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रेलवे आवास तोड़ने गए रेल कर्मचारी और कब्जाधारियों के बीच विवाद, शिकायत दर्ज

शहर के रेलवे क्वॉटर्स में रह रहे लोगों पर रेलवे ने तोड़-फोड़ की कार्रवाई की. वहां रह रहे लोगों का आरोप है कि आरपीएफ की टीम ने मौके पर पहुंचकर बिना किसी नोटिस के कार्रवाई शुरू कर दी.

Dispute over breaking of railway quater
बेघर हुए लोग
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Published : Jun 7, 2020, 10:20 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST

जगदलपुर: संकट के इस दौर में जहां लोग एक-दूसरे की मदद के लिए सामने आ रहे हैं, वहीं बस्तर में रेलवे कर्मचारियों का अमानवीय चेहरा सामने आया है. सालों से रेलवे के खंडहर क्वॉटर्स में रह रहे गरीब लोगों को आरपीएफ का दल बिना नोटिस दिए ही खदेड़ने पंहुच गया. साथ ही साथ उनके आशियानें भी तोड़ दिए. कार्रवाई शुरू होते ही यहां रह रहे लोग इकट्ठा हो गए और इसका विरोध करना शुरू कर दिया.

रेलवे प्रबंधन की कार्रवाई

कार्रवाई के दौरान रेलवे की टीम और कब्जाधारियों के बीच विवाद शुरू हो गया और दोनों के बीच झूमा-झटकी भी हुई. इसके बाद दोनों ही पक्ष बोधघाट थाने पहुंचे और मामले की जानकारी देते हुए अपनी-अपनी शिकायत दर्ज कराई है.

प्रायोजित तरीके से कार्रवाई करने का आरोप

सालों पहले यहां पहुंचे 300 से 400 गरीब परिवारों ने अपना आशियाना तैयार किया. अब अचानक रेलवे कर्मचारियों की धमक और उसके बाद तोड़फोड़ की कार्रवाई के बाद यहां रह रहे लोगों ने प्रशासन से सवाल किया है. लोगों का कहना है कि कोरोना के इस समय में उन्हें किराए का रूम भी नहीं मिलेगा. कार्रवाई के समय को लेकर भी वहां रह रहे लोगों ने कहा कि इस समय वे कहीं नहीं जा सकते. उन्होंने रेलवे पर प्रायोजित तरीके से कार्रवाई करने का आरोप लगाया है.

Dispute over breaking of railway quater
शिकायत करने पहुंचे जनप्रतिनिधि

बस्तर में बरसात से निपटने की तैयारी, बाढ़ आपदा प्रबंधन ने किया मॉक ड्रिल

कब्जाधारियों ने किया शांतिपूर्ण विरोध

कब्जाधारियों की मानें तो जब रेलवे के कर्मचारी कार्रवाई करने के लिए उनके घर पहुंचे तो उन्होंने इसका शांतिपूर्ण विरोध किया. जिसके बाद रेल कर्मचारियों ने घर के लोगों को धक्के मारकर बाहर निकालने की कोशिश की. महिलाओं को भी धक्के मारकर बाहर निकालने की कोशिश की गई. जबकि कार्रवाई दल में कोई महिला कर्मचारी भी नहीं थी.

Dispute over breaking of railway quater
रेलवे की कार्रवाई

पार्षद ने कार्रवाई को ठहराया गलत

वार्ड की पार्षद ने कहा कि जब उन्हें तोड़-फोड़ की जानकारी मिली तो वह रेलवे के आला अधिकारियों से मिलने पहुंची. इस दौरान तोड़-फोड़ की कार्रवाई जारी थी. इसके बाद मामला जैसे ही थाने पहुंचा तो यहां वे कब्जाधारियों के साथ पहुंची और थाने में घटना की जानकारी देते हुए रेलवे की कार्रवाई को गलत ठहराया. फिलहाल पुलिस ने दोनों पक्षों की ओर से शिकायत दर्ज कर ली है और मामले की जांच के बाद ही कार्रवाई करने की बात कही है.

जगदलपुर: संकट के इस दौर में जहां लोग एक-दूसरे की मदद के लिए सामने आ रहे हैं, वहीं बस्तर में रेलवे कर्मचारियों का अमानवीय चेहरा सामने आया है. सालों से रेलवे के खंडहर क्वॉटर्स में रह रहे गरीब लोगों को आरपीएफ का दल बिना नोटिस दिए ही खदेड़ने पंहुच गया. साथ ही साथ उनके आशियानें भी तोड़ दिए. कार्रवाई शुरू होते ही यहां रह रहे लोग इकट्ठा हो गए और इसका विरोध करना शुरू कर दिया.

रेलवे प्रबंधन की कार्रवाई

कार्रवाई के दौरान रेलवे की टीम और कब्जाधारियों के बीच विवाद शुरू हो गया और दोनों के बीच झूमा-झटकी भी हुई. इसके बाद दोनों ही पक्ष बोधघाट थाने पहुंचे और मामले की जानकारी देते हुए अपनी-अपनी शिकायत दर्ज कराई है.

प्रायोजित तरीके से कार्रवाई करने का आरोप

सालों पहले यहां पहुंचे 300 से 400 गरीब परिवारों ने अपना आशियाना तैयार किया. अब अचानक रेलवे कर्मचारियों की धमक और उसके बाद तोड़फोड़ की कार्रवाई के बाद यहां रह रहे लोगों ने प्रशासन से सवाल किया है. लोगों का कहना है कि कोरोना के इस समय में उन्हें किराए का रूम भी नहीं मिलेगा. कार्रवाई के समय को लेकर भी वहां रह रहे लोगों ने कहा कि इस समय वे कहीं नहीं जा सकते. उन्होंने रेलवे पर प्रायोजित तरीके से कार्रवाई करने का आरोप लगाया है.

Dispute over breaking of railway quater
शिकायत करने पहुंचे जनप्रतिनिधि

बस्तर में बरसात से निपटने की तैयारी, बाढ़ आपदा प्रबंधन ने किया मॉक ड्रिल

कब्जाधारियों ने किया शांतिपूर्ण विरोध

कब्जाधारियों की मानें तो जब रेलवे के कर्मचारी कार्रवाई करने के लिए उनके घर पहुंचे तो उन्होंने इसका शांतिपूर्ण विरोध किया. जिसके बाद रेल कर्मचारियों ने घर के लोगों को धक्के मारकर बाहर निकालने की कोशिश की. महिलाओं को भी धक्के मारकर बाहर निकालने की कोशिश की गई. जबकि कार्रवाई दल में कोई महिला कर्मचारी भी नहीं थी.

Dispute over breaking of railway quater
रेलवे की कार्रवाई

पार्षद ने कार्रवाई को ठहराया गलत

वार्ड की पार्षद ने कहा कि जब उन्हें तोड़-फोड़ की जानकारी मिली तो वह रेलवे के आला अधिकारियों से मिलने पहुंची. इस दौरान तोड़-फोड़ की कार्रवाई जारी थी. इसके बाद मामला जैसे ही थाने पहुंचा तो यहां वे कब्जाधारियों के साथ पहुंची और थाने में घटना की जानकारी देते हुए रेलवे की कार्रवाई को गलत ठहराया. फिलहाल पुलिस ने दोनों पक्षों की ओर से शिकायत दर्ज कर ली है और मामले की जांच के बाद ही कार्रवाई करने की बात कही है.

Last Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST
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