राजनांदगांव: मेडिकल कॉलेज अस्पताल में डिलीवरी के दौरान नवजात की मौत हो जाने के बाद परिजनों ने डॉक्टरों पर लापरवाही करने का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया है. वहीं प्रभारी अधीक्षक सीएस मोहोबे के काफी समझाने के बाद परिजन शांत तो हुए लेकिन डॉक्टरों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की मांग कर रहे हैं.
रविवार की सुबह करीब 8 बजे पथरी की भुवनेश्वरी वर्मा मेडिकल कालेज अस्पताल के मातृ-शिशु ब्लॉक में भर्ती हुई थी. भुवनेश्वरी को डॉक्टरों ने नार्मल डिलिवरी करने के लिए इंतजार करने की सलाह दी थी. भुवनेश्वरी के लगातार मांग करने के बाद भी डॉक्टर नार्मल डिलीवरी करने पर ही अड़े रहे. करीब 30 घंटे बाद सोमवार की दोपहर करीब 2 बजे डॉक्टरों ने ऑपरेशन कर भुवनेश्वरी की डिलिवरी करवायी. लेकिन भुवनेश्वरी के गर्भ से मृत अवस्था में बच्चे का जन्म हुआ. नवजात के मृत होने की खबर के बाद परिजनों ने अस्पताल में जमकर हंगामा किया.
डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप
परिजनों के साथ अस्पताल पहुंचे ग्रामीणों ने भुवनेश्वरी की डिलीवरी करने वाले डॉक्टरों पर लापरवाही करने का आरोप लगाया है. भुवनेश्वरी के पति लोभन का आरोप है कि उसने पहले ही ऑपरेशन कर डिलीवरी करने की मांग की थी. लेकिन डॉक्टरों ने दो दिन तक इंतजार करने का आश्वासन दिया. इस बीच भुवनेश्वरी कई बार दर्द से पीड़ित भी हुई इसके बावजूद भी डॉक्टरों ने आपरेशन करने में देरी की.
दूसरी तरफ डॉक्टरों का कहना है कि भुवनेश्वरी का गर्भ 10 महीने का था. बीपी हाई होने और शिशु की पोजीशन सही नहीं होने की वजह से वह उसे बचा नहीं पाए. लेकिन परिजन डॉक्टरों की एक भी नहीं सुन रहे हैं और अस्पताल प्रशासन से डॉक्टरों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की मांग कर रहे हैं.
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विभागीय जांच होगी
इस मामले में मेडिकल कॉलेज अस्पताल के अधीक्षक डॉ चंद्रशेखर महोबे का कहना है कि 'डिलिवरी के दौरान कई तरीके के कॉम्प्लिकेशन होते हैं. परिजनों से इस मामले को लेकर आवेदन मांगा गया है. आवेदन मिलने के बाद मामले में विभागीय जांच होगी और अगर कोई दोषी पाया जाता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.'