गरियाबंद : उदंती सीतानदी टाईगर रिजर्व के बफर जोन एरिया वन परिक्षेत्र कुल्हाडीघाट के पहाड़ी के उपर बसे ग्राम भालूडिग्गी में पिछले लगातार तीन दिनों से हाथियों के दलों ने जमकर आंतक मचाया है. रोजाना शाम को हाथियों के दलों ने भालूडिग्गी गांव मे पहुंचकर लगभग 8 से ज्यादा विशेष पिछड़ी कमार जनजाति आदिवासियों की झोपडियों को पूरी तरह तहस नहस कर दिया.
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ग्रामीण जनजाति के लोग अपनी और बच्चों की जान बचाने के लिए पेड़ पर चढ़ गए और पूरी रात दहशत के कारण पेड़ पर ही बिता दिया. लगभग आठ परिवार पहाड़ी के ऊपर बसे गांव को छोड़कर पैदल 20 किलोमीटर दूर ग्राम पंचायत मुख्यालय ग्राम कुल्हाडीघाट पहुंचे. उन्होंने पूरे घटनाक्रम की जानकारी ग्राम पंचायत के पूर्व सरंपच बनसिंह सोरी और वर्तमान सरपंच धनमोतिन बाई सोरी को दी. सरपंच ने इसकी जानकारी वन विभाग के स्थानीय अधिकारियों को दी. स्थानीय अधिकारियों ने घटना स्थल और कुल्हाडीघाट में पहुंचकर प्रभावित परिवारों से मुलाकात कर उन्हें तत्कालीक मुआवजा देने की बात कही थी, लेकिन अब तक ग्रामीणों को मुआवजा नहीं मिला.
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क्या कहते हैं वन अफसर
वन परिक्षेत्र अधिकारी कुल्हाडीघाट सुदर्शन नेताम ने बताया कि कल तीसरे दिन भी हाथियों के दल ने ग्राम भालूडिग्गी में कुछ ग्रामीणों के झोपडियों को नुकसान पहुंचाया है, अमला ग्राम भालूडिग्गी में फसल मकान क्षति सम्पति क्षति का आंकलन किए हैं और ग्रामीणों को यथासंभव सहयोग किया जा रहा है. साथ ही उन्हे जंगल के तरफ अकेले नहीं जाने की मुनादी भी कराई जा रही है. वन विभाग की पूरी टीम हाथियों के हर गतिविधियेां पर नजर रखे हुए है. बता दें कि यह हाथियों का दल ओडिसा से इस इलाके में पहुंचा हुआ है.