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कहानी उन महिलाओं कि, जिनके जिम्मे है रायपुर रेलवे स्टेशन की सुरक्षा

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Published : Mar 3, 2020, 9:49 PM IST

Updated : Mar 4, 2020, 11:59 PM IST

रायपुर रेल मंडल में तैनात महिलाओं ने सुरक्षा के क्षेत्र में अहम योगदान दिया है. उन्होंने साल 2019 में लगभग 24 प्रकरणों का निदान किया है.

Women working in the Railway Protection Force of Raipur Railway Division made special contribution in safety
रायपुर रेल मंडल के रेलवे सुरक्षा बल में कार्यरत महिलाओं ने दिया सुरक्षा में विशिष्ठ योगदान

रायपुर: दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे रायपुर रेल मंडल के विभिन्न विभागों में लगभग 788 महिलाएं कार्यरत हैं, जो अलग-अलग पदों पर रहते हुए रेलवे में सुरक्षा का काम कर रही है. साथ ही रेल परिचालन में अपना सहयोग प्रदान करती हैं. ये महिलाएं भारतीय रेलवे में वरिष्ठ अधिकारी, कार्यालय अधीक्षक, क्लर्क ,लोको पायलट, टिकट कलेक्टर, टेकनिशियन ओएचई, सिग्नल कोच और वैगन मेंटेनेंस के पदों पर कार्य करती हैं.

तन्मय मुखोपाध्याय, सीनियर डीसीएम, रायपुर रेलवे

वहीं भारतीय रेलवे के सुरक्षा विभाग में लगभग 22 महिलाएं काम करती हैं, जो दिन-रात यात्रियों की सुरक्षा प्रदान करती हैं. चलती ट्रेनों में रेलवे स्टेशन परिसर और प्लेटफार्म में महिलाओं की विशेष सुरक्षा का ख्याल रखते हुए रेलवे सुरक्षा बल के महिला निरीक्षकों और आरक्षकों की ओर से एक तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप बनाया गया है. जो विशेष तौर पर ट्रेनों में सफर कर रही महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए बनाया गया है.

व्हाट्सएप ग्रुप में फौरन दर्ज होती है शिकायत

तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप पर प्रकरण प्राप्त होते ही तुरंत उसका निदान किया जाता है, साल 2019 में लगभग 24 प्रकरणों का निदान किया गया. वहीं 2018 में लगभग 61 प्रकरणों का निदान किया गया था. तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप 3 अप्रैल 2018 से संचालित है और सक्रिय रूप से कार्य कर रहा है. यह रेलवे सुरक्षा बल की महिलाओं की ओर से सतत निगरानी में रहता है. इसके अतिरिक्त रेलवे सुरक्षा बल की ओर से जारी हेल्पलाइन नंबर 182 सभी यात्रियों के बीच बहुत ही लोकप्रिय है.

रेलवे सुरक्षा बल की महिलाओं ने किया विशिष्ट काम

साल 2019-20 में सुरक्षा हेल्पलाइन नंबर 182 पर रायपुर मंडल में लगभग 259 प्रकरण दर्ज कर उनका निदान किया गया है. रेलवे सुरक्षा बल की महिलाओं ने अपने कर्तव्य का पालन करते हुए रेलवे में विशिष्ट कार्य किया है.

तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप में मिली शिकायत से किया गया यह काम

  • रेलवे सुरक्षा बल निरीक्षक डिटेक्टिव विंग भिलाई में पदस्थ निशा खटानी की ओर से 2019 में 33 किलो गांजा पकड़ा गया था, जो लगभग 1 लाख 65 हजार रूपए लागत का था.
  • 6 प्रकरण यात्रियों का सामान चोरी करने वालों पर दर्ज किया गया था, जिसमें 7 आरोपियों को पकड़ा गया था. वहीं उनके पास से लगभग 52 हजार 600 की रुपए बरामद किया गया था.
  • 4 प्रकरण दंड प्रक्रिया संहिता के तहत दर्ज किए गए थे.
  • वहीं 1 बच्ची को रेस्क्यू कर उनके परिजनों को सौपा गया था.
  • 11 प्रकरण अवैध रेल टिकट दलाली के दर्ज किए गए थे, जिसके तहत 12 लोगों को गिरफ्तार किया गया था. साथ ही उनके पास से लगभग 11 लाख 74 हजार 540 की लागत के 769 टिकट पकड़े गए थे.
  • असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर कुसुम वर्मा ने 3 केस टिकट दलाली के दर्ज कर, लगभग 58 हजार 323 के 46 टिकट पकड़े थे.
  • रेलवे सुरक्षा बल में कार्यरत सहायक उप निरीक्षक ए.नरसम्मा, आरक्षक सीमा जोशी, कविता ने लगभग 16 बच्चों का रेस्क्यू कर उनके अभिभावकों और चाइल्ड लाइन को सुपुर्द किया था.

रायपुर: दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे रायपुर रेल मंडल के विभिन्न विभागों में लगभग 788 महिलाएं कार्यरत हैं, जो अलग-अलग पदों पर रहते हुए रेलवे में सुरक्षा का काम कर रही है. साथ ही रेल परिचालन में अपना सहयोग प्रदान करती हैं. ये महिलाएं भारतीय रेलवे में वरिष्ठ अधिकारी, कार्यालय अधीक्षक, क्लर्क ,लोको पायलट, टिकट कलेक्टर, टेकनिशियन ओएचई, सिग्नल कोच और वैगन मेंटेनेंस के पदों पर कार्य करती हैं.

तन्मय मुखोपाध्याय, सीनियर डीसीएम, रायपुर रेलवे

वहीं भारतीय रेलवे के सुरक्षा विभाग में लगभग 22 महिलाएं काम करती हैं, जो दिन-रात यात्रियों की सुरक्षा प्रदान करती हैं. चलती ट्रेनों में रेलवे स्टेशन परिसर और प्लेटफार्म में महिलाओं की विशेष सुरक्षा का ख्याल रखते हुए रेलवे सुरक्षा बल के महिला निरीक्षकों और आरक्षकों की ओर से एक तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप बनाया गया है. जो विशेष तौर पर ट्रेनों में सफर कर रही महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए बनाया गया है.

व्हाट्सएप ग्रुप में फौरन दर्ज होती है शिकायत

तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप पर प्रकरण प्राप्त होते ही तुरंत उसका निदान किया जाता है, साल 2019 में लगभग 24 प्रकरणों का निदान किया गया. वहीं 2018 में लगभग 61 प्रकरणों का निदान किया गया था. तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप 3 अप्रैल 2018 से संचालित है और सक्रिय रूप से कार्य कर रहा है. यह रेलवे सुरक्षा बल की महिलाओं की ओर से सतत निगरानी में रहता है. इसके अतिरिक्त रेलवे सुरक्षा बल की ओर से जारी हेल्पलाइन नंबर 182 सभी यात्रियों के बीच बहुत ही लोकप्रिय है.

रेलवे सुरक्षा बल की महिलाओं ने किया विशिष्ट काम

साल 2019-20 में सुरक्षा हेल्पलाइन नंबर 182 पर रायपुर मंडल में लगभग 259 प्रकरण दर्ज कर उनका निदान किया गया है. रेलवे सुरक्षा बल की महिलाओं ने अपने कर्तव्य का पालन करते हुए रेलवे में विशिष्ट कार्य किया है.

तेजस्विनी व्हाट्सएप ग्रुप में मिली शिकायत से किया गया यह काम

  • रेलवे सुरक्षा बल निरीक्षक डिटेक्टिव विंग भिलाई में पदस्थ निशा खटानी की ओर से 2019 में 33 किलो गांजा पकड़ा गया था, जो लगभग 1 लाख 65 हजार रूपए लागत का था.
  • 6 प्रकरण यात्रियों का सामान चोरी करने वालों पर दर्ज किया गया था, जिसमें 7 आरोपियों को पकड़ा गया था. वहीं उनके पास से लगभग 52 हजार 600 की रुपए बरामद किया गया था.
  • 4 प्रकरण दंड प्रक्रिया संहिता के तहत दर्ज किए गए थे.
  • वहीं 1 बच्ची को रेस्क्यू कर उनके परिजनों को सौपा गया था.
  • 11 प्रकरण अवैध रेल टिकट दलाली के दर्ज किए गए थे, जिसके तहत 12 लोगों को गिरफ्तार किया गया था. साथ ही उनके पास से लगभग 11 लाख 74 हजार 540 की लागत के 769 टिकट पकड़े गए थे.
  • असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर कुसुम वर्मा ने 3 केस टिकट दलाली के दर्ज कर, लगभग 58 हजार 323 के 46 टिकट पकड़े थे.
  • रेलवे सुरक्षा बल में कार्यरत सहायक उप निरीक्षक ए.नरसम्मा, आरक्षक सीमा जोशी, कविता ने लगभग 16 बच्चों का रेस्क्यू कर उनके अभिभावकों और चाइल्ड लाइन को सुपुर्द किया था.
Last Updated : Mar 4, 2020, 11:59 PM IST
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