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चक्रधर समारोह के आयोजन की बदली गई जगह, कई वजह आई सामने

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Published : Aug 23, 2019, 8:50 AM IST

Updated : Aug 23, 2019, 9:40 AM IST

चक्रधर समारोह का आयोजन रामलीला मैदान में किया जा रहा है. उचित व्यवस्था न होने के कारण यह फैसला लिया गया है.

चक्रधर समारोह का आयोजन

रायगढ़ : जिले में हर वर्ष 13 से 22 सितंबर तक होने वाले चक्रधर समारोह का आयोजन नवनिर्मित ऑडिटोरियम में किया जाना था, लेकिन उचित व्यवस्था न होने के कारण अब यहां आयोजन नहीं होगा. इस आयोजन को रामलीला मैदान में किया जाएगा.

चक्रधर समारोह का आयोजन

दरअसल, चक्रधर समारोह का आयोजन नवनिर्मित ऑडिटोरियम में किया जाना था, लेकिन बेहतर स्टेज और दर्शकों के लिए पर्याप्त जगह न होने कारण इस समारोह को दूसरे स्थान में करने का निर्णय लिया गया है.

राजा चक्रधर के नाम पर पड़ा समारोह
बता दें कि जिले में हर साल सितंबर में चक्रधर समारोह में कलाकारों को आमांत्रित किया जाता है. इस आयोजन की शुरुआत रायगढ़ राजघराने के राजा भूपदेव सिंह के दूसरे बेटे राजा चक्रधर सिंह के नाम पर हुई थी. साल 1985 से 10 दिवसीय चक्रधर समारोह का प्रारंभ हुआ. इसमें संस्कृतिक कार्यक्रम के साथ ही पारंपरिक खेलों का भी आयोजन किया जाता है, जिसमें महिला और पुरुष के लिए कबड्डी कुश्ती आदि खेलों का आयोजन किया जाता है. इसमें 16, 17 और 18 सितंबर को कुश्ती का आयोजन किया जाता है जबकि 20, 21 और 22 सितंबर को कबड्डी का आयोजन किया जाता है.

पढ़ें : साबरमती से लेकर संगम तक गांधी की यादें संजोए है इलाहाबाद संग्रहालय

चक्रधर एक कुशल तबला वादक
बता दें कि राजा चक्रधर एक कुशल तबला वादक और संगीत में निपुण थे. स्वतंत्रता के पहले से ही गणेश उत्सव के समय यहां सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता था, जो चक्रधर सिंह की मृत्यु के बाद उनकी याद में चक्रधर समारोह के नाम से जाना जाने लगा.

चक्रधर समारोह रामलीला मैदान में
इस बार के समारोह को भी खास माना जा रहा था क्योंकि इस बार चक्रधर समारोह नवनिर्मित ऑडिटोरियम में होने वाला था, लेकिन व्यवस्था की कमी के और कलाकारों की मनाही के बाद समारोह रामलीला मैदान में टेंपरेरी स्टेज पर बनाकर संपन्न कराया जाएगा.

रायगढ़ : जिले में हर वर्ष 13 से 22 सितंबर तक होने वाले चक्रधर समारोह का आयोजन नवनिर्मित ऑडिटोरियम में किया जाना था, लेकिन उचित व्यवस्था न होने के कारण अब यहां आयोजन नहीं होगा. इस आयोजन को रामलीला मैदान में किया जाएगा.

चक्रधर समारोह का आयोजन

दरअसल, चक्रधर समारोह का आयोजन नवनिर्मित ऑडिटोरियम में किया जाना था, लेकिन बेहतर स्टेज और दर्शकों के लिए पर्याप्त जगह न होने कारण इस समारोह को दूसरे स्थान में करने का निर्णय लिया गया है.

राजा चक्रधर के नाम पर पड़ा समारोह
बता दें कि जिले में हर साल सितंबर में चक्रधर समारोह में कलाकारों को आमांत्रित किया जाता है. इस आयोजन की शुरुआत रायगढ़ राजघराने के राजा भूपदेव सिंह के दूसरे बेटे राजा चक्रधर सिंह के नाम पर हुई थी. साल 1985 से 10 दिवसीय चक्रधर समारोह का प्रारंभ हुआ. इसमें संस्कृतिक कार्यक्रम के साथ ही पारंपरिक खेलों का भी आयोजन किया जाता है, जिसमें महिला और पुरुष के लिए कबड्डी कुश्ती आदि खेलों का आयोजन किया जाता है. इसमें 16, 17 और 18 सितंबर को कुश्ती का आयोजन किया जाता है जबकि 20, 21 और 22 सितंबर को कबड्डी का आयोजन किया जाता है.

पढ़ें : साबरमती से लेकर संगम तक गांधी की यादें संजोए है इलाहाबाद संग्रहालय

चक्रधर एक कुशल तबला वादक
बता दें कि राजा चक्रधर एक कुशल तबला वादक और संगीत में निपुण थे. स्वतंत्रता के पहले से ही गणेश उत्सव के समय यहां सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता था, जो चक्रधर सिंह की मृत्यु के बाद उनकी याद में चक्रधर समारोह के नाम से जाना जाने लगा.

चक्रधर समारोह रामलीला मैदान में
इस बार के समारोह को भी खास माना जा रहा था क्योंकि इस बार चक्रधर समारोह नवनिर्मित ऑडिटोरियम में होने वाला था, लेकिन व्यवस्था की कमी के और कलाकारों की मनाही के बाद समारोह रामलीला मैदान में टेंपरेरी स्टेज पर बनाकर संपन्न कराया जाएगा.

Intro:.जिले में प्रति वर्ष 13 से 22 सितंबर तक होने वाली चक्रधर समारोह का आयोजन इस बार रायगढ़ के नवनिर्मित ऑडिटोरियम में होने वाला था लेकिन कम जगह और उचित स्टेज की व्यवस्था ना होने की बात कहकर ऑडिटोरियम में चक्रधर समारोह ना होने की बात की। इससे पहले नवनिर्मित नवनिर्मित ऑडिटोरियम में बेहतर स्टेज और दर्शकों के लिए उत्तम बैठने की व्यवस्था बताकर चक्रधर समारोह होने वाला था। अब चक्रधर समारोह रामलीला मैदान में किया जाएगा।

byte01 यशवंत कुमार, कलेक्टर रायगढ़।


Body:रायगढ़ जिले में प्रतिवर्ष सितंबर माह में चक्रधर समारोह आयोजन करके गायन वादन और नृत्य के शीर्षस्थ से कलाकारों को बुलाया जाता है. बता दें कि चक्रधर समारोह का आयोजन रायगढ़ राजघराने के राजा भूपदेव सिंह के द्वितीय पुत्र राजा चक्रधर सिंह के नाम से सुरुवात किया गया। 1985 से 10 दिवसीय चक्रधर समारोह का प्रारंभ हुआ। चक्रधर समारोह में संस्कृतिक कार्यक्रम के साथ ही पारंपरिक खेलों का आयोजन किया जाता है जिसमें महिला पुरुष कबड्डी कुश्ती आदि होते हैं। 16, 17 और 18 सितंबर को 3 दिनों तक कुश्ती का आयोजन किया जाता है जबकि 20, 21 एवं 22 सितंबर को कबड्डी का आयोजन किया जाता है।
बता दे कि रायगढ़ के राजा चक्रधर सिंह एक कुशल तबला वादक एवं संगीत में निपुण थे स्वतंत्रता के पहले से ही गणेश उत्सव के समय यहां सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता था जो धीरे धीरे एक बड़ा आयोजन का रूप ले लिया और यही संस्कृतिक कार्यक्रम महाराजा चक्रधर सिंह की मृत्यु के बाद उनकी याद में चक्रधर समारोह का नाम पड़ गया।
इस बार के चक्रधर समारोह को भी खास माना जा रहा था क्योंकि इस बार चक्रधर समारोह नवनिर्मित ऑडिटोरियम में होने वाला था लेकिन प्रशासनिक और कार्यक्रम में शिरकत करने वाले कलाकारों की मनाही के बाद चक्रधर समारोह फिर से रामलीला मैदान में टेंपरेरी स्टेज बनाकर संपन्न कराया जाएगा बता दे हर वर्ष 13 से 22 सितंबर को अस्थाई डोम बनाकर किया जाता है।


Conclusion:
Last Updated : Aug 23, 2019, 9:40 AM IST
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