कोरिया: पल्स पोलियो अभियान के तहत जन्म से लेकर पांच साल तक के बच्चों को पोलियो की दवा दी जा रही है. रविवार को जिले के अलग-अलग बूथों में बच्चों को पोलियो की खुराक दी गई. 1 और 2 फरवरी को घर-घर जाकर छूटे हुए बच्चों को पोलियो की दवा पिलाई जाएगी. कोरिया जिले में 89 हजार 977 से ज्यादा बच्चों को पल्स पोलियो की खुराक दी जाएगी.
880 पोलियो बूथ में दी गई दवा
जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. एसएस सिंह ने बताया कि 1 और 2 फरवरी को स्वास्थ्य कार्यकर्ता घर-घर जाकर बच्चों को दवा पिलाएंगे. उन्होंने बताया कि जिले के कुल 880 पोलियो बूथ में 80 पर्यवेक्षकों की निगरानी में 2 हजार 843 बूथ टीम सदस्यों के जरिए 89 हजार 977 बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाई जाएगी.
इन केंद्रों में दी जाएगी खुराक
- निर्धारित 150 बूथ में एक महीने से 5 साल के 25 हजार 650 को दी जाएगी खुराक
- मनेन्द्रगढ के निर्धारित 180 बूथ में 23 हजार 325 बच्चों को मिलेगी दवा
- सोनहत के निर्धारित 100 बूथ में 7 हजार 23 बच्चों को दी जाएगी दवा
- खडगंवा के निर्धारित 278 बूथ में 18 हजार 880 बच्चों को पिलाई जाएगी खुराक
- जनकपुर के निर्धारित 172 बूथ में 15 हजार 99 बच्चों को दी जाएगी दवा
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घर-घर जाकर दी जाएगी खुराक
पल्स पोलियो अभियान के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों, प्राथमिक शाला, उपस्वस्थ्य केंद्रों से लेकर प्राथमिक, सामुदायिक और जिला अस्पतालों में पोलियो की खुराक दी जाएगी. घर-घर जाकर कुल 1.38 घरों में 898 टीम के 2 हजार 774 बच्चों को पोलियो की दवा पिलाने का काम होगा. जिसकी निगरानी 99 पर्यवेक्षक करेंगे.
मितानिनों की तैनाती
सीएमएचओ ने बताया हमारा लक्ष्य है कि सभी बच्चों को पोलियो की खुराक दिलाई जा सके. इसके लिए जिले के सार्वजनिक भवनों और बस स्टैंड में भी टीकाकरण केंद्र बनाए जाएंगे. केंद्रों में बच्चों को पोलियो की दो-दो बूंद पिलाने के लिए शासकीय कर्मचारियों और मितानिनों की तैनाती की जाएगी.
2014 में पोलियों मुक्त हुआ भारत
विश्व स्वास्थ संगठन ने मार्च 2014 में भारत को पोलियो मुक्त घोषित किया था. लेकिन पड़ोसी देशों से पोलियो के खतरे को देखते हुए भारत सरकार अभी भी साल में एक बार पल्स पोलियो का अभियान चलाती है.