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किसानों पर बेमौसम बारिश की मार, हजारों एकड़ की फसल बर्बाद - बेमेतरा में बेमौसम बारिश

बेमौसम बारिश की मार से इन दिनों किसान खासे परेशान नजर आ रहे हैं. कृषि विभाग के आंकड़ों की मानें तो जिले के 248 गांव के 13 हजार से अधिक किसानों की हजारों की फसलें पूरी तरीके से नष्ट हो गई है.

Thousands of acres of crop wasted due to unrestrained in Bemetra
बारिश से हजारों एकड़ की फसल बर्बाद
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Published : Feb 27, 2020, 1:17 PM IST

बेमेतरा: जिले हो रही बेमौसम बारिश अब किसानों के लिए अभिशाप साबित हो रही है. कृषि विभाग के आंकड़ों की मानें तो जिले के 248 गांव के 13 हजार से अधिक किसानों की हजारों की फसलें पूरी तरह नष्ट हो गई है.

हजारों एकड़ की फसल बर्बाद

मौसम की मार किसानों पर आफत बनकर टूटी है. किसानों के दलहन, तिलहन दोनों फसल पूरी तरह से चौपट हो गई है. वहीं साजा और थान खम्हरिया क्षेत्र में केला, पपीता पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं. बता दें कि जिले में बारिश के साथ हुई ओलावृष्टि से चना, तिवरा, अरहर के फूल पूरे झड़ गए हैं. वहीं गेहूं, पपीते, केले की फसल तेज हवा और ओले से पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं.

कृषि विभाग कर रहा फसल क्षति का आकलन
किसान रमेश साहू और संताराम साहू ने बताया कि 'बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से चना, तिवरा की फसल पूरी तरह से चौपट हो गई है. वहीं गेहूं, अरहर भी बारिश की भेंट चढ़ गई है.' कृषि विभाग के उपसंचालक एचएस राजपूत ने बताया कि 'शासन के निर्देशानुसार बारिश से फसलों की क्षति का आकलन किया जा रहा है. सबसे ज्यादा उन्हारी फसलों को नुकसान पहुंचा है.'

पढ़ें- WEATHER UPDATE : जानिए आज क्या है छत्तीसगढ़ में मौसम का हाल

हजारों हेक्टेयर की फसलें खराब
जिले के चारों ब्लॉक में सर्वे के अनुसार 248 गांवों के 13 हजार 250 किसानों के हजारों हेक्टेयर की फसलें बारिश से प्रभावित हुई हैं. हाल ही में हुए ओलावृष्टि के बाद पुनः निरीक्षण किया जा रहा है.

बेमेतरा: जिले हो रही बेमौसम बारिश अब किसानों के लिए अभिशाप साबित हो रही है. कृषि विभाग के आंकड़ों की मानें तो जिले के 248 गांव के 13 हजार से अधिक किसानों की हजारों की फसलें पूरी तरह नष्ट हो गई है.

हजारों एकड़ की फसल बर्बाद

मौसम की मार किसानों पर आफत बनकर टूटी है. किसानों के दलहन, तिलहन दोनों फसल पूरी तरह से चौपट हो गई है. वहीं साजा और थान खम्हरिया क्षेत्र में केला, पपीता पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं. बता दें कि जिले में बारिश के साथ हुई ओलावृष्टि से चना, तिवरा, अरहर के फूल पूरे झड़ गए हैं. वहीं गेहूं, पपीते, केले की फसल तेज हवा और ओले से पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं.

कृषि विभाग कर रहा फसल क्षति का आकलन
किसान रमेश साहू और संताराम साहू ने बताया कि 'बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से चना, तिवरा की फसल पूरी तरह से चौपट हो गई है. वहीं गेहूं, अरहर भी बारिश की भेंट चढ़ गई है.' कृषि विभाग के उपसंचालक एचएस राजपूत ने बताया कि 'शासन के निर्देशानुसार बारिश से फसलों की क्षति का आकलन किया जा रहा है. सबसे ज्यादा उन्हारी फसलों को नुकसान पहुंचा है.'

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हजारों हेक्टेयर की फसलें खराब
जिले के चारों ब्लॉक में सर्वे के अनुसार 248 गांवों के 13 हजार 250 किसानों के हजारों हेक्टेयर की फसलें बारिश से प्रभावित हुई हैं. हाल ही में हुए ओलावृष्टि के बाद पुनः निरीक्षण किया जा रहा है.

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