मुंगेली: रोजी-रोटी की तलाश में लोरमी से कश्मीर गया एक लड़का हैंड ग्रेनेड की चपेट में आ गया था, जिसमें वो बुरी तरह घायल हो गया था, जिसे वहां इलाज के लिए भर्ती कराया गया था.
कश्मीर में इलाज के बाद थोड़ा ठीक होने पर वह छत्तीसगढ़ लौट आया है. अभी भी उसे इलाज की जरूरत है, लेकिन छत्तीसगढ़ में उसे ठीक से इलाज नहीं मिल रहा है, जिसके कारण उसे दर-दर भटकना पड़ रहा है. अब उसके परिजनों ने उसकी इलाज के लिए सरकार से गुहार लगाई है. घर में आर्थिक स्थिति खराब होने के कारण फिलहाल उसे किसी अस्पताल में भर्ती न करा घर में ही रखकर इलाज कराया जा रहा है.
शहद निकालने गया था कश्मीर
बताया जा रहा है कि लोरमी का संतोष ध्रुव शहद निकालने का काम करता है. इसी सिलसिले में वह कश्मीर गया था, जहां उसे अच्छा मेहनताना मिलता था. बीते 2 साल से वह कश्मीर के कुलगांव जिले के देवसर में रहकर शहद निकालने का काम कर रहा था. इसी बीच वह 15 वर्षीय नाबालिग बेटे संदीप को भी कश्मीर लेकर गया था, जहां कुछ दिन रहने के बाद बेटे को वहीं ठेकेदार के पास छोड़कर संतोष छत्तीसगढ़ लौट आया था. इसी दौरान 14 जुलाई को संदीप अपने कश्मीरी दोस्तों के साथ घूमने निकला था. वहां से लौटते वक्त संदीप ने सड़क किनारे एक चमकीली चीज देखकर उसे उठा लिया, जिसे उठाते ही उसमें तेज धमाका हुआ. इस धमाके में संदीप का हाथ बुरी तरह से जख्मी हो गया. हादसे ने उसकी दोनों आंखों की रोशनी भी चली गई है.
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राज्य सरकार से बेहतर इलाज की गुहार
संदीप को पहले श्रीनगर के अस्पताल में भर्ती कराया गया था. इसके बाद 22 अगस्त को संदीप अपने पिता के साथ गांव आ गया, लेकिन उसकी हालत ठीक नहीं है. वहीं घर की आर्थिक स्थिति भी खराब होने की वजह से गरीब पिता बेटे की इलाज के लिए सरकार से मदद की गुहार लगाई है.