा होने के कारण पिछले 13 अप्रैल से सूरजपुर जिले में दस दिनों का लॉकडाउन किया गया है. लॉकडाउन के दौरान जिले की समस्त शासकीय शराब दुकानों को भी कोरोना संक्रमण के खतरे के कारण बंद रखा गया है. लॉकडाउन के दौरान पुलिस की मुस्तैदी के बावजूद नगर सहित कोयलांचल में अवैध महुआ शराब और अंग्रेजी शराब की बिक्री जारी है.

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