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बस्तर में आदिवासी बहनों का धर्मांतरण स्वीकार नहीं: राज्यपाल

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Published : Feb 10, 2021, 10:08 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST

राज्यपाल अनसुइया उइके भूमकाल दिवस के मौके पर शामिल हुईं. राज्यपाल ने शहीद गुंडाधुर के प्रतिमा में माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी. राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण बड़ी समस्या है. महिलाओं को बहला-फुसलाकर उनके सारे जमीन जायदाद भी हड़प लिए जा रहे हैं, जो काफी गंभीर विषय है.

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छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनसुइया

जगदलपुर: छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनसुइया उइके दो दिवसीय प्रवास पर बस्तर पहुंची हुई हैं. प्रवास के पहले दिन भूमकाल दिवस के मौके पर शहीद गुंडाधुर के प्रतिमा में माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी. राज्यपाल शहर के इंदिरा प्रियदर्शनी स्टेडियम में भूमकाल दिवस पर आयोजित सभा में शामिल हुई. सभा में बस्तर संभाग के आदिवासी शामिल हुए.

राज्यपाल अनसुइया उइके भूमकाल दिवस के मौके पर शामिल हुईं

राज्यपाल अनुसुइया उइके ने किया पिंक केयर सेंटर का शुभारंभ

बस्तर के सर्व आदिवासी समाज के सभी प्रमुख उपस्थित थे. भूमकाल दिवस के मौके पर राज्यपाल के सामने बस्तर पुलिस की महिला बैंड ने प्रस्तुति दी. बस्तर के धुरवा समाज ने भी पारंपरिक नृत्य प्रस्तुत किया. राज्यपाल को समाज के प्रमुखों ने साड़ी भेंट की. राज्यपाल ने सभा को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि वे आने वाले दिनों में बस्तर संभाग के ब्लॉक स्तर और जिला स्तर का दौरा करेंगी. ताकि वे जान सके कि आदिवासियों के लिए जो कानून बनाया गया है, उनकी आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक स्थिति के विकास के लिए सही तरह से पालन हो रहा है या नहीं.

Governor Ansuia Uike made a statement on martyr Gundadhur and conversion issue in jagdalpur
इंदिरा प्रियदर्शनी स्टेडियम में भूमकाल दिवस का आयोजन

जनजातीय समाज पर आपत्तिजनक टिप्पणी के खिलाफ सौंपा गया ज्ञापन

छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण बड़ी समस्या

राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण बड़ी समस्या है. लगातार उनके पास आवेदन आ रहे हैं. आदिवासी समाज के बहनों को धर्मांतरण कर उनके नाम से जमीन की खरीद-फरोख्त की जा रही है. यही नहीं उन्हें बहला-फुसलाकर उनके सारे जमीन जायदाद भी हड़प लिए जा रहे हैं, जो काफी गंभीर विषय है. इसके लिए उन्होंने देश के प्रधानमंत्री और गृह मंत्री को भी इस समस्या से अवगत कराया है.

Governor Ansuia Uike made a statement on martyr Gundadhur and conversion issue in jagdalpur
बस्तर के धुरवा समाज ने पारंपरिक नृत्य प्रस्तुत किया

आदिवासी बहनों का शोषण किया जा रहा

अनसुइया उइके ने कहा कि मुख्यमंत्री से भी आग्रह किया है कि इस समस्या का जल्द से जल्द हल हो. उन्होंने कहा कि यह कानून से नहीं बल्कि आदिवासी समाज के लोगों द्वारा इसका हल हो सकेगा. उन्होंने कहा कि ऐसे मामले लगातार बढ़ रहे हैं, जिसमे आदिवासी बहनों का शोषण भी किया जा रहा है.

आत्मनिर्भर भारत बनाने का संकल्प
राज्यपाल ने कहा कि बस्तर नक्सलवाद की समस्या से जूझ रहा है. मंच के माध्यम से अपील की है कि जितने भी आदिवासी समाज के लोग जो नक्सल के रास्ते भटक गए हैं. वह सरकार के मुख्यधारा से जुड़ जाएं. अपने क्षेत्र का और अपना विकास करें. आने वाले दिनों में बस्तर में कई नए प्रोजेक्ट लगाए जाएंगे. बस्त के लोगों को रोजगार मिलेगा. ऐसे में उनका विकास हो सकेगा. उन्होंने कहा कि देश के प्रधानमंत्री ने आत्मनिर्भर भारत बनाने का संकल्प लिया है. इसमें बस्तर के आदिवासियों की भी आने वाले दिनों में अहम भूमिका रहेगी.

शहीद स्मारक का निर्माण किया जाए
अनसुइया उइके ने भूमकाल दिवस के मौके पर शहीद गुंडाधुर को याद किया. उन्होंने कहा कि यह बड़ा दु:ख का विषय है. शहर के जयस्तंभ चौक में अंग्रेजी हुकूमत के दौरान बस्तर के 18 क्रांतिकारियों को जयस्तंभ चौक में स्थित इमली के पेड़ में फांसी में लटका दिया गया था. आज तक वहां कोई स्मारक नहीं बनाया गया है. राज्यपाल ने बताया कि जिला कलेक्टर को निर्देश दिया है. इस जगह में अच्छे और वृहद रूप पर शहीद स्मारक का निर्माण किया जाए. यहां पर सभी 18 क्रांतिकारियों की सिला बनाया जाए, जिससे कि बस्तर के आदिवासियों का इससे सम्मान हो. उनका गौरव बढ़ सके.

छत्तीसगढ़ में पेशा कानून लागू
राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में पेशा कानून लागू है, लेकिन इसका सही तरह से पालन नहीं हो पा रहा है. इसके लिए भी उन्होंने प्रदेश सरकार से निवेदन किया है. छत्तीसगढ़ के आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र में जहां पांचवी अनुसूची लागू है. वहां पर इस कानून का सही तरीके से पालन हो सके. जो अधिकार आदिवासियों को मिले हैं, जिसमें खनिज संपदा, जल जंगल जमीन मूलभूत सुविधाएं मिले. ताकि उनका विकास हो सके.

'निर्दोष आदिवासी जेल में बंद हैं'
उन्होंने कहा कि जेल में जो नक्सल मामले में निर्दोष आदिवासी बंद हैं, उनके लिए भी राज्य सरकार ने जांच कमेटी गठन कर लिया है. जल्द ही इस मामले की जांच कर सरकार निर्दोष आदिवासियों को रिहा करें. उन्होंने कहा कि बस्तर के आदिवासी काफी भोले-भाले रहते हैं. अगर पुलिस प्रशासन उन्हें गलत मामले में फंसा कर और नक्सली बताकर जेल में बंद करती है, तो यह सरासर गलत है. ऐसा नहीं होना चाहिए. जो निर्दोष आदिवासी जेल में बंद हैं, उन्हें जल्द से जल्द रिहा करना चाहिए.

जगदलपुर: छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनसुइया उइके दो दिवसीय प्रवास पर बस्तर पहुंची हुई हैं. प्रवास के पहले दिन भूमकाल दिवस के मौके पर शहीद गुंडाधुर के प्रतिमा में माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी. राज्यपाल शहर के इंदिरा प्रियदर्शनी स्टेडियम में भूमकाल दिवस पर आयोजित सभा में शामिल हुई. सभा में बस्तर संभाग के आदिवासी शामिल हुए.

राज्यपाल अनसुइया उइके भूमकाल दिवस के मौके पर शामिल हुईं

राज्यपाल अनुसुइया उइके ने किया पिंक केयर सेंटर का शुभारंभ

बस्तर के सर्व आदिवासी समाज के सभी प्रमुख उपस्थित थे. भूमकाल दिवस के मौके पर राज्यपाल के सामने बस्तर पुलिस की महिला बैंड ने प्रस्तुति दी. बस्तर के धुरवा समाज ने भी पारंपरिक नृत्य प्रस्तुत किया. राज्यपाल को समाज के प्रमुखों ने साड़ी भेंट की. राज्यपाल ने सभा को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि वे आने वाले दिनों में बस्तर संभाग के ब्लॉक स्तर और जिला स्तर का दौरा करेंगी. ताकि वे जान सके कि आदिवासियों के लिए जो कानून बनाया गया है, उनकी आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक स्थिति के विकास के लिए सही तरह से पालन हो रहा है या नहीं.

Governor Ansuia Uike made a statement on martyr Gundadhur and conversion issue in jagdalpur
इंदिरा प्रियदर्शनी स्टेडियम में भूमकाल दिवस का आयोजन

जनजातीय समाज पर आपत्तिजनक टिप्पणी के खिलाफ सौंपा गया ज्ञापन

छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण बड़ी समस्या

राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण बड़ी समस्या है. लगातार उनके पास आवेदन आ रहे हैं. आदिवासी समाज के बहनों को धर्मांतरण कर उनके नाम से जमीन की खरीद-फरोख्त की जा रही है. यही नहीं उन्हें बहला-फुसलाकर उनके सारे जमीन जायदाद भी हड़प लिए जा रहे हैं, जो काफी गंभीर विषय है. इसके लिए उन्होंने देश के प्रधानमंत्री और गृह मंत्री को भी इस समस्या से अवगत कराया है.

Governor Ansuia Uike made a statement on martyr Gundadhur and conversion issue in jagdalpur
बस्तर के धुरवा समाज ने पारंपरिक नृत्य प्रस्तुत किया

आदिवासी बहनों का शोषण किया जा रहा

अनसुइया उइके ने कहा कि मुख्यमंत्री से भी आग्रह किया है कि इस समस्या का जल्द से जल्द हल हो. उन्होंने कहा कि यह कानून से नहीं बल्कि आदिवासी समाज के लोगों द्वारा इसका हल हो सकेगा. उन्होंने कहा कि ऐसे मामले लगातार बढ़ रहे हैं, जिसमे आदिवासी बहनों का शोषण भी किया जा रहा है.

आत्मनिर्भर भारत बनाने का संकल्प
राज्यपाल ने कहा कि बस्तर नक्सलवाद की समस्या से जूझ रहा है. मंच के माध्यम से अपील की है कि जितने भी आदिवासी समाज के लोग जो नक्सल के रास्ते भटक गए हैं. वह सरकार के मुख्यधारा से जुड़ जाएं. अपने क्षेत्र का और अपना विकास करें. आने वाले दिनों में बस्तर में कई नए प्रोजेक्ट लगाए जाएंगे. बस्त के लोगों को रोजगार मिलेगा. ऐसे में उनका विकास हो सकेगा. उन्होंने कहा कि देश के प्रधानमंत्री ने आत्मनिर्भर भारत बनाने का संकल्प लिया है. इसमें बस्तर के आदिवासियों की भी आने वाले दिनों में अहम भूमिका रहेगी.

शहीद स्मारक का निर्माण किया जाए
अनसुइया उइके ने भूमकाल दिवस के मौके पर शहीद गुंडाधुर को याद किया. उन्होंने कहा कि यह बड़ा दु:ख का विषय है. शहर के जयस्तंभ चौक में अंग्रेजी हुकूमत के दौरान बस्तर के 18 क्रांतिकारियों को जयस्तंभ चौक में स्थित इमली के पेड़ में फांसी में लटका दिया गया था. आज तक वहां कोई स्मारक नहीं बनाया गया है. राज्यपाल ने बताया कि जिला कलेक्टर को निर्देश दिया है. इस जगह में अच्छे और वृहद रूप पर शहीद स्मारक का निर्माण किया जाए. यहां पर सभी 18 क्रांतिकारियों की सिला बनाया जाए, जिससे कि बस्तर के आदिवासियों का इससे सम्मान हो. उनका गौरव बढ़ सके.

छत्तीसगढ़ में पेशा कानून लागू
राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में पेशा कानून लागू है, लेकिन इसका सही तरह से पालन नहीं हो पा रहा है. इसके लिए भी उन्होंने प्रदेश सरकार से निवेदन किया है. छत्तीसगढ़ के आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र में जहां पांचवी अनुसूची लागू है. वहां पर इस कानून का सही तरीके से पालन हो सके. जो अधिकार आदिवासियों को मिले हैं, जिसमें खनिज संपदा, जल जंगल जमीन मूलभूत सुविधाएं मिले. ताकि उनका विकास हो सके.

'निर्दोष आदिवासी जेल में बंद हैं'
उन्होंने कहा कि जेल में जो नक्सल मामले में निर्दोष आदिवासी बंद हैं, उनके लिए भी राज्य सरकार ने जांच कमेटी गठन कर लिया है. जल्द ही इस मामले की जांच कर सरकार निर्दोष आदिवासियों को रिहा करें. उन्होंने कहा कि बस्तर के आदिवासी काफी भोले-भाले रहते हैं. अगर पुलिस प्रशासन उन्हें गलत मामले में फंसा कर और नक्सली बताकर जेल में बंद करती है, तो यह सरासर गलत है. ऐसा नहीं होना चाहिए. जो निर्दोष आदिवासी जेल में बंद हैं, उन्हें जल्द से जल्द रिहा करना चाहिए.

Last Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST
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