रायगढ़: SECL प्रभावित लोगों को भू-अर्जन और पुनर्वास समिति के तहत मुआवजा देने के लिए 2 महीने के अंदर घरघोड़ा और धरमजयगढ़ क्षेत्र के SDM ने आदेश दिया था. कलेक्टर भीम सिंह ने कहा कि 2 महीने के अंदर SECL जन सुनवाई करें और 6 गांव के प्रभावित किसानों को मुआवजा और रोजगार देने की व्यवस्था करें. कलेक्टर ने कहा कि भू-अर्जन और पुनर्वास नीति के तहत मुआवजा और रोजगार न मिलने पर संबंधित कंपनी प्रभावित लोगों को मासिक वेतन भुगतान करें.
घरघोड़ा और धरमजयगढ़ के SECL प्रभावितों ने मुआवजा और रोजगार न मिलने पर कलेक्टर ने लगाई गुहार प्रोजेक्ट शुरू करें और रोजगार देंरायगढ़ कलेक्टर भीम सिंह ने जिला स्तरीय पुनर्वास समिति की बैठक ली. इसमें SECL (साउथ इस्टर्न कोल लिमिटेड) के निदेशक, महाप्रबंधक और SECL परियोजना से प्रभावित क्षेत्र छाल, लात, नवापारा, बांधापाली, खेदापाली और कुसुंदा ग्राम पंचायतों से आए ग्रामीण उपस्थित थे. कलेक्टर ने कहा कि भू-अर्जन से प्रभावित व्यक्ति 150 रुपए प्रति डिसमिल की दर से हर महीने आजीवन प्राप्त कर सकते हैं. 6 गांव के प्रभावित परिवार के सदस्यों के लिए प्रबंधन ने स्वीकार किए गए प्रस्ताव के अनुसार 415 युवाओं को रोजगार देना है. जिसके लिए 2 महीने में पूरा करने के निर्देश दिए हैं. साथ ही प्रोजेक्ट के पर्यावरण क्लियरेंस के मिलते ही नियुक्ति पत्र देने का भी निर्देश दिए हैं. प्रभावित किसान धरमजयगढ़ के SDM और घरघोड़ा के SDM से अपने दस्तावेज जमा कराकर पात्रता जांच सकते हैं.
पढ़ें- केंद्रीय कृषि कानून और धान खरीदी में लेटलतीफी को लेकर किसानों का हल्लाबोल
धरमजयगढ़ और घरघोड़ा SDM करेंगे जांच
भू विस्थापन और मुआवजा के संबंधित मामलों में घरघोड़ा SDM और धरमजयगढ़ SDM पूरे मामले की जांच करेंगे की कौन पात्र है और कौन पात्र नहीं है. पात्रता के लिए नए और पुराने नियम के अनुसार जांच किए जाएंगे. प्रभावित 6 गांवों के किसान SDM के समक्ष अपने भूमि के दस्तावेज प्रस्तुत करेंगे और उनको दस्तावेज के आधार पर पात्रता दी जाएगी.