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रायपुर: मोदी के 'मन की बात' का किसानों ने थाली बजाकर किया विरोध - रायपुर बूढ़ा तालाब में विरोध

किसान संघ ने बूढ़ा तालाब में कृषि कानून का विरोध किया. प्रधानमंत्री मोदी के मन की बात कार्यक्रम में थाली बजाकर कृषि कानून का विरोध करते रहे.

Farmers Union against agricultural law in budha talab
बूढ़ा तालाब में कृषि कानून का विरोध
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Published : Dec 27, 2020, 6:08 PM IST

रायपुर: देशभर में कृषि कानून को लेकर किसानों का आंदोलन लगातार जारी है. रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मन की बात का देशभर के किसानों ने विरोध किया. राजधानी में भी तमाम किसान संगठनों ने थाली बजाकर विरोध प्रदर्शन किया.

किसानों ने थाली बजाकर किया विरोध

छत्तीसगढ़ किसान मजदूर संघ ने बूढ़ा तालाब में कृषि कानून का विरोध किया. किसानों ने 11 बजे से लेकर 12 बजे तक शो के दौरान थाली बजाकर विरोध प्रदर्शन किया. विरोध प्रदर्शन कर रहे लोगों का कहना है कि दिल्ली में 1 महीने से ज्यादा समय से लाखों किसान अपनी मांगों को लेकर बैठे हुए हैं. ताकि वे विरोध दर्ज करा सकें. प्रधानमंत्री की मन की बात अब प्रासंगिक नहीं रही. देश को अब उनकी जरूरत नहीं है. देश को जरूरत है कि कृषि कानून को वापस लिया जाए.

पढ़ें : बेचना है धान तो किसानों को अब खुद करना होगा बारदाने का इंतजाम

'आम जनों के मन की बात सुनो'

किसान नेता संकेत ठाकुर ने कहा, 'जब से नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बने हैं, वे अपनी मनमानी कर रहे हैं. न वो मन की बात करते हैं, न ही जन की बात. पीएम ने देश के हर इंफ्रास्ट्रक्चर को खत्म कर दिया है. यह देश की संपत्ति को बेचने में लगे हुए हैं. अब किसानों का क्षेत्र और किसानों को बेचने में लगे हुए हैं. अब देश में कोई नरेंद्र मोदी की मन की बात सुनने को तैयार नहीं है. जन की बात को सुनो और आम जनों के मन की बात सुनो. इसलिए हम सड़कों पर निकले हैं और ताली बजाकर और थाली बजाकर प्रधानमंत्री के मन की बात का विरोध कर रहे हैं'.

रायपुर: देशभर में कृषि कानून को लेकर किसानों का आंदोलन लगातार जारी है. रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मन की बात का देशभर के किसानों ने विरोध किया. राजधानी में भी तमाम किसान संगठनों ने थाली बजाकर विरोध प्रदर्शन किया.

किसानों ने थाली बजाकर किया विरोध

छत्तीसगढ़ किसान मजदूर संघ ने बूढ़ा तालाब में कृषि कानून का विरोध किया. किसानों ने 11 बजे से लेकर 12 बजे तक शो के दौरान थाली बजाकर विरोध प्रदर्शन किया. विरोध प्रदर्शन कर रहे लोगों का कहना है कि दिल्ली में 1 महीने से ज्यादा समय से लाखों किसान अपनी मांगों को लेकर बैठे हुए हैं. ताकि वे विरोध दर्ज करा सकें. प्रधानमंत्री की मन की बात अब प्रासंगिक नहीं रही. देश को अब उनकी जरूरत नहीं है. देश को जरूरत है कि कृषि कानून को वापस लिया जाए.

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'आम जनों के मन की बात सुनो'

किसान नेता संकेत ठाकुर ने कहा, 'जब से नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बने हैं, वे अपनी मनमानी कर रहे हैं. न वो मन की बात करते हैं, न ही जन की बात. पीएम ने देश के हर इंफ्रास्ट्रक्चर को खत्म कर दिया है. यह देश की संपत्ति को बेचने में लगे हुए हैं. अब किसानों का क्षेत्र और किसानों को बेचने में लगे हुए हैं. अब देश में कोई नरेंद्र मोदी की मन की बात सुनने को तैयार नहीं है. जन की बात को सुनो और आम जनों के मन की बात सुनो. इसलिए हम सड़कों पर निकले हैं और ताली बजाकर और थाली बजाकर प्रधानमंत्री के मन की बात का विरोध कर रहे हैं'.

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