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संगठन चुनाव पर बीजेपी को घेर रही कांग्रेस, बोली- हार के बाद याद आया लोकतंत्र

भाजपा में सदस्यता अभियान के बाद संगठन चुनाव की कवायद तेज हो गई है. राष्ट्रीय चुनाव प्रभारी और पूर्व केंद्रीय मंत्री राधामोहन सिंह ने छत्तीसगढ़ में संगठनात्मक चुनाव कराने के लिए प्रदेश निर्वाचन समिति का गठन किया है. इनमें प्रदेश चुनाव अधिकारी रामप्रताप सिंह और प्रदेश सह चुनाव अधिकारी विष्णुदेव साय को नियुक्त किया गया है. ये दोनों चुनाव अधिकारी मंडल और जिला चुनाव अधिकारियों की नियुक्ति करेंगे.

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Published : Aug 22, 2019, 9:06 PM IST

रायपुर: छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश और राजस्थान विधानसभा चुनाव में करारी शिकस्त सहने वाली भाजपा अब संगठन स्तर पर खुद को मजबूत करने के लिए लोकतांत्रिक तरीके से संगठन चुनाव कराने जा रही है. आमतौर पर देखा गया है कि प्रदेश अध्यक्ष हो या राष्ट्रीय अध्यक्ष दोनों ही सर्वसम्मति से मनोनीत होते आए हैं.

भाजपा में संगठन चुनाव की कवायद तेज

भाजपा में सदस्यता अभियान के बाद संगठन चुनाव की कवायद तेज हो गई है. राष्ट्रीय चुनाव प्रभारी और पूर्व केंद्रीय मंत्री राधामोहन सिंह ने छत्तीसगढ़ में संगठनात्मक चुनाव कराने के लिए प्रदेश निर्वाचन समिति का गठन किया है. इनमें प्रदेश चुनाव अधिकारी रामप्रताप सिंह और प्रदेश सह चुनाव अधिकारी विष्णुदेव साय को नियुक्त किया गया है. ये दोनों चुनाव अधिकारी मंडल और जिला चुनाव अधिकारियों की नियुक्ति करेंगे.

देश की सबसे बड़ी प्रजातांत्रिक पार्टी है भाजपा- धरमलाल कौशिक
नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने बताया कि उपचुनाव को देखने के लिए प्रभारी नियुक्त कर दिए गए हैं. प्रभारी वहां जाएंगे, बैठक लेंगे और कार्यकर्ताओं से विचार-विमर्श करने के बाद चुनाव की रणनीति तैयार करेंगे. उन्होंने कहा कि लोगों ने मन बना लिया है और दोंनों उपचुनाव भाजपा जितेगी. उनका कहना है और पूरे देश में अगर कोई प्रजातांत्रिक पार्टी है तो वो भाजपा है. चुनाव के लिए सारे कार्यक्रम की व्यवस्था कर ली गई है. प्रदेशाध्यक्ष का चुनाव दिसंबर में होगा.

प्रदेश संगठन की चुनाव की तारीख

  • 1 सितंबर से संगठन की प्राथमिक समितियों (बूथ) के चुनाव
  • 15 सिंतबर से 1 अक्टूबर तक मंडल के चुनाव
  • 15 अक्टूबर से जिला समितियों के चुनाव होंगे.

कांग्रेस ने भाजपा की तैयारियों पर ली चुटकी
संगठन के चुनावों में कांग्रेस हमेशा आगे रही है. लिहाजा वह भाजपा की तैयारियों पर चुटकी ले रही है. कांग्रेस प्रवक्ता रमेश वर्ल्यानी का कहना है कि अब जब पार्टी सरकार से बाहर हो गई है तो उन्हें अपने कार्यकर्ताओं की याद आ रही है. उनका आरोप है कि भाजपा ने कभी भी अपने संगठन का चुनाव लोकतांत्रिक तरीके से नहीं कराया. सब कुछ ऊपर से ही तय कर लिया जाता था. इसके कारण भाजपा कर्यकर्ताओं में असंतोष है और इसको दबाने के लिए अब भाजपा लोकतंत्र का बहाना कर रही है. उन्होंने कहा कि भाजपा अब कांग्रेस से सीख रही है.

रायपुर: छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश और राजस्थान विधानसभा चुनाव में करारी शिकस्त सहने वाली भाजपा अब संगठन स्तर पर खुद को मजबूत करने के लिए लोकतांत्रिक तरीके से संगठन चुनाव कराने जा रही है. आमतौर पर देखा गया है कि प्रदेश अध्यक्ष हो या राष्ट्रीय अध्यक्ष दोनों ही सर्वसम्मति से मनोनीत होते आए हैं.

भाजपा में संगठन चुनाव की कवायद तेज

भाजपा में सदस्यता अभियान के बाद संगठन चुनाव की कवायद तेज हो गई है. राष्ट्रीय चुनाव प्रभारी और पूर्व केंद्रीय मंत्री राधामोहन सिंह ने छत्तीसगढ़ में संगठनात्मक चुनाव कराने के लिए प्रदेश निर्वाचन समिति का गठन किया है. इनमें प्रदेश चुनाव अधिकारी रामप्रताप सिंह और प्रदेश सह चुनाव अधिकारी विष्णुदेव साय को नियुक्त किया गया है. ये दोनों चुनाव अधिकारी मंडल और जिला चुनाव अधिकारियों की नियुक्ति करेंगे.

देश की सबसे बड़ी प्रजातांत्रिक पार्टी है भाजपा- धरमलाल कौशिक
नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने बताया कि उपचुनाव को देखने के लिए प्रभारी नियुक्त कर दिए गए हैं. प्रभारी वहां जाएंगे, बैठक लेंगे और कार्यकर्ताओं से विचार-विमर्श करने के बाद चुनाव की रणनीति तैयार करेंगे. उन्होंने कहा कि लोगों ने मन बना लिया है और दोंनों उपचुनाव भाजपा जितेगी. उनका कहना है और पूरे देश में अगर कोई प्रजातांत्रिक पार्टी है तो वो भाजपा है. चुनाव के लिए सारे कार्यक्रम की व्यवस्था कर ली गई है. प्रदेशाध्यक्ष का चुनाव दिसंबर में होगा.

प्रदेश संगठन की चुनाव की तारीख

  • 1 सितंबर से संगठन की प्राथमिक समितियों (बूथ) के चुनाव
  • 15 सिंतबर से 1 अक्टूबर तक मंडल के चुनाव
  • 15 अक्टूबर से जिला समितियों के चुनाव होंगे.

कांग्रेस ने भाजपा की तैयारियों पर ली चुटकी
संगठन के चुनावों में कांग्रेस हमेशा आगे रही है. लिहाजा वह भाजपा की तैयारियों पर चुटकी ले रही है. कांग्रेस प्रवक्ता रमेश वर्ल्यानी का कहना है कि अब जब पार्टी सरकार से बाहर हो गई है तो उन्हें अपने कार्यकर्ताओं की याद आ रही है. उनका आरोप है कि भाजपा ने कभी भी अपने संगठन का चुनाव लोकतांत्रिक तरीके से नहीं कराया. सब कुछ ऊपर से ही तय कर लिया जाता था. इसके कारण भाजपा कर्यकर्ताओं में असंतोष है और इसको दबाने के लिए अब भाजपा लोकतंत्र का बहाना कर रही है. उन्होंने कहा कि भाजपा अब कांग्रेस से सीख रही है.

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छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश और राजस्थान विधानसभा चुनाव में करारी शिकस्त सहने वाली भाजपा अब संगठन स्तर पर खुद को मजबूत करने के लिए लोकतांत्रिक तरीक़े से संगठन चुनाव कराने जा रही है। हालांकि देखा यह गया है कि प्रदेश अध्यक्ष हो या राष्ट्रीय अध्यक्ष वह सर्वसम्मति से मनोनीत ही होते आये है। लेकिन अब संगठन स्तर के चुनाव जिलास्तर से लेकर प्रदेश स्तर तक होंगे। इसके पीछे अब कार्यकर्ताओ को साधने का एक प्रयोग के रूप में देखा जा रहा है।
Body:Vo1 -

डॉ रमन सिंह की अगुवाई में छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव हारने वाली भाजपा की हार की एक वजह संगठन में कार्यकर्ताओं को विश्वास में लेकर न चलना रहा है।टिकट वितरण से लेकर तमाम फैसलों में बड़े नेताओं की मनमानी चलती रही है। लेकिन राष्ट्रीय मुद्दों के आधार पर लोकसभा में भाजपा ने वापसी जरूर की। प्रदेश में अब आगे नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव है, लिहाजा अब भाजपा लोकतांत्रिक तरीके से कार्यकार्यकर्ताओ को फिर से जोड़ने संगठन में चुनाव कराने जा रही है। भाजपा के वरिष्ठ नेताओं का मानना है कि विश्व की सबसे बड़ी पार्टी बनने के पीछे यही कारण है कि हमारा संगठन मजबूत है और संगठन को मजबूत करने के लिए लोकतांत्रिक प्रकिया से काम किया जाता है।


बाईट- धरमलाल कौशिक,नेता प्रतिपक्ष, छग विधानसभा

Vo2 -

भाजपा में सदस्यता अभियान के बाद भाजपा में संगठन चुनाव की कवायद तेज हो गई है। राष्ट्रीय चुनाव प्रभारी व पूर्व केन्द्रीय मंत्री राधामोहन सिंह ने छत्तीसगढ़ में संगठनात्मक चुनाव कराने के लिए प्रदेश निर्वाचन समिति का गठन किया है। इनमें प्रदेश चुनाव अधिकारी रामप्रताप सिंह व प्रदेश सह चुनाव अधिकारी विष्णुदेव साय को नियुक्त किया गया है। ये दोनों मंडल और जिला चुनाव अधिकारियों की नियुक्ति करेंगे। प्रदेश संगठन के चुनाव 1 सितंबर से संगठन की प्राथमिक समितियों (बूथ) के चुनाव , 15 सिंतबर से 1 अक्टूबर तक मंडल, और फिर 15 अक्टूबर से जिला समितियों के चुनाव होंगे। प्रदेशाध्यक्ष का चुनाव दिसंबर में होगा। वही कांग्रेस संगठन चुनावो में हमेशा आगे रही है। लिहाजा वह भाजपा की तैयारियों पर चुटकी ले रही है। कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि अब सत्ता सरकार से बाहर हो गई है तो अपने कार्यकर्ताओं की याद आ रही है।

बाईट-रमेश वर्ल्यानी, वरिष्ठ नेता एवं कांग्रेस प्रवक्ता


Conclusion:Fvo-
समय कम है साल के अंत मे ही नगरीय निकाय चुनाव होने है। भाजपा को लगता है कि इसी समय संगठनात्मक चुनाव कराकर सबकुछ ठीक किया जा सकता है तो इतना आसान नही होगा।

पीटीसी

मयंक ठाकुर, ईटीवी भारत, रायपुर
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