कोरबा : करतला विकासखंड के ग्राम पंचायत बीरतराई में बनाए गए शौचालय खुले में शौच मुक्त और स्वच्छ भारत मिशन को ठेंगा दिखा रहे हैं. शासन प्रशासन की ओर से लाखो रुपए खर्च करके शौचालय निर्माण करवाया था, लेकिन निर्माण कार्य में गड़बड़ी सामने आ रही है. शौचालयों में कहीं छत नहीं है तो किसी शौचालय का गड्ढा नहीं बनवाया गया. ग्रामीण आज भी खुले में शौच जाने को मजबूर है. ग्रामीणों ने इसका जिम्मेदार सरपंच को बताया है.
आधे-अधूरे शौचालय से भारत को स्वच्छ बनाने की कोशिश!
शौचालयों की हालत ऐसी है कि कहीं सीट नहीं लगाई गई तो किसी शौचालय का नींव डालकर छोड़ दिया गया है. जिसकी वजह से लोग खुले में शौच जाने को विवश हैं. यहां आधे-अधूरे शौचालय बना कर छोड़ दिए गए है. ग्रामीणों ने बताया कि गांव में शौचालयों में किसी का छत अधूरा पड़ा है, कहीं गड्ढे खुले हुए है तो कही गड्ढा खोदकर छोड़ दिया गया है.
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लकड़ी और गोबर के कंडे रखने के काम आ रहे शौचालय
ग्रामीणों ने यह भी बताया है कि बने हुए शौचालय लकड़ी और गोबर के कंडे रखने के काम आ रहे हैं और वे मजबूरी में जंगल झाड़ियों में शौच के लिए जाते हैं. ग्रामीणों को हमेशा यह डर बना रहता है कि वे कहीं जहरीले जीव जंतु या अन्य जानवर का शिकार ना हो जाए. आधे से ज्यादा ग्रामीणों के शौचालय आधे पड़े हुए है.
सरपंच पर गंभीर आरोप
ग्रामीणों ने सरपंच मनमोहन सिंह कंवर पर आरोप लगाया कि सरपंच ने शौचालय निर्माण के लिए आई प्रोत्साहन राशि को निकाल कर गबन कर गया है. ईटीवी भारत ने ग्राम पंचायत बीरतराई के सरपंच से मुलाकात करके उनका पक्ष जानने की कोशिश की लेकिन वे नहीं मिले और ना उनका फोन लगा.