सरगुजा: कोरोना वायरस के खिलाफ चल रही जंग में रिसर्च का काम भी तेजी से जारी है. देशभर में सर्वे कर यह पता लगाया जा रहा है कि कितने प्रतिशत लोगों के शरीर में एंटीबॉडी का निर्माण खुद से हुआ है. इसी कड़ी में प्रतिरोधक क्षमता के विकास की जानकारी के लिए ICMR की टीम सरगुजा पहुंची थी. जहां टीम ने शहर सहित ब्लॉक स्तर पर 400 लोगों के रैंडम सैंपल लिए हैं. बता दें, इन्हीं सैम्पल्स के आधार पर ICMR की टीम जांच करेगी.
सरगुजा में कोरोना का प्रकोप तेजी से फैला है और अब स्थिति भयावह हो चुकी है. रोजाना बड़ी संख्या में कोविड-19 मरीजों की पुष्टि हो रही है. जबकि शहर में कोरोना से पांच लोगों की मौत भी हो चुकी है. कोरोना के खिलाफ चल रही जंग में एक तरफ वैक्सीन बनाने का काम तेजी से चल रहा है. वहीं दूसरी तरफ इस बात का पता लगाया जा रहा है कि भारत के कितने प्रतिशत आबादी में इस वायरस से लड़ने वाले प्रतिरोधक का विकास हुआ है.
ICMR की 9 सदस्यीय टीम पहुंची थी सरगुजा
एंटीबॉडी के विकास का पता लगाने के लिए 30 अगस्त को ICMR की 9 सदस्यीय टीम सरगुजा पहुंची थी. हालांकि स्वास्थ्य विभाग ने इस पूरी कार्रवाई को गोपनीय रखा गया, लेकिन अब जो बात निकलकर सामने आई है उसके मुताबिक टीम में शामिल डॉक्टरों और टेक्नीशियन ने शहर सहित ब्लॉक स्तर पर शिविर लगाकर ऐसे लोगों का चिन्हांकन किया गया, जिन्होंने अबतक अपना कोरोना टेस्ट नहीं कराया है.
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जानकारी के मुताबिक रैंडम सलेक्शन के बाद टीम की ओर से उनके सैंपल लिए गए हैं. बताया जा रहा है कि टीम ने सरगुजा से 400 लोगों के सैंपल लिए गए हैं. जिनकी रिपोर्ट लगभग एक महीने में आएगी, जो सीधे ICMR के मुख्यालय भेजी जाएगी. टीम अपने रिसर्च के दौरान यह पता लगाएगी कि कितने लोग कोरोना संक्रमित हुए और उन्हें पता भी नहीं चला. जांच में यह भी पता लगाया जाएगा कि कितने प्रतिशत लोगों के शरीर ने वायरस से लड़ने के लिए खुद से एंटीबॉडी का विकास किया है, जिनका प्लाजमा लिया जाएगा. ताकि कोरोना से संक्रमित गंभीर मरीजों का प्लाजमा थेरेपी से इलाज कर जान बचाया जा सके.
CMHO डॉ. पीएस सिसोदिया ने दी जानकारी
CMHO डॉ. पीएस सिसोदिया ने बताया की ICMR की टीम सरगुजा आई थी, जिन्होंने रैंडम सलेक्शन कर शहर और विभिन्न विकासखंडों से 400 लोगों के सैम्पल लिए हैं. उन्होंने बताया कि रैंडम लिए गए सैंपल की रिपोर्ट ICMR की टीम सीधे मुख्यालय भेजेगी.