जशपुर: जिला अस्पताल में नसबंदी करवाने आई पत्थलगांव क्षेत्र की 50 से अधिक महिलाओं की नसबंदी नहीं हो पाई. नाराज महिलाओं और मितानिनों ने देर रात कलेक्टर बंगले का घेराव कर दिया. उनका कहना था कि वे सुबह से अपने ऑपरेशन के इंतजार में बैठी रहीं, लेकिन रात होने तक उनका ऑपरेशन नहीं हो पाया. महिलाएं वाहन किराया देने की मांग कर रही थी. स्वास्थ्य और राजस्व विभाग के अधिकारियों की समझाइश के बाद वे अस्पताल वापस लौंटी.
पत्थलगांव क्षेत्र में शिविर लगाकर महिलाओं का नसबंदी ऑपरेशन किया जाना था. नसबंदी कराने आई महिलाओं ने बताया कि वे क्षेत्र की मितानिनों के साथ सुबह ही जिला अस्पताल आ गईं थी, लेकिन सुबह से शाम तक कोई भी डॉक्टर इनकी नसबंदी करने नहीं आया. इनमें से कई महिलाएं गरीब तबके की हैं, जो रात से ही पत्थलगांव से निकलीं थीं और सुबह 6 बजे से जिला अस्पताल में अपनी नसबंदी का इंतजार कर रही थीं.
बेमेतरा जिला अस्पताल में नसबंदी के ऑपरेशन के लिए नहीं हैं डॉक्टर
अधिकारियों की समझाइश के बाद वापस लौटी महिलाएं
नसबंदी कराने आई महिलाओं समेत अस्पताल के स्टाफ ने कई बार ऑपरेशन करने वाले डॉक्टरों को कॉल किया, लेकिन कोई भी डॉक्टर नहीं पहुंचा. जिसके बाद नाराज महिलाओं ने देर रात कलेक्टर के बंगले बाहर पहुंच घेराव कर दिया. घेराव की सूचना मिलते ही पुलिस और प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंचा. CMHO (चीफ मेडिकल हेल्थ ऑफिसर) सहित राजस्व विभाग की समझाइश के बाद महिलाएं वापस अस्पताल पहुंची. जहां देर रात महिलाओं का ऑपरेशन शुरू किया गया.
अधिक महिलाओं के आने से हुई समस्या
CMHO पुरुषोत्तम सुथार ने बताया कि सोमवार को पत्थलगांव क्षेत्र की महिलाओं का नसबंदी ऑपरेशन किया जाना था, लेकिन कोविड-19 के कारण दिन में 10 महिलाओं का ही ऑपरेशन किया जाता है. उन्होंने बताया कि सिर्फ 10 महिलाओं को ही बुलाया गया था, लेकिन मितानिन अधिक महिलाएं लेकर आ गईं. इस वजह से सभी का ऑपरेशन नहीं हो पाया. CMHO ने यह भी बताया कि दोपहर 3:00 बजे के बाद ही ऑपरेशन शुरू होता है, उससे पहले कोविड-19 के अलवा महिलाओं के अन्य टेस्ट किए जाते हैं.