कोरबा: जिले के जंगल में हाथियों का वास इन दिनों हो रहा है. आलम ये है कि, ठिठुरन भारी ठंड में ग्रामीण रतजगा करने को मजबूर हैं. हाथियों की निगरानी कर रहे हैं. वन विभाग के लिए भी हाथी का आतंक चुनौती बना हुआ है. गुरुवार को कोरबा और कटघोरा वन मंडल के अधिकारियों की मौजूदगी में कलेक्टर ने एक मीटिंग की. जिसमें अहम दिशा निर्देश दिए गए.
केंदई में 59 हाथियों से दहशत: कटघोरा वनमंडल के केंदई रेंज में 59 हाथी अब अलग-अलग चार झुंड में बंट गए हैं. वहीं एक दंतैल हाथी इस झुंड से अलग मोरगा के जंगल में घूम रहे हैं. वन अमले को हाथियों की निगरानी में परेशानी हो रही है. मुनादी कराकर ग्रामीणों को जंगल की ओर जाने से मना किया गया है. गांव में हाथियों के प्रवेश के डर से ग्रामीण रतजगा करने मजबूर हैं. इसी रेंज की सीमा कोईलारगडरा, लालपुर, घुचापुर, सलाईगोट, परला के आसपास के जंगल में हाथियों का विचरण है. ग्रामीणों को सबसे अधिक खतरा दंतैल हाथी से है, जो झुंड से अलग घूम रहा है. बुधवार को मोरगा के जंगल में दंतैल हाथी को देखा गया है.
कुदमुरा में 37 हाथियों का दल: कोरबा वनमंडल के कुदमुरा रेंज में भी हाथियों का एक बड़ा दल मौजूद है. गांव सिमकेंदा के जंगल में 37 हाथियों का दल घूम रहा है. सिमकेंदा के जंगल में हाथियों को विचरण करते देखा गया था. जिसके श्यांग की ओर बढ़ने पर आसपास गांवों के प्रभावित ग्रामीणों को सतर्क कर दिया गया है. धान की कटाई के बाद फसल को किसानों ने खलिहान में रखा है. इससे हाथी गांव में प्रवेश न करें इसके लिए ग्रामीण रतजगा कर रहे हैं.
प्रशासन ने की बैठक: कलेक्टर सौरभ कुमार ने गुरुवार को वन विभाग सहित विद्युत और क्रेडा विभाग के अधिकारियों की बैठक ली. उन्होंने जिले के वनांचल क्षेत्रों में हाथी और मानव द्वंद को कम करने और जंगली हाथियों से किसी तरह की जनहानि न हो, इस दिशा में प्रभावी कदम उठाने के निर्देश दिए हैं. कलेक्टर ने हाथियों को रिहायशी क्षेत्रों से दूर भगाने में लगी टीम को अलर्ट रहने और वन्य प्राणियों को नुकसान पहुंचाने वाले विद्युत तारों को दुरुस्त करते हुए निर्धारित ऊंचाई का ध्यान रखने के निर्देश दिए. कलेक्टर सौरभ कुमार ने जिले में अवैध हुकिंग पर कार्रवाई के निर्देश विद्युत विभाग को दिए हैं. उन्होंने वन क्षेत्रों में खुले हुए विद्युत तारों को कवर करने के निर्देश भी दिए.