रायपुर: कोरोना संकट के कारण 2 महीने के लॉकडाउन के बाद अब धीरे-धीरे देश को अनलॉक किया जा रहा है, लेकिन लोगों में कोरोना का खौफ इतना घर कर गया है कि, लोग बाहर नहीं निकल रहे हैं. जिसका सीधा असर व्यापार पर पड़ रहा है. पहले ही 2 महीने की लॉकडाउन से व्यापारियों को काफी नुकसान हो चुका है. इससे देश की अर्थव्यवस्था को काफी नुकसान पहुंचा है. हालांकि अब सरकार ने अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए लॉकडाउन में रियायत दे दी है.
छत्तीसगढ़ में भी व्यापारिक संस्थानों को रियायतें दी गई है. जिसके तहत तकरीबन सभी दुकानें अब खुल गई है और पहले की तरह बाजार भी लगने लगा है. मार्केट में चहल-पहल भी बढ़ गई है, लेकिन ग्राहकों की कमी अब भी खल रही है. अनलॉक 1.0 के बाद बाजार की स्थिति कैसी है, इसपर ETV भारत की टीम ने व्यापारियों से बात की है, जिसपर कपड़ा व्यापारी लालचंद नारवानी ने बताया कि वे दोपहर तक ग्राहकों का इंतजार ही करते रहते हैं, कई दिन तो दोपहर तक बोहनी भी नहीं होती है. पहले जैसे हालात अब नहीं रहे, लोगों ने दुकान आना बहुत कम कर दिया है.
बाजार नहीं पहुंच रहे खरीददार
इधर, घड़ी व्यापारी ने बताया कि सरकार ने छूट भले दे दी है, लेकिन ग्राहक अब नहीं के बराबर रहे हैं. खासकर जो खरीददार बाहर से आते थे, वे शहर नहीं पहुंच रहे हैं. हालांकि अभी शादी का सीजन है, इसलिए थोड़े बहुत ग्राहक आ रहे हैं, लेकिन जब लॉकडाउन खुला था तो लोग बिल्कुल ही मार्केट नहीं पहुंच रहे थे.
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अब भी है कोरोना का भय
शहर के एक पुस्तक विक्रेता ने बताया कि लोगों में कहीं न कहीं अब भी कोरोना वायरस को लेकर डर बना हुआ है. इसलिए लोग कम हीं आ रहे हैं. जो भी खरीददार दुकान तक आते हैं, उनको वे मास्क और सैनिटाइजर के लिए जरूर कहते हैं, लेकिन अब बाजार उतना नहीं रहा है, अब लगभग 60 प्रतिशत तक ही व्यापार हो पा रहा है.