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'डॉक्टर भगवान तो नहीं  जो हर बार सफल ही हो जाएं' - ts singh deo

कोलकाता में हुए हिंसा के खिलाफ देश भर के डॉक्टर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. डॉक्टरों की मांग है कि उन्हें विशेष सुरक्षा मुहैया कराया जाए. गरियाबंद के डॉक्टरों का कहना है कि यहां भी कई बार इस तरह की स्थिति उत्पन्न हो चुकी है. जिसपर सरकार को गंभीरता से विचार करने की जरुरत है.

'डॉक्टर भगवान तो नहीं  जो हर बार सफल ही हो जाएं'
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Published : Jun 14, 2019, 6:30 PM IST

गरियाबंद: कोलकाता में डॉक्टर के साथ मारपीट की घटना के विरोध में छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिला अस्पताल के 12 डॉक्टर अस्पताल के मेन गेट पर धरना दे रहे हैं. डॉक्टरों का कहना है कि कोलकाता में एक डॉक्टर के सिर पर मरीज के परिजन ने हमला कर दिया. जिसमें डॉक्टर गंभीर रूप से घायल हो गया है और जिंदगी और मौत से जूझ रहा है.

'डॉक्टर भगवान तो नहीं जो हर बार सफल ही हो जाएं'

कोलकाता में हुए हिंसा के खिलाफ देश भर के डॉक्टर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. डॉक्टरों की मांग है कि उन्हें विशेष सुरक्षा मुहैया कराया जाए. गरियाबंद के डॉक्टरों का कहना है कि यहां भी कई बार इस तरह की स्थिति उत्पन्न हो चुकी है. जिसपर सरकार को गंभीरता से विचार करने की जरुरत है.

'डॉक्टर 'भगवान' तो नहीं'
धरना पर बैठे डॉ जयंत चंद्राकर का कहना है कि, 'वे ऐसे कई साथियों को जानते हैं जो इस तरह की घटना का शिकार होकर डॉक्टरी ही छोड़ दिये हैं. डॉ जयंत चंद्राकर ने कहा कि आज वे यह सोचने पर मजबूर हैं कि, जब वे लोगों की जान बचाने के लिए पूरा जी जान लगा देते हैं, तब भी ऐसे हालात क्यूं बन रहे हैं'. उन्होंने कहा कि वे भगवान नहीं हैं जिनसे कोई गलती न हो और हर बार सफल ही हो जाएं.

गरियाबंद: कोलकाता में डॉक्टर के साथ मारपीट की घटना के विरोध में छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिला अस्पताल के 12 डॉक्टर अस्पताल के मेन गेट पर धरना दे रहे हैं. डॉक्टरों का कहना है कि कोलकाता में एक डॉक्टर के सिर पर मरीज के परिजन ने हमला कर दिया. जिसमें डॉक्टर गंभीर रूप से घायल हो गया है और जिंदगी और मौत से जूझ रहा है.

'डॉक्टर भगवान तो नहीं जो हर बार सफल ही हो जाएं'

कोलकाता में हुए हिंसा के खिलाफ देश भर के डॉक्टर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. डॉक्टरों की मांग है कि उन्हें विशेष सुरक्षा मुहैया कराया जाए. गरियाबंद के डॉक्टरों का कहना है कि यहां भी कई बार इस तरह की स्थिति उत्पन्न हो चुकी है. जिसपर सरकार को गंभीरता से विचार करने की जरुरत है.

'डॉक्टर 'भगवान' तो नहीं'
धरना पर बैठे डॉ जयंत चंद्राकर का कहना है कि, 'वे ऐसे कई साथियों को जानते हैं जो इस तरह की घटना का शिकार होकर डॉक्टरी ही छोड़ दिये हैं. डॉ जयंत चंद्राकर ने कहा कि आज वे यह सोचने पर मजबूर हैं कि, जब वे लोगों की जान बचाने के लिए पूरा जी जान लगा देते हैं, तब भी ऐसे हालात क्यूं बन रहे हैं'. उन्होंने कहा कि वे भगवान नहीं हैं जिनसे कोई गलती न हो और हर बार सफल ही हो जाएं.

Intro:अपनी सुरक्षा की चिंताओं के बीच, कोलकाता की घटना पर डॉक्टरों ने किया विरोध प्रदर्शन, कहां हम भी कई बार ऐसी परिस्थितियों में फंस चुके हैं



कोलकाता में हुए डॉक्टर पर हमले के बाद गरियाबंद में भी डॉक्टर से आधे दिन ओपीडी बंद रख डॉक्टरों पर हो रही हिंसा का विरोध किया है उनका कहना है कि गरियाबंद में भी कई बार मरीज के परिजन डॉक्टरों को घेरकर गंभीर विवाद की स्थिति तक पहुंची है यहां भी उन्हें सुरक्षा उपलब्ध कराए जाने की जरूरत है

धरती के भगवान कहे जाने वाले डॉक्टर आज अपनी सुरक्षा को लेकर काफी चिंतित नजर आ रहे हैं वैसे कई घटनाएं हो चुकी है लेकिन 2 दिन पहले कोलकाता में हुई घटना ने डॉक्टरों को चिंता में डाल दिया है



गरियाबंद जिला मुख्यालय में स्थित जिला अस्पताल के 12 डॉक्टरों ने आज कोलकाता में डॉक्टर पर हुई हिंसा का विरोध करने जिला अस्पताल के मुख्य द्वार पर बैठ गए डॉक्टरों ने बताया कि वहां डॉक्टर प्रभास के सर पर मरीज के परिजन ने ऐसा हमला किया कि वह जिंदगी और मौत से जूझ रहा है


गरियाबंद विरोध करने बैठे डॉक्टर जयंत चंद्राकर का कहना है कि मैं अपने कई ऐसे साथियों को जानता हूं जो ऐसी हिंसा ओं से आहत होकर डॉक्टरी का पेशा छोड़ चुके हैं वही आज हम यह सोचने पर मजबूर हैं कि हम जब लोगों की जान बचाने उन्हें ठीक करने अपने पूरा जी जान लगा देते हैं तब भी आखिर क्यों ऐसे हालात बन रहे हैं उनका कहना है कि आखिर हम भगवान तो नहीं जो हर बार सफल ही होंगे डॉक्टर चंद्राकर का कहना है कि उनके साथ भी कई बार काफी गलत परिस्थितियां बनी है मारपीट तो नहीं मगर अब तक तीन बार उन्हें मरीज के परिजन अस्पताल में घेरकर उनके साथ विवाद कर चुके हैं बहुत तकलीफ देह स्थिति होती है

डॉक्टर स्नेह लता हुमने का कहना है कि जो डॉक्टर अनेक लोगों की जान बचाता है उससे अगर कोई मरीज नहीं बच पाता है तो उसके परिजन इस तरह का हिंसा कैसे कर सकते हैं कोई डॉक्टर नहीं चाहता कि मरीज को नुकसान हो या मरीज ना बचे उसके बाद भी इस तरह की हिंसा बरदाश्त नहीं पोती कोलकाता में 29 साल के डॉक्टर पर हमला कर उसे मौत के कगार पर पहुंचा दिया गया है वह अपने जीवन भर में सैकड़ों लोगों की जान बचा सकता था लेकिन जान बचाने वालों पर ही हमला और गलत व्यवहार आखिर क्यों और कब तक सरकारों को इस पर दखल देना होगा


गरियाबंद के हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉक्टर जीएस गुरु का कहना है कि कई बार हमारे साथ भी ऐसे ही हालात बनते हैं जब मरीज के परिजन भड़क जाते हैं विवाद करते हैं हमें घेर लेते हैं अपशब्द इस्तेमाल करते हैं हमें गरियाबंद जिला चिकित्सालय में भी सुरक्षा की जरूरत है यहां चौकी की स्थापना की जानी चाहिए ताकि सुरक्षित माहौल में हम काम कर सके


गरियाबंद जिला अस्पताल के दरवाजे पर अस्पताल के 12 डॉक्टरों ने ओपीडी बंद रखकर विरोध प्रदर्शन किया हाथों में सेफ डॉक्टर प्रोटेक्ट डॉक्टर स्टॉप वायलेंस जैसी तख्तियां लेकर डॉक्टरों ने प्रदर्शन किया वहीं डॉक्टर इसके बाद सुरक्षात्मक माहौल के लिए ज्ञापन जिला कलेक्टरेट गएBody:121 तीन डॉक्टरों के साथ गरियाबंद संवाददाता फरहाज मेमनConclusion:
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