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इस संस्था ने किताबें बांट कर किया कुछ ऐसा, गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज हैं नाम - बालोद न्यूज

बालोद के अम्लीडीह में मानव उत्थान सेवा समिति और मानव सेवा दल द्वारा स्कूली बच्चों को किताबें और अन्य सामान बांटे गए. संस्था इस काम को पिछले तीन-चार सालो से कर रही है.

बच्चो को स्टेशनरी सामाग्री वितरित किया गया
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Published : Aug 8, 2019, 9:15 PM IST

बालोद: ग्राम अम्लीडीह में मानव उत्थान सेवा समिति और मानव सेवा दल के संयुक्त तत्वाधान में बालोद जिले के अलग-अलग स्कूलों में जरूरतमंद बच्चों को शिक्षण सामग्री वितरण किया गया. स्टेशनरी सामान वितरण करते हुए बच्चों को शिक्षा से जोड़ने का प्रयास किया गया. स्टेशनरी बांटने में इस संस्था का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज हो चुका है.

बालोद में स्टेशनरी सामानों का वितरण

तीन-चार साल से कर रहे कार्यक्रम

कार्यक्रम के दौरान मानव सेवा दल ने बताया कि विगत तीन-चार वर्षों से वे यह सेवाएं कर रहे हैं. ऐसे कार्यक्रमों के जरिए वे जरूरतमंद बच्चों को शिक्षा से जोड़ना उनका लक्ष्य है. सेवा दल की सदस्य सुप्रभा बाई ने कहा कि शिक्षण सामग्रियों के अभाव में शिक्षा का स्तर गिर रहा है, उसे संभालना हम सब का फर्ज है. इस तरह के सहयोग से राष्ट्र निर्माण में मदद मिलती है.

सुप्रभा बाई ने बताया कि शिक्षण सामग्रियों के अभाव में शिक्षा का स्तर गिरता जा रहा है. शासन द्वारा अपने स्तर पर काफी मदद की जाती है लेकिन, इस तरह की मूलभूत सामग्रियां वे नहीं देते है. इसे देखते हुए हम लोग इस कार्यक्रम के माध्यम से ये जरूरी सामान बांट रहे हैं. इस साल हमने एक हजार बच्चों को ये सारे सामान बांटने का लक्ष्य रखा है.

16 हजार किलो सामान बांटकर बनाया रिकार्ड

मानव सेवा दल के प्रांतपाल उग्रसेन पटेल ने बताया कि ऐसे लोग जो सहयोग करने में सक्षम हैं, उनसे हम मदद लेकर जरूरतमंद बच्चों को ये सारे सामान देते हैं. अब तक 6 लाख से अधिक बच्चों को हम किताबें और अन्य सामान बांट चुके हैं. पिछले साल एक आयोजन ऐसा भी था जिसमें 16 हजार किलो स्टेशनरी का सामान वितरित किया गया. जो गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज है.

बच्चों को आध्यात्म से जोड़ने का भी प्रयास

मानव सेवा दल द्वारा यहां आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों की मदद करने के साथ-साथ ही उन्हें आध्यात्म से भी जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है. इस तरह के सहयोग से शिक्षा के स्तर में वृद्धि होगी. संस्था द्वारा सेंटर में 6 हजार बच्चों को मदद करने का लक्ष्य रखा गया है. एक सेंटर में लगभग 8 से 10 गांव शामिल हैं.

बालोद: ग्राम अम्लीडीह में मानव उत्थान सेवा समिति और मानव सेवा दल के संयुक्त तत्वाधान में बालोद जिले के अलग-अलग स्कूलों में जरूरतमंद बच्चों को शिक्षण सामग्री वितरण किया गया. स्टेशनरी सामान वितरण करते हुए बच्चों को शिक्षा से जोड़ने का प्रयास किया गया. स्टेशनरी बांटने में इस संस्था का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज हो चुका है.

बालोद में स्टेशनरी सामानों का वितरण

तीन-चार साल से कर रहे कार्यक्रम

कार्यक्रम के दौरान मानव सेवा दल ने बताया कि विगत तीन-चार वर्षों से वे यह सेवाएं कर रहे हैं. ऐसे कार्यक्रमों के जरिए वे जरूरतमंद बच्चों को शिक्षा से जोड़ना उनका लक्ष्य है. सेवा दल की सदस्य सुप्रभा बाई ने कहा कि शिक्षण सामग्रियों के अभाव में शिक्षा का स्तर गिर रहा है, उसे संभालना हम सब का फर्ज है. इस तरह के सहयोग से राष्ट्र निर्माण में मदद मिलती है.

सुप्रभा बाई ने बताया कि शिक्षण सामग्रियों के अभाव में शिक्षा का स्तर गिरता जा रहा है. शासन द्वारा अपने स्तर पर काफी मदद की जाती है लेकिन, इस तरह की मूलभूत सामग्रियां वे नहीं देते है. इसे देखते हुए हम लोग इस कार्यक्रम के माध्यम से ये जरूरी सामान बांट रहे हैं. इस साल हमने एक हजार बच्चों को ये सारे सामान बांटने का लक्ष्य रखा है.

16 हजार किलो सामान बांटकर बनाया रिकार्ड

मानव सेवा दल के प्रांतपाल उग्रसेन पटेल ने बताया कि ऐसे लोग जो सहयोग करने में सक्षम हैं, उनसे हम मदद लेकर जरूरतमंद बच्चों को ये सारे सामान देते हैं. अब तक 6 लाख से अधिक बच्चों को हम किताबें और अन्य सामान बांट चुके हैं. पिछले साल एक आयोजन ऐसा भी था जिसमें 16 हजार किलो स्टेशनरी का सामान वितरित किया गया. जो गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज है.

बच्चों को आध्यात्म से जोड़ने का भी प्रयास

मानव सेवा दल द्वारा यहां आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों की मदद करने के साथ-साथ ही उन्हें आध्यात्म से भी जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है. इस तरह के सहयोग से शिक्षा के स्तर में वृद्धि होगी. संस्था द्वारा सेंटर में 6 हजार बच्चों को मदद करने का लक्ष्य रखा गया है. एक सेंटर में लगभग 8 से 10 गांव शामिल हैं.

Intro:बालोद

मानव उत्थान सेवा समिति मानव सेवा दल द्वारा बालोद जिले के विभिन्न विद्यालयों में जाकर गरीब जरूरतमंद बच्चों को शिक्षण सामग्री वितरण किया गया इस दौरान मानव सेवा दल ने बताया कि विगत तीन-चार वर्षों से इस तरह की सेवाएं ले कर रहे हैं जरूरतमंद बच्चों को हम शिक्षा से पूर्णमदह जोड़ना चाहते हैं और शिक्षण सामग्रियों के अभाव में उच्च शिक्षा के स्तर गिर रहा है उसे संभालना हम सब का फर्ज है इस तरह के सहयोग से राष्ट्र निर्माण में मदद मिलती है।


Body:मानव उत्थान सेवा समिति के तत्वाधान में बालोद जिले के विभिन्न विद्यालयों में जरूरतमंद बच्चों को शिक्षण सामग्री वितरण किया गया स्टेशनरी सामान वितरण करते हुए जहां बच्चों को शिक्षा के प्रति जोड़ने का प्रयास किया गया ग्राम अम्लीडीह में मानव उत्थान सेवा समिति के सदस्यों द्वारा बच्चों को कॉपी इरेज़र पेन पेंसिल सहित अन्य प्राथमिक स्तर के सामान वितरित किए गए इसके साथ ही माध्यमिक विद्यालयों में जाकर उन्हें बैग आदि भी वितरित किया गया।

वीओ - मानव सेवा दल से जुड़े हुए सुप्रभा भाई जी ने बताया कि यहां शिक्षण सामग्रियों के अभाव में शिक्षा के स्तर गिरता जा रहा है शासन द्वारा अपने स्तर पर काफी मदद किया किया जाता है परंतु जो इस तरह की सामग्रियां हैं वह नहीं दिया जाता है जिसे हम सब लोगों द्वारा दिया जा रहा है इस साल हमने हजार लोगों को इस तरह सहयोग का लक्ष्य रखा है।

वीओ - मानव सेवा दल के प्रांत पाल उग्रसेन पटेल ने बताया कि ऐसे लोग जो ऐसा करने में सक्षम हैं उनसे हम सहयोग लेकर जरूरतमंद बच्चों को सहयोग करते हैं अब तक 6 लाख से अधिक लोगों की मदद कर चुके हैं और पिछले वर्ष एक आयोजन ऐसा आया था जहां 16 हज़ार किलो स्टेशनरी सामान मिले थे यह अपने आप में गिनीज वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज है।


Conclusion:मानव सेवा दल द्वारा यहां आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों की मदद करने के साथ साथ ही उन्हें आध्यात्म से भी जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है इस तरह के सहयोग से बच्चों को उम्मीद की करण मिल रहे हैं पहले तो पत्तियों के माध्यम से बच्चे घर में तैयारी करते थे आज पट्टी भी देखने को नहीं मिलते हैं इस तरह के सहयोग से शिक्षा के स्तर में वृद्धि होगी और जो बच्चे जरूरतमंद है उन्हें मदद मिल पा रहे हैं प्रत्येक सेंटर में हजार बच्चों को मदद करने का लक्ष्य रखा गया है एक सेंटर में लगभग 8 से 10 गांव शामिल हैं।

बाइट - सुप्रभा बाई जी, मानव सेवा दल

बाइट - उग्रसेन पटेल, प्रांतपाल मानव सेवा दल
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