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टाइगर रिजर्व बनने के बाद पर्यटकों से गुलजार हुआ गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान

जब से गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को टाइगर रिजर्व बनाया गया है तब से यहां आने वाले पर्यटकों की संख्या में इजाफा हुआ है. लगातार स्कूल, कॉलेज के छात्रों का दल यहां टूर के लिए पहुंच रहा है.

पर्यटक
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Published : Dec 1, 2019, 7:11 PM IST

Updated : Dec 2, 2019, 12:04 AM IST

कोरिया: गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को प्रदेश का चौथा टाइगर रिजर्व बनाए जाने के यह पर्यटकों से गुलजार हो गया है. यहां लगातार स्कूल,कॉलेज के छात्र-छात्राओं का दल पहुंच रहा है. रविवार को पटना के एक कॉलेज से 280 बच्चों का ग्रुप गुरु घासीदास टाइगर रिजर्व पहुंचा है. कॉलेज की ओर से बच्चों को तुर्रीपानी प्राकृतिक जल स्रोत, प्राचीन गंगी रानी मंदिर के दर्शन कराए गए. कॉलेज के छात्र-छात्रा पर्यटन को लेकर काफी उत्साहित दिखे.

टाइगर रिजर्व बनने के बाद पर्यटकों से गुलजार हुआ गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान

छात्राओं ने बताया कि स्टडी टूर पर हम इस जगह पहली बार आए हैं. हमे यहां बहुत कुछ देखने को मिला है. साथ ही हमने पर्यावरण और जंगलों में पाए जाने वाली जड़ी बूटियों से होने वाले इलाज के बारे में भी जाना.

ऐतिहासिक स्थलों का कराया भ्रमण
कॉलेज के प्रिंसिपल का कहना है कि पढ़ाई के साथ-साथ प्रकृति की जानकारी होना भी बहुत जरूरी है. प्राचार्य ने बताया कि यहां से हसदेव नदी का उदगम होता है. जिसके बारे में बच्चों को बताया गया. इसके साथ ही छात्र-छात्राओं को ऐतिहासिक गंगा रानी मंदिर के बारे में भी बताया गया.

कोरिया: गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को प्रदेश का चौथा टाइगर रिजर्व बनाए जाने के यह पर्यटकों से गुलजार हो गया है. यहां लगातार स्कूल,कॉलेज के छात्र-छात्राओं का दल पहुंच रहा है. रविवार को पटना के एक कॉलेज से 280 बच्चों का ग्रुप गुरु घासीदास टाइगर रिजर्व पहुंचा है. कॉलेज की ओर से बच्चों को तुर्रीपानी प्राकृतिक जल स्रोत, प्राचीन गंगी रानी मंदिर के दर्शन कराए गए. कॉलेज के छात्र-छात्रा पर्यटन को लेकर काफी उत्साहित दिखे.

टाइगर रिजर्व बनने के बाद पर्यटकों से गुलजार हुआ गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान

छात्राओं ने बताया कि स्टडी टूर पर हम इस जगह पहली बार आए हैं. हमे यहां बहुत कुछ देखने को मिला है. साथ ही हमने पर्यावरण और जंगलों में पाए जाने वाली जड़ी बूटियों से होने वाले इलाज के बारे में भी जाना.

ऐतिहासिक स्थलों का कराया भ्रमण
कॉलेज के प्रिंसिपल का कहना है कि पढ़ाई के साथ-साथ प्रकृति की जानकारी होना भी बहुत जरूरी है. प्राचार्य ने बताया कि यहां से हसदेव नदी का उदगम होता है. जिसके बारे में बच्चों को बताया गया. इसके साथ ही छात्र-छात्राओं को ऐतिहासिक गंगा रानी मंदिर के बारे में भी बताया गया.

Intro:गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को टाइगर रिजर्व बनाय जाने के बाद से ही पर्यटकों का आना जाना लग गया। पटना के कॉलेज से 280 बच्चों को कराया गया भ्रमण, छात्र-छात्राओ में पर्यटन को लेकर दिखा उत्साह।

Body:कोरिया जिले के विकासखंड सोनहत गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को टाइगर रिजर्व बनाए जाने के बाद से ही, पर्यटन के लिए लोगो का यहाँ जाना लग गया है । जिसके तहत कोरिया जिले के पटना के एक कॉलेज से 280 बच्चों ने गुरु घासीदास पहुंचे, जहाँ बच्चों ने तुर्रीपानी प्राकृतिक जल श्रोत, पुरातात्विक गंगी रानी मंदिर के दर्शन किए और इसके अलावा प्रकृति की संरक्षण जंगल में मिलने वाली जड़ी बूटियों से होने वाले इलाज की जानकारी ली। साथ ही जंगली जानवर की सुरक्षा से जुड़े बातों की भी जानकारी ली। वही कालेज के छात्र-छात्राएं पर्यटन को लेकर काफी उत्साहित दिखे । ईटीवी भारत से उन्होंने कहा हम स्टडी टूर में इस जगह पे पहली बार आए है हमे यहाँ बहुत कुछ देखने को मिला । पर्यावरण की बहुत सी जानकारी मिली । हमारे टीचर ने हमे यहां के बारे में जानकरी भी बताई । क़सबसे खास इस पर्यटन स्थल को टाइगर रिजर्व घोसित किया गया है तो हम सब मे एक उत्साह है, की कही टाइगर दिख जाए,
बाइट - योगेश सिंह (छात्र)
बाइट - जामेलु निशा (छात्रा)
Conclusion:जब हमने कालेज के प्राचार्य से बात की तो उनका कहना था कि पढ़ाई के साथ प्रकृति के बारे में बच्चों को जानकारी होना बहुत ही जरूरी है, प्राचार्य ने बताया कि यहाँ से हसदेव नदी का उदगम होता है जिसके बारे में बच्चों को बताया गया । गंगी रानी मन्दिर है जो ऐतिहासिक है । पर्यावरण के बारे में भी जानकारी दी गई
बाइट - शिवशंकर राजवाड़े (प्राचार्य)
Last Updated : Dec 2, 2019, 12:04 AM IST
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