गरियाबंद: अमाड़ गांव के ग्रामीण सौर सुजला योजना को लेकर काफी परेशान हैं. बीते 6 महीने में जिनके यहां भी शासन की इस योजना के तहत पंप लगाया गया है. ज्यादातर पंप खराब होने की शिकायत मिल रही है. ग्रामीणों का कहना है कि सोलर पंप की उम्मीद में मक्के और धान की फसल बोई गई थी, लेकिन सिंचाई के शुरुआत में ही पंप ने दम तोड़ दिया. बनाने पर भी तत्काल नहीं बन पा रहा है. जिससे फसल नष्ट हो गई.
परेशान किसान गरियाबंद जिला कलेक्ट्रेट पहुंचे. किसानों ने इसकी शिकायत कलेक्टर से की. किसानों को राहत देने के लिए शुरू की गई शासन की सौर सुजला योजना बीते 6 महीने से अमाड़ गांव में फेल होती नजर आ रही है.
जहां बिजली नहीं वहां के लिए वरदान थी योजना
घने वनों के बीच गरियाबंद जिले में ऐसे कई गांव है जहां आज भी बिजली नहीं पहुंची है. ऐसे ही एक गांव अमाड़ में लोगों के लिए शासन की सौर सुजला योजना राहत लेकर आई थी, लेकिन बीते 6 महीने में जिनके भी यहां सोलर ऊर्जा वाले सिंचाई पंप लगाए गए, वे लोग इसे लेकर खासे परेशान हैं, आए दिन पंप खराब होता है.
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गुणवत्ता पर उठे सवाल
अपनी फसलों का नुकसान उठा चुके किसानों का कहना है कि पंप अच्छी गुणवत्ता के नहीं होने कारण ऐसी दिक्कतें आ रही है. इन सबके बीच बड़ी बात यह है कि कांग्रेस के ही जनप्रतिनिधि और पूर्व बिंद्रा नवागढ़ विधानसभा के प्रत्याशी जनक ध्रुव ने इनकी समस्या दूर कराने का जिम्मा उठाया है. ग्रामीणों को कलेक्टर से मुलाकात कराई. जिसके बाद कलेक्टर ने समस्या को जल्द हल करने का आश्वासन दिया है.
क्या कहते हैं कलेक्टर ?
गरियाबंद कलेक्टर नीलेश क्षीरसागर का कहना है कि 5 साल की वारंटी होती है. खराब हुए पंप को उसी कंपनी से सुधरवाया जाएगा, जिसने इन पंप को लगाया है. इस बात की भी जांच की जाएगी कि कहीं एक ही कंपनी के सारे पंप खराब तो नहीं निकल रहे. यदि जांच में ऐसी कोई बात आएगी तो कंपनी पर कार्रवाई के लिए राज्य शासन पत्र लिखा जाएगा.