बिलासपुर: चंदूलाल चंद्राकर मेमोरियल हॉस्पिटल एक निजी संस्था द्वारा संचालित किया जा रहा था, जिसका निर्माण शासन द्वारा दी गई लीज की जमीन पर किया गया था. शासन द्वारा दी गई लीज में यह भी जिक्र है कि लीज में मिली भूमि को किसी भी परिस्थिति में बेचा, गिरवी या नीलाम नहीं किया जा सकता है, फिर भी इसे गिरवी रखकर इंडियन बैंक से ऋण लिया गया था. अदायगी ना होने की स्थिति में इंडियन बैंक ऋण वसूली के लिए इसे नीलाम करने जा रहा है. इसी बीच राज्य शासन ने इसके अधिग्रहण का अधिनियम पारित कर हॉस्पिटल का अधिग्रहण कर लिया है.chhattisgarh high court news
हाईकोर्ट में लगी याचिका में लीज निरस्त करने के लिए प्रस्तुत सिविल मामला डिवीजन बेंच से डीलिस्ट कर सिंगल बेंच में सुनवाई के निर्देश दिए गए हैं. इसी से संबंधित जनहित याचिका पर पहले से डिवीजन बेंच में सुनवाई चल रही है.Chandulal Chandrakar Memorial College
अमित चंद्राकर और पांच अन्य ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर कहा था कि अधिग्रहण अधिनियम को विनियमित करने में राज्य शासन ने बड़ी चूक की है, जिससे जनहित प्रभावित हुआ है. याचिका में जस्टिस गौतम भादुड़ी और जस्टिस संजय अग्रवाल की डिवीजन बेंच ने सुनवाई करते हुए बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स के 13 सदस्य और इंडियन बैंक को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था. लीज निरस्त करने के लिए अमित चंद्राकर ने सिविल मामला हाईकोर्ट में अलग से पेश किया था.