रायपुर: राष्ट्रीय महिला आयोग ने कोरोना काल में उत्कृष्ट कार्य के लिए छत्तीसगढ़ महिला एवं बाल विकास विभाग को प्रमाण पत्र जारी किया है. राष्ट्रीय महिला आयोग ने नई दिल्ली में छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष किरणमयी नायक को उनके कार्यों की सराहना करते हुए प्रमाण पत्र दिया है.
5 महीने 44 जनसुनवाई
छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष किरणमयी नायक ने बताया कि छत्तीसगढ़ महिला आयोग ने 5 महीनों में 44 जनसुनवाई में 1100 प्रकरणों की सुनवाई की. जिसमें लगभग 400 मामलों का निराकरण किया गया.
दिल्ली में अपने भाषण में किरणमयी नायक ने कहा कि राज्य महिला आयोग को बहुत ज्यादा शक्ति प्रदान किया गया है. उनके दिशा निर्देशों पर ही समस्त पुलिस और प्रशासन से सहयोग लेकर तीव्र गति से महिलाओं को न्याय देने में आयोग तत्परता से काम कर रहा है.
दिल्ली में महिला आयोग के अध्यक्षों का सेमिनार
राष्ट्रीय महिला आयेाग नई दिल्ली कार्यालय में सभी राज्यों के महिला आयोग के अध्यक्षों का सेमिनार हुआ. इस सेमिनार में राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने कहा कि किसी भी राज्य ने कोविड लॉकडाउन के दौरान इतनी बड़ी संख्या में जनसुनवाई नहीं किया, जितना छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग ने इस महामारी के दौरान किया.
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य में महिला आयोग की जनसुनवाई में सभी जिले के कलेक्टर (जिला प्रशासन), पुलिस अधीक्षक, (पुलिस प्रशासन ) का सहयोग मिला है. महिला आयेाग के निर्देशों का कड़ाई से पालन छत्तीसगढ़ में किया जाता है.महिलाओं की शिकायतों के निराकरण में जिस तरह पुलिस और प्रशासन तत्परता से काम कर रही हैं, वैसा पूरे देश में कहीं नहीं हो रहा है.
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दिल्ली में मिले सम्मान को लेकर छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग किरणमयी नायक ने बुधवार को महिला एवं बाल विकास मंत्री अनिला भेड़िया को यह प्रमाण पत्र सौंपा. मंत्री अनिला भेड़िया ने भी लॉकडाउन में किए गए महिला आयोग के कार्यों की सराहना की. अनिला भेड़िया ने कहा कि लॉकडाउन में भी महिला एवं बाल विकास ने एक्शन मोड में काम किया है. आंगनबाड़ी बंद होने की स्थिति में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं ने घर-घर जाकर सूखा राशन और ready-to-eat का वितरण किया और कोरोनावायरस के प्रति लोगों को जागरूक करने का कार्य भी किया.