बेमेतरा: बेमेतरा जनपद पंचायत अंतर्गत मनरेगा कार्य में बड़ी लापरवाही सामने आई है. अतरिया ग्राम पंचायत के रोजगार सहायक मनोज गंधर्व पर बड़ा आरोप लगा है. जानकारी के मुताबिक रोजगार सहायक पर ये पहली मर्तबा नहीं है, जब राशि गबन करने का आरोप लगा हो. इसके पहले भी कई दफा इस तरह के आरोप लग चुके हैं. बावजूद इसके रोजगार सहायक पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है. रोजगार सहायक पर एक हितग्राही ने 13 हजार रुपये की राशि गबन करने का आरोप लगया है, जिसकी शिकायत उसने कलेक्टर से की है.
दरअसल, मनरेगा में खून पसीना एक कर चार पैसे कमाने वाले एक मजदूर की मेहनताना को रोजगार सहायक मनोज गंधर्व ने दूसरे के खाते में ट्रांसफर कर दिया, जिससे अब हितग्राही रामचंद्र सतनामी ने दर दर की ठोकरें खा रहा है. हितग्राही ने बताया कि 13 हजार रुपये की राशि गांव के ही रामचंद्र साहू के खाते में डाल दी गई है, जिससे रामचंद्र परेशान नजर आ रहा है.
दफ्तरों कर चक्कर काट हितग्राही परेशान
मामला जिले के बेमेतरा जनपद पंचायत के अंतर्गत आने वाले अतरिया ग्राम पंचायत का है. जहां के प्रभारी रोजगार सहायक मनोज गंधर्व के कारनामें लगातार उजागर हो रहे हैं, जिसके बाद भी जनपद पंचायत हाथ में हाथ धरा बैठा है. धनगांव में नियम के खिलाफ तालाब गहरीकरण का मामला अभी शांत नहीं हुआ था कि रोजगार सहायक का एक और कारनामा सामने आ रहा है, जिसमें वह श्रमिक का पैसा दूसरे के खाते में ट्रांसफार्मर कर दिया है, जिससे श्रमिक रामचंद्र सतनामी परेशान है. वह लगातार सरकारी दफ्तरों का चक्कर काटने को मजबूर है.
रोजगार सहायक ने आधा रकम दिलाये आधा अब भी बाकी
हितग्राही रामचंद्र सतनामी ने बताया कि गांव के महामाया तालाब में उसने16 हप्ते मजदूरी की है, जिसका 13 हजार रुपये रोजगार सहायक की गलती के कारण रामचंद्र साहू के खाते में गया है. कई मर्तबा बोलने के बाद रोजगार सहायक ने 6500 रुपये रामचंद्र साहू से दिलवाए हैं, लेकिन बचे हुए 6500 वह देने का नाम नहीं ले रहा है. मामले में अब रोजगार सहायक भी आनाकानी कर रहा है, जो परेशानी का सबब है. हुतग्राही ने मामले की शिकायत कलेक्टर, जिला पंचायत सीईओ और जनपद पंचायत सीईओ से की है, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है.