कवर्धा: छत्तीसगढ़ सरकार ने स्कूली बच्चों की सेहत में सुधार के लिए प्रदेश के स्कूलों में मध्याह्न भोजन में अंडा देने का फैसला लिया था, लेकिन कवर्धा में सरकार के इस फैसले के विरोध में आम लोग सड़क पर उतर आये हैं. मध्याह्न भोजन में अंडा देने के फैसले पर कबीरपंथी समाज के लोग नाराज हैं और सरकार से इसे बंद करने की मांग कर रहे हैं. समाज के लोगों ने कलेक्टर कार्यालय पहुंचे इसे बंद कराने के लिए ज्ञापन भी सौंपा है.
गुरुवार को बड़ी संख्या में कबीरपंथ समाज के लोग कलेक्टर कार्यालय के बाहर जमकर नारेबाजी की और जल्द से जल्द इसे बंद करने की मांग की है. साथ ही समाज के लोगों ने इसे बंद न करने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है.
बच्चों का धर्म हो रहा भ्रष्ट
कबीरपंथ समाज के ईश्वरी साहू का कहना है कि कबीरपंथ समाज शुद्ध शाकाहारी भोजन करने वाला समाज है और अंडा मांसाहारी भोजन की श्रेणी में आता है. स्कूल में अंडा दिए जाने से पंथ के बच्चों का धर्म भ्रष्ट हो रहा है. इसलिए इसे मध्याह्न भोजन के मेन्यू से हटा दिया जाना चाहिए.
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भाजयुमो ने समाज को दिया समर्थन
इधर, भाजयुमो ने समाज की मांग का समर्थन करते हुए कहा कि बच्चों को अंडा नहीं दो केला देना चाहिए. सरकार को कबीरपंथ के गुरु प्रकाश मुनिराम साहब की बातों को मान लेनी चाहिए. इस दौरान भाजयुमो के प्रदेश अध्यक्ष विजय शर्मा ने एक विवादित बयान देते हुए कहा कि 'जो अंड्डे की बात करेगा उससे हम डंडे से बात करेंगे'