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Special : रबी की फसल बर्बाद होने से बढ़ी धरतीपुत्रों की चिंता, सरकार से मदद की आस

बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से रबी की फसल बर्बाद हो गई है. जिससे किसानों का जीवन प्रभावित हो रहा है. किसान सरकार से मुआवजे और समर्थन मूल्य की मांग कर रहे हैं.

Farmers expect Bhupesh government
किसानों को भूपेश सरकार से उम्मीद
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Published : Apr 19, 2020, 3:53 PM IST

रायपुर: कोरोना वायरस को लेकर चल रहे लॉकडाउन ने किसानों की मुश्किल बढ़ा दी है. 20 फरवरी तक समर्थन मूल्य में धान खरीदी करते हुए सरकार ने भले ही नया रिकार्ड कायम किया, लेकिन प्रदेश के कई किसानों का धान नहीं बिका. बची-खुची कसर जनवरी महीने से लगातार हो रही बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने पूरी कर दी. आलम ये है कि किसानों की खड़ी फसल बर्बाद हो गई है. कुछ किसानों ने तो अपने खेतों में मवेशी तक छोड़ दिए. किसानों का ये भी कहना है, कि रबी की फसल को भी सरकार समर्थन मूल्य में खरीदे. किसान सरकार से आस लगाए हुए हैं. कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने किसानों को हर संभव मदद पहुंचाने की बात कही है.

किसानों को भूपेश सरकार से उम्मीद

बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से फसल बर्बाद

रबी की फसल की बुवाई के समय कम तापमान और पकते समय शुष्क और गर्म वातावरण की जरूरत होती है. इसलिए अक्टूबर-नवंबर में फसल बोई जाती है और मार्च-अप्रैल में काटी जाती है. इसे नकदी फसल कहा जाता है. जनवरी-फरवरी से शूरू हुई बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों को नुकसान पहुंचाया है. दलहन और तिलहन फसलें प्रभावित हो गई हैं.

सब्जी किसानों पर लॉकडाउन का असर

लॉकडाउन के बाद सब्जी की खपत कम हो गई. बाजारों के बंद होने से सब्जी के मूल्य घट गए. सही खरीददार नही मिल रहे. जिले से सब्जी बाहर नही जा पा रही. ऐसे में सब्जी की खड़ी फसल खेतों में ही रह गई. लॉकडाउन ने सब्जी उत्पादक किसानों को बरबादी की कगार पर लाकर खड़ा कर दिया है.

पढ़ें: मजदूरों की हौसलाअफजाई : 'जग चलता हो यारा दिलदारा जग चलता'

गन्ना किसानों का बुरा हाल

प्रदेश के गन्ना किसान लॉकडाउन से प्रभावित हैं. किसानों के गन्ना शक्कर मील में नहीं बिक रहे. लॉकडाउन में शक्कर कारखाने बंद हैं. गन्ने सूखने लगे हैं. ऐसे में किसानों को बड़ा घाटा हो सकता है.

कृषि मंत्री ने दिए आश्वासन

कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने ये माना है कि, प्रदेश रबी सीजन में चने की फसल को नुकसान हुआ है. इसके लिए समिक्षा बैठक की जाएगी. इसके साथ ही इंश्योरेंस के पैसे सीधे किसान के खाते में डलाए जाएंगे. लगभग 6 सौ 50 करोड़ रूपए किसानों के खातों में डालना चालू कर दिया गया है. इसके साथ ही लॉकडाउन के दौरान कृषि कार्यों में किसानों को परेशानी ना हो इसके लिए प्रशासन को निर्देश दिए गए हैं.

रायपुर: कोरोना वायरस को लेकर चल रहे लॉकडाउन ने किसानों की मुश्किल बढ़ा दी है. 20 फरवरी तक समर्थन मूल्य में धान खरीदी करते हुए सरकार ने भले ही नया रिकार्ड कायम किया, लेकिन प्रदेश के कई किसानों का धान नहीं बिका. बची-खुची कसर जनवरी महीने से लगातार हो रही बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने पूरी कर दी. आलम ये है कि किसानों की खड़ी फसल बर्बाद हो गई है. कुछ किसानों ने तो अपने खेतों में मवेशी तक छोड़ दिए. किसानों का ये भी कहना है, कि रबी की फसल को भी सरकार समर्थन मूल्य में खरीदे. किसान सरकार से आस लगाए हुए हैं. कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने किसानों को हर संभव मदद पहुंचाने की बात कही है.

किसानों को भूपेश सरकार से उम्मीद

बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से फसल बर्बाद

रबी की फसल की बुवाई के समय कम तापमान और पकते समय शुष्क और गर्म वातावरण की जरूरत होती है. इसलिए अक्टूबर-नवंबर में फसल बोई जाती है और मार्च-अप्रैल में काटी जाती है. इसे नकदी फसल कहा जाता है. जनवरी-फरवरी से शूरू हुई बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों को नुकसान पहुंचाया है. दलहन और तिलहन फसलें प्रभावित हो गई हैं.

सब्जी किसानों पर लॉकडाउन का असर

लॉकडाउन के बाद सब्जी की खपत कम हो गई. बाजारों के बंद होने से सब्जी के मूल्य घट गए. सही खरीददार नही मिल रहे. जिले से सब्जी बाहर नही जा पा रही. ऐसे में सब्जी की खड़ी फसल खेतों में ही रह गई. लॉकडाउन ने सब्जी उत्पादक किसानों को बरबादी की कगार पर लाकर खड़ा कर दिया है.

पढ़ें: मजदूरों की हौसलाअफजाई : 'जग चलता हो यारा दिलदारा जग चलता'

गन्ना किसानों का बुरा हाल

प्रदेश के गन्ना किसान लॉकडाउन से प्रभावित हैं. किसानों के गन्ना शक्कर मील में नहीं बिक रहे. लॉकडाउन में शक्कर कारखाने बंद हैं. गन्ने सूखने लगे हैं. ऐसे में किसानों को बड़ा घाटा हो सकता है.

कृषि मंत्री ने दिए आश्वासन

कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने ये माना है कि, प्रदेश रबी सीजन में चने की फसल को नुकसान हुआ है. इसके लिए समिक्षा बैठक की जाएगी. इसके साथ ही इंश्योरेंस के पैसे सीधे किसान के खाते में डलाए जाएंगे. लगभग 6 सौ 50 करोड़ रूपए किसानों के खातों में डालना चालू कर दिया गया है. इसके साथ ही लॉकडाउन के दौरान कृषि कार्यों में किसानों को परेशानी ना हो इसके लिए प्रशासन को निर्देश दिए गए हैं.

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