जगदलपुर: दिल्ली के सरकारी स्कूलों की तर्ज पर छत्तीसगढ़ में भी स्कूलों की सूरत बदलने लगी है. एक ओर जहां बच्चों को शिक्षा प्राप्त करने के लिए मीलों चलना पड़ता था, वहीं कुछ शिक्षकों की मेहनत से सरकारी स्कूलों की तस्वीरें बदलती नजर आ रही है. हम बात कर रहे हैं बस्तर के आदिवासी क्षेत्र लोहंडीगुड़ा की जहां बच्चे न सिर्फ स्मार्ट क्लॉस से पढ़ाई कर रहे हैं बल्कि एलेक्सा से अपने सभी सवालों का जवाब भी पूछ रहे हैं.
नक्सल समस्या से लंबे समय से ग्रसित इस इलाके के लोगों को मूलभूत सुविधाओं के लिए काफी संघर्ष करना पड़ता था. ऐसे में बच्चों का शिक्षा प्राप्त कर पाना किसी चुनौती से कम नहीं था. ऐसे में सरकारी स्कूल के शिक्षकों ने पहल करते हुए बच्चों को पढ़ाई की तरफ आकर्षित करने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस डिवाइस का सहारा लिया.
मिल रहा हर सवाल का जवाब
जिस क्षेत्र के बच्चों ने अब तक TV की शक्ल नहीं देखी थी वे अब स्मार्ट क्लॉस के जरिए आसानी से अपने सवालों का जवाब प्राप्त कर रहे हैं. स्कूल में एलेक्सा के आने से बच्चे अपनी जिज्ञासा दूर करने के लिए उससे सवाल करते हैं.
10 स्कूलों में स्मार्ट क्लॉस
बस्तर के इन इलाकों में नक्सल समस्या की वजह से शिक्षा का स्तर काफी गिरा हुआ था, लेकिन अब प्रोजेक्टर जैसे डिवाइस के आ जाने से बच्चों की पढ़ाई में रुचि बढ़ने लगी है. स्मार्ट क्लॉस के आने से यहां स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति भी बढ़ने लगी है. लोहंडीगुड़ा ब्लॉक के 10 स्कूलों में शिक्षकों ने अपने पैसे से इस तरह के डिवाइस खरीदें हैं.