गरियाबंद: समर्थन मूल्य पर धान खरीदी के पहले दिन गरियाबंद जिले में अधिकारी एक्टिव नजर आए. अधिकारी-कर्मचारियों की ड्यूटी अलग-अलग धान खरीदी केंद्रों में लगाई गई है, जिसके चलते धान खरीदी केंद्रों के रखरखाव और व्यवस्थाओं को लेकर काफी सख्ती बरती जा रही है. मंगलवार को कलेक्टर निलेश क्षीरसागर, एसपी भोजराम पटेल, जिला पंचायत सीईओ विनय लहंगे के साथ कई अधिकारी धान खरीदी केंद्र पहुंचे.
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इस दौरान जिले के सुली, छुरा, लोहझर, खढमा, रानी, परतेवा के अलावा अन्य खरीदी केंद्रों में उन्होंने निरीक्षण किया. निरीक्षण के दौरान कलेक्टर निलेश क्षीरसागर ने स्वयं धान खरीदी केंद्र में धान की गुणवत्ता देखी. इसके बाद धान खरीदी केंद्र की अव्यवस्थाओं को लेकर वे पूरी तरह से मुस्तैद नजर आए. कलेक्टर ने अधिकारियों से कहा कि किसानों को धान खरीदी में कोई तकलीफ नहीं होनी चाहिए. कलेक्टर ने कहा कि राज्य शासन की मंशा के अनुसार धान खरीदी की जाए और किसानों को कोई तकलीफ नहीं हो. विशेषकर जिन किसानों की धान खरीदी के लिए टोकन कट चुके हैं. उनकी धान प्राथमिकता से खरीदी जाए. गरियाबंद-ओडिशा बॉर्डर पर विशेष निगरानी रखी जा रही है. ताकि दूसरे राज्यों का धान खरीदी केंद्रों तक न पहुंच सके.
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जिले के 75 हजार 217 किसान पंजीकृत
निरीक्षण के दौरान कलेक्टर ने मॉस्चराइजर मशीन से धान की नमी मापी. बता दें कि जिले में तीन लाख 25 हजार मीट्रिक टन धान खरीदी किया जाना है, जबकि 75 हजार 217 किसान पंजीकृत हैं. नोडल अधिकारी ने बताया कि प्रतिदिन लगभग 8000 मीट्रिक टन धान खरीदी की जाएगी. जिले में 67 समितियों के माध्यम से 76 उपार्जन केंद्रों में खरीदी होगी. इनमें से 14 नए केंद्र में पहली बार खरीदी हो रही है.