रायपुर: छत्तीसगढ़ में लगातार कोरोना संक्रमित मरीज स्वस्थ हो रहे हैं. ये पहला राज्य है जहां इतनी तेजी से सभी मरीज स्वस्थ होकर घर लौट रहे हैं. प्रदेश में कुल 10 कोविड-19 के पॉजिटिव मामले सामने आए थे, जिसमें से 9 को डिस्चार्ज किया गया है. छत्तीसगढ़ में कोरोना संक्रमण से बचाव के क्या तरीके अपनाए गए और स्वास्थ्य विभाग की तैयारियां क्या थी इसे लेकर छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव से ETV भारत ने खास बातचीत की.
सवाल- लगातार केंद्र सरकार से कोविड 19 टेस्टिंग किट की मांग कर रहे हैं, अभी हमारे पास कितनी उपलब्ध हैं और कितनी जरूरत है और कितनी मुहैया कराई जा रही है?
जवाब- उनका जो उपक्रम था वो समय पर सप्लाई नहीं कर पाया. 3 मार्च को जब हमने उनसे 700 किट की मांग हमने की थी और 16 को और 7 हजार की मांग रखी थी, मतलब कुल 14 हजार. उसमें से 2 हजार मिले थे और एक हजार अभी और है. वास्तव में केंद्र सरकार दे नहीं रही है, वो बस उपलब्ध करा रही है. पैसे राज्य सरकार ही दे रही है. फिर रैपिड टेस्ट किट के लिए हमने 1 अप्रैल को उनको चिट्ठी लिखी थी. 4 तारीख को उनकी अनुमति आई कि ये भी कर सकते है. इसमें कुल 10 हजार लोगों के टेस्टिंग की व्यवस्था की जा चुकी है.75 हजार रैपिड टेस्टिंग किट का टेंडर हमने निकाला है. इसके साथ ही N95 मास्क और भी जरूरी चीजों का टेंडर हमने निकाला है.
सवाल- कोरोना पीड़ित के लिए सबसे जरूरी है वेंटिलेटर. अभी हमारे पास किस संख्या में हैं और इन्हें बढ़ाने के लिए सरकार क्या कर रही है ?
जवाब- 622 वेंटिलेटर हैं. 248 सरकारी और बाकी प्राइवेट सेक्टर के हैं. 31 का आर्डर दिया है जो आ रहे हैं.
सवाल-आपने कल कहा था कि लॉक डाउन बढ़ाया जाना चाहिए, आपको क्या लगता है कब तक ?
जवाब-बीमारी बहुत गंभीर है, ये चोरी-चोरी आ रही है. मेरी राय में तो लॉक डाउन को एकदम से खत्म करना उचित नहीं होगा. धीरे-धीरे लॉक डाउन बढ़ाना चाहिए संपूर्ण लॉक डाउन तो अभी भी नहीं है. बिजली, स्टील उत्पादन करने वाली कंपनियां चालू हैं. राशन, सब्जी और जरूरी सामानों की दुकानें खुली हुई है.किसान भी अलग-अलग जाकर खेतों में काम कर रहे है.उनकों बेचने की व्यवस्था भी की जाएगी. इस समय रिस्क नहीं लेना चाहिए. हमारे आस पास के सभी राज्यों में संक्रमण फैला हुआ है. ऐसे में ये समझदारी नहीं होगी की हम अपनी सीमाएं एकदम से खोल दें. मेरी समझ में 2 हफ्ते का और समय लेना चाहिए.
सवाल- तबलीगी जमात से जुड़े लोगों का कैसा व्यवहार रहा?
जवाब-उनका कोई अलग सा व्यवहार नहीं कर रहे है. बाहर से जो आए है सभी डरे हुए थे. सभी जो थे सब अलग-अलग मांग कर रहे थे. ये तो स्वाभाविक है. हां ये जरूर है जो उन्होंने निजामुद्दीन में जो किया वो गैर जिम्मेदारी का काम था, वो बिल्कुल नहीं होना चाहिए था.बरहाल छत्तीसगढ़ में 194 लोगों के नाम आए थे, इनमें से 7 लोग छत्तीसगढ़ में आए ही नहीं 187 में से 153 की टेस्टिंग हो चुकी थी, जिसमें से एक पॉजिटिव पाया गया था. शेष 34 के टेस्टिंग के सैंपल आ गए है. 12 लोग जो दंतेवाड़ा में थे उन्होंने अपनी हिस्ट्री में जयपुर दिया हुआ था तो उनका सैंपल नहीं लिया गया था, उनका भी सैंपल आ जाएगा.
सवाल- प्रदेश के लोगों के लिए आपका क्या संदेश है और क्या अपील है
जवाब-इस वार में फ्रंट लाइन में डॉक्टर और पुलिस के हमारे साथी खड़े हुए है. इसके साथ राजस्व विभाग,तहसीलदार सभी विभाग के लोग सबसे ज्यादा खतरे के नजदीक है. इनका जितना आभार व्यक्त करें वो कम है.