कोंडागांव: जिले के प्रभारी सचिव डॉ. प्रियंका शुक्ला रविवार को कोंडागांव पहुंची. जहां उन्होंने कलेक्ट्रेट सभा कक्ष में सभी विभागों की समीक्षा बैठक ली. इस बैठक में उन्होंने स्वास्थ्य को प्राथमिकता देते हुए जिले के स्वास्थ्य कार्यक्रमों की प्रगति पर चर्चा की. कोरोना काल में जिला प्रशासन के किये गए प्रयास से जिले में कोरोना के मामले सबसे कम रहे, जिसके लिए उन्होंने सभी की सराहना की.
चर्चा के दौरान मौसम में आये बदलाव के साथ और भी सतर्कता बरतने की बात कही. साथ व्यापारियों के लिए मास्क और सैनिटाइजर का इस्तेमाल अनिवार्य किया है. इसके आलाव कंटेनमेंट जोन स्थापना के निर्देशों का पालन कराने को कहा. वहीं दवा व्यापारियों को अनिवार्य रूप से सर्दी-खांसी के मरीजों का रजिस्टर तैयार करने के निर्देश दिए.
सैनिटाइजेशन के निर्देश दिए
इसके साथ ही उन्होंने जिले में सभी स्ट्रीट वेंडरों, ढाबों, होटल के कर्मचारियों, स्वास्थ्यकर्मियों, प्रवासी मजदूरों एवं सुरक्षा बलों के जवान जो बाहर से जिले में आये हैं, उनकी नियमित रूप से जांच करने एवं अन्य राज्यों से आने वाले लोगों पर कड़ी निगरानी के साथ क्वॉरेंटाइन सेंटरों के नियमित सैनिटाइजेशन के निर्देश दिए.
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मलेरिया मुक्त बस्तर एवं सुपोषण अभियान
डॉ. शुक्ला ने इसके अलावा जिले में चल रहे मलेरिया मुक्त बस्तर एवं सुपोषण अभियान के अंतर्गत किये गए कार्यों की प्रशंसा की. जिले से मलेरिया को एक वर्ष में पूरी तरह समाप्त करने के लिए मच्छरदानी लगाने, आईआरएस के छिड़काव, पानी के स्रोतों में गम्बूजिया मछली को डालने एवं व्यवहार परिवर्तन पर जोर देने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि जिले में कोरोना विपदाकाल में भी कुपोषण के खिलाफ जंग नहीं रुकी है, लेकिन इसके साथ टीकाकरण, मलेरिया की रोकथाम, संस्थागत प्रसव पर ध्यान देने एवं सुपोषित हुए बच्चों का नियमित जांच की बात कही. ताकि बच्चों में कुपोषण के मूल कारणों को पहले ही नष्ट किया जा सके. साथ ही उन्होंने जिले के नवाचारी कार्यक्रम 'नंगत पीला' की कार्ययोजना के बारे में सम्पूर्ण जानकारी ली.