बलौदा बाजार : बलौदा बाजार जिले भरसेला गांव के रहने वाले युवक युवराज डहरिया बांग्लादेश के कुरिग्राम जिले के जेल में बंद है. इसकी जानकारी मिलते ही परिवार और जिला प्रशासन के होश उड़ गए हैं. बलौदाबाजार की एसपी नीथू कमल ने मामले की पुष्टि की है. परिजनों ने युवराज को जेल से रिहा कराने के लिए जिले के एसपी और कलेक्टर से गुहार लगाई है. इतना ही नहीं परिजनों ने पूर्व सांसद रमेश बैश को मामले की जानकारी देकर मदद की गुहार लगाई है.
युवराज डहरिया पर आरोप है की वह अवैध रूप से सीमा पार करते हुए पकड़ा गया था. इस आरोप में वह सजा काट रहा है. वहीं 4 दिन पहले शासन को युवराज की नागरिकता के बारे में पूछे गए सवालों का जवाब भेज दिया गया है. इस बात की पुष्टि हुई है कि युवक बलौदा बाजार का युवराज ही है. जानकारी के बाद परिजनों, एसपी और कलेक्टर व पुलिस ने जो भी जानकारी दी हैं, उससे ये अभी तक पूरी तरह से रहस्य है कि आखिरकार वह बांग्लादेश कैसे पहुंच गया, युवराज किसके साथ बार्डर तक पहुंचा था और सरहद पार क्यों कर रहा था? इन सभी रहस्यों से तब ही पर्दा उठेगा जब युवराज वापस आएगा.
सिटी कोतवाली के भरसेला गांव का मामला
दरअसल, मामला सिटी कोतवाली के भरसेला गांव का है, जहा के रहने वाले युवराज डहरिया करीब साल भर पहले अपने घर से अपने ससुराल पत्नी से मिलने भाटापारा के राजाढार गया हुवा था. जानकारी के मुताबिक युवराज की पत्नी आपसी विवाद के बाद अपने अपने बेटी के साथ मायके में ही रहती थी, जिससे मिलने युवराज अक्सर अपने ससुराल जाया करता था. इस बार भी युवराज अपने पत्नी और बच्चे से मिलने पहुंचा और एक दिन रुककर दूसरे दिन अपने गांव के लिए निकल पड़ा, लेकिन दो दिन बीत जाने के बाद युवराज अपने घर नहीं पंहुचा, जिसके बाद परिजनों ने युवराज की खोज बिन शुरू की. महीनों बीत जाने के बाद भी युवराज का कोई पता नहीं चला. इधर थक हार कर परिजन भाटापारा ग्रामीण थाने में युवराज की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई गई. पुलिस की टीम ने भी हर जगह युवराज की खोजबीन की. हर एंगल से जांच की, लेकिन महीनों बाद पुलिस को युवराज का कोई सुराग नहीं मिला. इधर परिजन भी अपने बेटे के वापस आने का आस भी खो चुके थे.
बंग्लादेश के युवक दीपशाह का मैसेज आया
करीब साल भर बाद बलौदा बाजार के रहने वाले एक शख्स शालीन शुक्ल के फेसबुक पर बंग्लादेश के एक युवक दीपशाह का मैसेज आया, उसने फेसबुक और मेसेंजर के माध्यम से जानकारी दी की इंडिया के बलौदा बाजार के भरसेला गांव का शख्स जिसका नाम युवराज है और उसकी मदद कीजिये. वह बंगलादेश के कुरीग्राम जेल में बंद रखा गया है.
दीपशाह से मांगी मदद
दरअसल, बांग्लादेश के रहने वाले युवक दीपशाह कुरीग्राम के जेल में बंद था. इस दौरान उसकी मुलाकात युवराज से हुई. दीपशाह को हिंदी बोलने और समझने भी आता है, लिहाजा युवराज ने अपनी आप बीती दीपशाह को बताई और मदद मांगी. दीप शाह कुछ महीनों बाद जेल से रिहा हुआ. फेसबुक के जरिये बलौदा बाजार जिले के कुछ लोगों को मैसेज किया. मैसेज के जरिये बलौदा बाजार के शालीन शुक्ला से बातचीत कर पूरी आप बीती बताई. दीप शाह ने ये भी बताया की युवराज मानसिक रूप से कमजोर है और उस पर बांग्लादेश का बार्डर क्रास करने का जुर्म दर्ज है, जिसके चलते उसको जेल में बंद किया गया है. इधर सारी बातें जानने के बाद बलौदा बाजार के शालीन शुक्ला ने युवराज के परिजनों की खोजबीन कर पूरी घटना की जानकारी दी.
पत्राचार के माध्यम से ली जानकारी
वहीं इस मामले में बांग्लादेश के दूतावास ने युवराज की नागरिकता को लेकर पत्राचार के माध्यम से जानकारी भी ली है. वहीं अब जिले के एसपी और कलेक्टर ने पत्राचार के माध्यम से भारतीय दूतावास और विदेश मंत्रालय को अवगत कराया है. युवराज की रिहाई को लेकर जल्द कोई बड़ा निर्णय लिया जायेगा. वहीं युवराज के माता पिता बेसब्री से अपने बेटे के वापस आने का इंतज़ार कर रहे हैं.
खड़े हो रहे सवाल
वहीं अब तक सबसे बड़ा सवाल यह भी खड़ा होता है की आखिरकार युवराज भाटापारा से बंगलादेश पंहुचा कैसे. क्या इसके पीछे कोई मानव तस्करी की सम्भावनायें तो नहीं. इसका खुलासा तो युवराज के आने के बाद ही होगा. अब देखना होगा की कब तक बांग्लादेश के जेल से रिहा होकर युवराज अपने घर लौटेगा.