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CGPSC सिविल जज परीक्षा और रिजल्ट हाईकोर्ट ने किया निरस्त - मई में ली गई सिविल जज की परीक्षा

सीजीपीएससी सिविल जज की परीक्षा को हाई कोर्ट ने रद्द कर दिया है.जस्टिस गौतम भादुरी की कोर्ट ने ये फैसला सुनाया है. ये निर्णय याचिकाकर्ता के हक में लिया गया है.

CGPSC सिविल जज परीक्षा और रिजल्ट हाईकोर्ट ने किया निरस्त
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Published : Nov 15, 2019, 2:00 PM IST

Updated : Nov 15, 2019, 3:26 PM IST

बिलासपुरः सीजीपीएससी द्वारा मई में ली गई सिविल जज की परीक्षा को हाई कोर्ट ने रद्द कर दिया है. कोर्ट ने बिना अतिरिक्त शुल्क के नए सिरे से परीक्षा कराये जाने का दिया आदेश दिया है.
बता दें कि इस परीक्षा का रिजल्ट जुलाई में आया था. छात्रों द्वारा परीक्षा में पूछे गए कुछ सवालों को चुनौती दी गई थी. जस्टिस गौतम भादुरी की कोर्ट ने ये फैसला सुनाया है. बता दें कि ये निर्णय याचिकाकर्ता के हक में लिया गया है.

CGPSC सिविल जज परीक्षा और रिजल्ट हाईकोर्ट ने किया निरस्त
ये है मामलाछत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (PSC) ने 6 फरवरी 2019 को विधि और विधायी कार्य विभाग के तहत सिविल जज के 39 पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन जारी किए थे. 7 मई 2019 को ऑनलाइन प्रारंभिक परीक्षा का आयोजन किया गया था. परीक्षा के दूसरे दिन 8 मई को पीएससी द्वारा मॉडल आंसर जारी किया गया. 24 मई तक ऑनलाइन दावा-आपत्ति मांगे गए थे.

सिविल जज परीक्षा देने वाले सव्यसाची चौबे ने अधिवक्ता वैभव शुक्ला के माध्यम से याचिका लगाई. इस याचिका में कहा गया था कि मॉडल आंसर पर की गई आपत्तियों का निराकरण किए बिना ही नतीजे जारी कर दिए गए हैं. बता दें कि पहली याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने पीएससी सहित अन्य को नोटिस जारी करने के साथ ही अगली सुनवाई तक मुख्य परीक्षा के लिए प्रक्रिया शुरू करने पर रोक लगा दी थी.

बिलासपुरः सीजीपीएससी द्वारा मई में ली गई सिविल जज की परीक्षा को हाई कोर्ट ने रद्द कर दिया है. कोर्ट ने बिना अतिरिक्त शुल्क के नए सिरे से परीक्षा कराये जाने का दिया आदेश दिया है.
बता दें कि इस परीक्षा का रिजल्ट जुलाई में आया था. छात्रों द्वारा परीक्षा में पूछे गए कुछ सवालों को चुनौती दी गई थी. जस्टिस गौतम भादुरी की कोर्ट ने ये फैसला सुनाया है. बता दें कि ये निर्णय याचिकाकर्ता के हक में लिया गया है.

CGPSC सिविल जज परीक्षा और रिजल्ट हाईकोर्ट ने किया निरस्त
ये है मामलाछत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (PSC) ने 6 फरवरी 2019 को विधि और विधायी कार्य विभाग के तहत सिविल जज के 39 पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन जारी किए थे. 7 मई 2019 को ऑनलाइन प्रारंभिक परीक्षा का आयोजन किया गया था. परीक्षा के दूसरे दिन 8 मई को पीएससी द्वारा मॉडल आंसर जारी किया गया. 24 मई तक ऑनलाइन दावा-आपत्ति मांगे गए थे.

सिविल जज परीक्षा देने वाले सव्यसाची चौबे ने अधिवक्ता वैभव शुक्ला के माध्यम से याचिका लगाई. इस याचिका में कहा गया था कि मॉडल आंसर पर की गई आपत्तियों का निराकरण किए बिना ही नतीजे जारी कर दिए गए हैं. बता दें कि पहली याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने पीएससी सहित अन्य को नोटिस जारी करने के साथ ही अगली सुनवाई तक मुख्य परीक्षा के लिए प्रक्रिया शुरू करने पर रोक लगा दी थी.

Intro:बिलासपुर हाईकोर्ट ने एक महत्वपूर्ण सीजीपीएससी की परीक्षा को चुनौती देने के मामले में याचिकाकर्ताओं के हक़ में निर्णय सुनाते हुए इसी साल मई में हुई परीक्षा को रद्द कर दिया है । Body: हाईकोर्ट ने बिना अतिरिक्त शुल्क के साथ नए सिरे से परीक्षा कराये जाने का राज्य लोक सेवा आयोग को आदेश जारी किया है । मई में हुए परीक्षा का जुलाई में परिणाम आया था । Conclusion:परीक्षा परिणाम जारी होने के बाद आधादर्जन से अधिक याचिकाकर्ताओं ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी और कोर्ट को कई गलत प्रश्न पूछने की जानकारी से अवगत कराया था । याचिकाकर्ताओं ने बताया कि बिना गलत प्रश्न को विलोपित किये आयोग ने मॉडल आंसर भी जारी कर दिए । हाईकोर्ट ने आज इस मामले में सुनवाई करते हुए याचिकाकर्ताओं की ओर से प्रस्तुत दलीलों को गम्भीरता से लिया और बीते दिनों हुए परीक्षा को रद्द कर नए सिरे से परीक्षा लेने का निर्देश जारी किया है ।
जस्टिस गौतम भादुरी की कोर्ट ने आज इस मामले में फैसला सुनाया है ।
विशालं झा...बिलासपुर
Last Updated : Nov 15, 2019, 3:26 PM IST
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