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छत्तीसगढ़ सरकार का दावा राज्य में ऑक्सीजन की कमी नहीं

छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य में ऑक्सीजन गैस की कमी नहीं होने का दावा किया है. स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि प्रदेश में ऑक्सीजन सिलेंडर की कोई कमी नहीं है. यहां पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन की व्यवस्था है.

no shortage of oxygen in chhattisgarh
प्रदेश में ऑक्सीजन की कमी नहीं : राज्य सरकार
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Published : Apr 16, 2021, 5:54 PM IST

Updated : Apr 16, 2021, 9:40 PM IST

रायपुर: छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य में कोरोना संक्रमित और अन्य गंभीर बीमारियों से पीड़ित मरीजों के लिए ऑक्सीजन गैस की कोई कमी नहीं होने का दावा किया है. 15 अप्रैल की स्थिति में राज्य में हर दिन 386.92 मीट्रिक टन ऑक्सीजन गैस का उत्पादन राज्य में हो रहा है. जबकि वर्तमान में ऑक्सीजन सपोर्ट वाले 5 हजार 898 मरीजों के लिए हर दिन 110.30 मीट्रिक टन ऑक्सीजन की ही जरूरत पड़ रही है.

ऑक्सीजन की कमी की बात गलत: स्वास्थ्य विभाग

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि राज्य के सभी शासकीय और निजी अस्पतालों में डिमांड के मुताबिक ऑक्सीजन गैस की लगातार आपूर्ति की जा रही है. कोविड-19 मरीजों के लिए बनाए गए कोविड डेडिकेटेड हॉस्पिटल, कोविड केयर सेंटर्स में ऑक्सीजन प्लांट, जंबो ऑक्सीजन सिलेंडर और ऑक्सीजन कंसनटेटर के द्वारा मरीजों को ऑक्सीजन उपलब्ध कराया जा रहा है. स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि कोरोना पीड़ित मरीजों की मौत गंभीर संक्रमण और बीमारी की वजह से हो रही है. ऑक्सीजन की कमी की वजह से मरीजों की मौत होने की बात बिल्कुल भ्रामक है.

मरीजों की संख्या में इजाफा

स्वास्थ्य विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक राज्य में 14 मार्च से ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजोें की संख्या में लगातार वृद्धि होने से ऑक्सीजन खपत भी बढ़ी है. 14 मार्च की स्थिति में राज्य में ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मात्र 197 मरीजों के लिए 3.68 मीट्रिक टन ऑक्सीजन की जरुरत थी. जो 15 अप्रैल की स्थिति में बढ़कर 110.30 मीट्रिक टन हो गई है. 15 अप्रैल की स्थिति में ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजों की संख्या 5 हजार 898 रही है.

रायपुर में तैयार हो रहा है 300 ऑक्सीजन बेड वाला कोविड केयर सेंटर

राज्य में 27 ऑक्सीजन प्लांट

राज्य में पीएसए ऑक्सीजन प्लांट की संख्या कुल 27 है. इनसे रोजाना 176.92 मीट्रिक टन ऑक्सीजन गैस का उत्पादन किया जा रहा है. इसके अलावा राज्य के दो लिक्विड मेडिकल ऑक्सीजन मैन्युफेक्चर्स रोजाना 210 मीट्रिक टन एयर डेस्टीलेशन यूनिट और पीएसए ऑक्सीजन जेनरेट कर रहे हैं. इस तरह राज्य में कुल 29 प्लांट में 386.92 मीट्रिक टन ऑक्सीजन का प्रोडक्शन किया जा रहा है. जबकि वर्तमान में मात्र 110.30 मीट्रिक टन ऑक्सीजन गैस का ही उपयोग ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजों के लिए हो रहा है.

कई कंपनियां तैयार कर रही ऑक्सीजन

  • निर्माता मेसर्स लूपिन गैस उरला हर दिन 9.32 मीट्रिक टन
  • मेसर्स स्टील अथॉरिटी आफ इंडिया लिमिटेड भिलाई स्टील प्लांट 15 मीट्रिक टन
  • मेसर्स पीएस गैस कुरांडी जगदलपुर 2.8 मीट्रिक टन
  • मेसर्स विद्या गैस इंडस्ट्रिज सूरजपुर 5.45 मीट्रिक टन
  • मेसर्स सर्वमंगला गैस रजगामर रोड कोरबा 5 मीट्रिक टन
  • मेसर्स अतुल ऑक्सीजन कंपनी रसमड़ा दुर्ग 7.8 मीट्रिक टन
  • मेसर्स अतुल ऑक्सीजन कंपनी नंदनी रोड भिलाई 7.8 मीट्रिक टन
  • मेसर्स सत्गुरू ऑक्सीजन कंपनी बिलासपुर 5 मीट्रिक टन ऑक्सीजन जनरेट कर रहे हैं.

रायपुर: छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य में कोरोना संक्रमित और अन्य गंभीर बीमारियों से पीड़ित मरीजों के लिए ऑक्सीजन गैस की कोई कमी नहीं होने का दावा किया है. 15 अप्रैल की स्थिति में राज्य में हर दिन 386.92 मीट्रिक टन ऑक्सीजन गैस का उत्पादन राज्य में हो रहा है. जबकि वर्तमान में ऑक्सीजन सपोर्ट वाले 5 हजार 898 मरीजों के लिए हर दिन 110.30 मीट्रिक टन ऑक्सीजन की ही जरूरत पड़ रही है.

ऑक्सीजन की कमी की बात गलत: स्वास्थ्य विभाग

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि राज्य के सभी शासकीय और निजी अस्पतालों में डिमांड के मुताबिक ऑक्सीजन गैस की लगातार आपूर्ति की जा रही है. कोविड-19 मरीजों के लिए बनाए गए कोविड डेडिकेटेड हॉस्पिटल, कोविड केयर सेंटर्स में ऑक्सीजन प्लांट, जंबो ऑक्सीजन सिलेंडर और ऑक्सीजन कंसनटेटर के द्वारा मरीजों को ऑक्सीजन उपलब्ध कराया जा रहा है. स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि कोरोना पीड़ित मरीजों की मौत गंभीर संक्रमण और बीमारी की वजह से हो रही है. ऑक्सीजन की कमी की वजह से मरीजों की मौत होने की बात बिल्कुल भ्रामक है.

मरीजों की संख्या में इजाफा

स्वास्थ्य विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक राज्य में 14 मार्च से ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजोें की संख्या में लगातार वृद्धि होने से ऑक्सीजन खपत भी बढ़ी है. 14 मार्च की स्थिति में राज्य में ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मात्र 197 मरीजों के लिए 3.68 मीट्रिक टन ऑक्सीजन की जरुरत थी. जो 15 अप्रैल की स्थिति में बढ़कर 110.30 मीट्रिक टन हो गई है. 15 अप्रैल की स्थिति में ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजों की संख्या 5 हजार 898 रही है.

रायपुर में तैयार हो रहा है 300 ऑक्सीजन बेड वाला कोविड केयर सेंटर

राज्य में 27 ऑक्सीजन प्लांट

राज्य में पीएसए ऑक्सीजन प्लांट की संख्या कुल 27 है. इनसे रोजाना 176.92 मीट्रिक टन ऑक्सीजन गैस का उत्पादन किया जा रहा है. इसके अलावा राज्य के दो लिक्विड मेडिकल ऑक्सीजन मैन्युफेक्चर्स रोजाना 210 मीट्रिक टन एयर डेस्टीलेशन यूनिट और पीएसए ऑक्सीजन जेनरेट कर रहे हैं. इस तरह राज्य में कुल 29 प्लांट में 386.92 मीट्रिक टन ऑक्सीजन का प्रोडक्शन किया जा रहा है. जबकि वर्तमान में मात्र 110.30 मीट्रिक टन ऑक्सीजन गैस का ही उपयोग ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजों के लिए हो रहा है.

कई कंपनियां तैयार कर रही ऑक्सीजन

  • निर्माता मेसर्स लूपिन गैस उरला हर दिन 9.32 मीट्रिक टन
  • मेसर्स स्टील अथॉरिटी आफ इंडिया लिमिटेड भिलाई स्टील प्लांट 15 मीट्रिक टन
  • मेसर्स पीएस गैस कुरांडी जगदलपुर 2.8 मीट्रिक टन
  • मेसर्स विद्या गैस इंडस्ट्रिज सूरजपुर 5.45 मीट्रिक टन
  • मेसर्स सर्वमंगला गैस रजगामर रोड कोरबा 5 मीट्रिक टन
  • मेसर्स अतुल ऑक्सीजन कंपनी रसमड़ा दुर्ग 7.8 मीट्रिक टन
  • मेसर्स अतुल ऑक्सीजन कंपनी नंदनी रोड भिलाई 7.8 मीट्रिक टन
  • मेसर्स सत्गुरू ऑक्सीजन कंपनी बिलासपुर 5 मीट्रिक टन ऑक्सीजन जनरेट कर रहे हैं.
Last Updated : Apr 16, 2021, 9:40 PM IST
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