बीजापुर : वन विभाग एक बार फिर सुर्खियों में है. यहां तस्करों की ओर से बेधड़क बेसकीमती सागौन की लकड़ियों की तस्करी की जा रही है. तस्कर इंद्रावती और गोदावरी नदी के माध्यम से लकड़ियों की तस्करी कर रहे हैं. इन्हें रोकने के लिए वन विभाग ने बैरक बनाया है फिर भी तस्करी रुकने का नाम नहीं ले रही है.
दरअसल, जिले में वन विभाग लगातार हो रही बेसकीमती सागौन की तस्करी को लेकर हमेशा सुर्खियों में रहता है. जिले के अंतिम छोर पर महाराष्ट्र और तेलंगाना की सीमा से लगे भोपालपट्टनम वन परिक्षेत्र नक्सल प्रभावित होने के कारण अन्तर्राज्यीय लकड़ी तस्करी गिरोह की ओर से यहां इन्द्रावती और गोदावरी नदी के माध्यम से बहुमूल्य सागौन की तस्करी को बेखौफ अंजाम देते रहे हैं. वहीं पड़ोसी राज्य तक भी लकड़ियों की तस्करी आसानी से करते रहे हैं. वन विभाग इन पर लगाम लगाने में असफल नजर आ रहा है.
महाराष्ट्र सीमा से जुड़ने वाले तिमेड के पास बना इंद्रावती पुल में पास एक बैरक और दूसरा भोपालपट्टनम ब्लॉक के अंतिम छोर तरलागुड़ा, जो तेलंगाना से जोड़ता है. इस जगह पर एक बैरक बनाया गया है ताकि तस्करों को रोका जा सके.
ग्रामीणों का आरोप है कि वन विभाग के अधिकारी अपने मुख्यालय में नहीं रहते, जिसकी वजह से तस्करी पर लगाम लगाना मुश्किल है.