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केंद्र सरकार के खिलाफ मजदूर संघ का फूटा गुस्सा, मजदूर कानून में संशोधन को लेकर नाराजगी

केंद्र सरकार के खिलाफ मजदूर संघ ने मोर्चा खोल दिया है. इसी क्रम में मजदूरों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा. मजदूरों का कहना है कि मजदूर कानून में किए गए परिवर्तन से मजदूरों के अधिकार का हनन किया जा रहा है.

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केंद्र सरकार के खिलाफ मजदूर संघ का फूटा गुस्सा
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Published : Oct 29, 2020, 4:21 AM IST

रायगढ़: भारतीय मजदूर संघ के बैनर तले कई मजदूर संगठनों ने केंद्र सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. मजदूरों का कहना है कि केंद्र सरकार द्वारा मजदूर कानून में किए गए परिवर्तन के विरोध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा. मजदूर संघ के सदस्यों का कहना है कि नए कानून से मजदूरों के अधिकार का हनन होगा.

केंद्र सरकार के खिलाफ मजदूर संघ का फूटा गुस्सा

मजदूर संघ के सदस्यों का कहना है कि लिहाजा कानून में सुधार होना चाहिए. अगर कानून में सुधार नहीं होता है, तो वे समस्त मजदूर संघ को एकत्रित करके देशभर में केंद्र सरकार के खिलाफ आंदोलन करेंगे. जिला कलेक्ट्रेट कार्यालय पहुंचे मजदूर औद्योगिक क्षेत्रों में काम करते हैं. अपने और अपने परिवार का पेट चलाते हैं.

पखांजूर: धान की फसल पर माहु कीट का हमला, किसानों की बढ़ी चिंता

मजदूर संघ ने कलेक्टर को प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा

मजदूरों का कहना है कि पुराने कानून में बदलाव से उद्योगों को मजदूरों के खिलाफ रणनीति बनाने, उनको रोजगार से निकालने और वेतन निर्धारण के साथ कई तरह के अधिकारों का कमजोर भाग मिल जाएगा. इससे मजदूरों को अपने स्वार्थ के अनुसार प्रताड़ित कर सकेंगे. लिहाजा मजदूरों के साथ अन्याय ना हो इसके लिए मजदूर संघ ने कलेक्टर को प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा.

मजदूर संघ ने राष्ट्रीय स्तर पर उग्र आंदोलन की दी चेतावनी

संघ के प्रदेश उपाध्यक्ष ने बताया कि नए कानून के आने के बाद उद्योग और निजी क्षेत्रों में मजदूरों के साथ अन्याय बढ़ जाएगा. निजि संस्थाओं के हित में कानून में ढिलाई कर दी जाएगी, जिससे निजी उद्योग अपने तरीके से मजदूरों के साथ व्यवहार करेंगे. पीड़ित पक्ष कानूनन सहारा नहीं ले पाएगा. इसलिए वे केंद्र सरकार के मजदूर कानून का में संसोधन और सुधार की मांग कर रहे हैं. अगर कानून में संशोधन नहीं होता है, तो मजदूर संघ राष्ट्रीय स्तर पर उग्र आंदोलन करेगा.

रायगढ़: भारतीय मजदूर संघ के बैनर तले कई मजदूर संगठनों ने केंद्र सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. मजदूरों का कहना है कि केंद्र सरकार द्वारा मजदूर कानून में किए गए परिवर्तन के विरोध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा. मजदूर संघ के सदस्यों का कहना है कि नए कानून से मजदूरों के अधिकार का हनन होगा.

केंद्र सरकार के खिलाफ मजदूर संघ का फूटा गुस्सा

मजदूर संघ के सदस्यों का कहना है कि लिहाजा कानून में सुधार होना चाहिए. अगर कानून में सुधार नहीं होता है, तो वे समस्त मजदूर संघ को एकत्रित करके देशभर में केंद्र सरकार के खिलाफ आंदोलन करेंगे. जिला कलेक्ट्रेट कार्यालय पहुंचे मजदूर औद्योगिक क्षेत्रों में काम करते हैं. अपने और अपने परिवार का पेट चलाते हैं.

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मजदूर संघ ने कलेक्टर को प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा

मजदूरों का कहना है कि पुराने कानून में बदलाव से उद्योगों को मजदूरों के खिलाफ रणनीति बनाने, उनको रोजगार से निकालने और वेतन निर्धारण के साथ कई तरह के अधिकारों का कमजोर भाग मिल जाएगा. इससे मजदूरों को अपने स्वार्थ के अनुसार प्रताड़ित कर सकेंगे. लिहाजा मजदूरों के साथ अन्याय ना हो इसके लिए मजदूर संघ ने कलेक्टर को प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा.

मजदूर संघ ने राष्ट्रीय स्तर पर उग्र आंदोलन की दी चेतावनी

संघ के प्रदेश उपाध्यक्ष ने बताया कि नए कानून के आने के बाद उद्योग और निजी क्षेत्रों में मजदूरों के साथ अन्याय बढ़ जाएगा. निजि संस्थाओं के हित में कानून में ढिलाई कर दी जाएगी, जिससे निजी उद्योग अपने तरीके से मजदूरों के साथ व्यवहार करेंगे. पीड़ित पक्ष कानूनन सहारा नहीं ले पाएगा. इसलिए वे केंद्र सरकार के मजदूर कानून का में संसोधन और सुधार की मांग कर रहे हैं. अगर कानून में संशोधन नहीं होता है, तो मजदूर संघ राष्ट्रीय स्तर पर उग्र आंदोलन करेगा.

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