बिलासपुर: छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय को बीएससी एग्रीकल्चर ऑनर्स प्रवेश प्रक्रिया में एक सीट रिजर्व रखने का आदेश जारी किए हैं.
विवि ने बनाए थे प्रवेश के नियम
विश्वविद्यालय ने प्रवेश को लेकर नए निर्देश जारी किए थे. जिसमें कोरोना काल में विश्वविद्यालय में बीएससी एग्रीकल्चर ऑनर्स में छात्रों को प्रवेश देने के लिए अलग से परीक्षा आयोजित नहीं की जाएगी. बल्कि छात्रों को 12वीं में प्राप्त अंकों के अनुसार प्रवेश दिए जाएंगे. यह प्रवेश मेरिट बसिस पर दिया जाएगा. इसके साथ ही विश्वविद्यालय की ओर से नक्सल पीड़ित परिवार के सदस्यों को प्रवेश देने के लिए बनाए गए नियम में भी संशोधन किया गया है. संशोधित नियम के अनुसार पीड़ित परिवार के केवल बेटे या बेटी को ही अब यूनिवर्सिटी में प्रवेश दिया जाएगा.
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याचिकाकर्ता ने दिया इस नियम का हवाला
पहले ऐसे मामलों में परिवार के नाती पोतों को भी प्रवेश दे दिया जाता था. यूनिवर्सिटी के इस फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में श्रुति गंधार्ला ने याचिका दायर की.उन्होंने अपनी याचिका में कहा कि उनके दादा सरकारी कर्मचारी थे,जिनकी हत्या 2014 में नक्सलियों ने चुनाव ड्यूटी के दौरान कर दी थी.
हाईकोर्ट ने दिए सीट रिजर्व करने के निर्देश
याचिकाकर्ता की और से कहा गया कि वह भी नक्सल पीड़ित परिवार से हैं, लेकिन संशोधित नियम की वजह से उन्हें प्रवेश नहीं दिया जा रहा है. मामले पर सुनवाई करते हुए चीफ़ जस्टिस की डिवीजन बेंच ने विश्वविद्यालय को याचिकाकर्ता के लिए एक सीट रिजर्व रखने का आदेश जारी करते हुए शासन और विश्वविद्यालय से जवाब तलब किया है. मामले की अगली सुनवाई अब मंगलवार को होगी.