सरगुजा: सरगुजा क्षेत्र में अपराध के अजब गजब तरीके सामने आ रहे हैं. कलयुग की धारणा यहां चरम पर दिख (Rapidly increasing crime in Surguja)रही है. अपने सगे सबंधियों की लोग हत्या कर दे रहे हैं. एक पिता ने अपने ही जिगर के टुकड़े को मौत के घाट उतार दिया. एक व्यक्ति ने अपने बेटे और उसके दोस्त के साथ मिलकर छोटे भाई के बेटे की ही हत्या कर दी. ऐसे मामले सरगुजा में आम हैं. पति द्वारा पत्नी की हत्या के मामलों की तो लंबी फेहरिस्त है. इन सबके पीछे की मुख्य वजह सिर्फ नशा है. ज्यादातर मामलों में देखा गया की नशे की हालत में अपराध किये गये थे.
कलयुगी पिता ने की मासूम बेटी की हत्या: पहला मामला सरगुजा जिले (sarguja district) के कमलेश्वरपुर थाना क्षेत्र का है. पुलिस ने 3 साल की मासूम बच्ची के हत्या के मामले में उसके माता पिता को गिरफ्तार किया. 16 अगस्त को 3 वर्ष की बच्ची के गुम होने की शिकायत पुलिस को मिली थी. जिसके बाद मामले को गंभीरता से लेते हुए एक स्पेशल टीम का गठन कर जांच शुरू की गई. लेकिन पीड़ित माता पिता की बातों में संदेह होने पर पुलिस ने सख्ती से पूछताछ की. जिस पर बच्ची के माता पिता ने अपना गुनाह कबूल कर लिया.
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अपने भतीजे को उतारा मौत के घाट: दूसरा ताजा मामला उदयपुर थाना क्षेत्र का है. यहां 10 जुलाई को पुलिस को सूचना मिला कि ग्राम फुनगी के धनेश्वर पैकरा का शव खेत के पानी में पड़ा हुआ है. जिसके बाद पुलिस थाना उदयपुर में मर्ग कायम कर पंचनामा की कार्रवाई की गई और शव का पीएम कराया गया. जांच के दौरान यह बात सामने आई कि खेत में ट्रेक्टर खड़े करने की बात को लेकर धनेश्वर पैकरा का उसके बड़े पिताजी छत्रपाल, चचेरा भाई बुधमान पैकरा एवं अनिल सिंह से विवाद हुआ था.
खेत के पानी में डुबोकर मारा: जांच करने पर इस बात की पुष्टि हुई कि घटना के दिन मृतक धनेश्वर पैकरा अपने खेत में ट्रैक्टर खड़ी करने की बात को लेकर अपने बड़े पिताजी छत्रपाल पैकरा, चचेरा भाई बुधमान एवं अनिल पैकरा से गाली गलौज कर रहा था. जिस पर उनके बीच हाथापाई हुई और तीनों ने मिल कर धनेश्वर को खेत के पानी में डुबोकर मार डाला. इस घटना का खुलासा 19 अगस्त को हो सका. जिसके बाद पुलिस थाना उदयपुर में अपराध दर्ज किया. मामले में आरोपी छत्रपाल सिंह, बुधमान सिंह व अनिल कुमार ग्राम फुनगी को गिरफ्तार कर लिया गया.
आजीवन कारावास की सजा: कोर्ट ने 18 अगस्त को पत्नी को जिंदा जलाकर मारने के आरोप में आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. इस मामले में 6 दिसम्बर 2020 की रात दस बजे बसंती बाई ने पड़ोसी के घर जाकर टीवी देखने की बात कही थी. जिससे नाराज होकर शराब के नशे में धुत्त पति हरिराम ने बसंती बाई की पिटाई शुरू कर दी. मारपीट के बाद भी उसका क्रोध शांत नहीं हुआ, तो उसने मिट्टी तेल डालकर महिला को आग के हवाले कर दिया था. इस घटना में महिला की जलकर मौत हो गई थी. उदयपुर विकासखंड अंतर्गत डांड़गांव माझापारा में हरिराम साय गोंड़ अपनी पत्नी बंसती बाई व परिवार के सदस्यों के साथ रहता था.
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साक्ष्य छुपाने नदी में फेंका था शव: इस मामले में डीएसपी अखिलेश कौशिक ने बताया " इस प्रकार के दो मामले अभी हाल फिलहाल में आये. ये कमलेश्वर थाना के पथरई गांव का मामला है. इसमें आरोपी माता पिता ही निकले थे. इनके द्वारा अपनी 3 साल की बच्ची की गुम होने की रिपोर्ट थाने में दर्ज कराई गई थी. इसमें जब जांच पड़ताल की गई, तो पता चला की घटना की रात को खुद आरोपी पिता प्रमोद मांझी के द्वारा ही शराब के नशे में धुत्त होकर अपनी बेटी पर हाथ से नाक के पास में वार किया गया था. जिसकी वजह से उसकी मृत्यु हो गई थी. साक्ष्य छुपाने की नीयत से शव को नदी में फेंक दिया गया था. दोनों माता पिता को गिरफ्तार कर के जेल भेजा गया है"
65 वर्षीय छत्रपाल आरोपी: अखिलेश कौशिक आगे कहते हैं " इसी प्रकार की दूसरी घटना हमारे उदयपुर थाना के फुनगी गावं में भी आई थी. जिसमे धनेश्वर नामक व्यक्ति को उसी के ही परिवार से जुड़े हुये लोग छत्रपाल, बुधमान और ड्राइवर अनिल के द्वारा पीट पीटकर और पानी मे सिर को डूबा कर मार दिया गया था. उसमें अपराध कायम कर आरोपियों को अदालत में पेश किया गया. जहां अदालत ने उन्हें रिमांड में भेज दिया."
ज्यादातर क्राइम में नशा बड़ी वजह: डीएसपी कौशिक कहते हैं "इन दोनों घटनाओं के अलावा भी हम लोग आए दिन देखते रहते हैं की सरगुजा में पति-पत्नी का विवाद होता है जिसमे पति के द्वारा पत्नी को मार दिया जाता है. अभी हालही में हमने कोतवाली थाना क्षेत्र में देखा की एक महिला के द्वारा एक पुरुष को मार दिया गया था. शराब के नशे में सभी पाए गये थे. तो ज्यादातर घटनाएं नशे की अवस्था मे हुई हैं.
नशा मुक्त सरगुजा से ही अपराध पर लगेगा लगाम: डीएसपी ने अपील करते हुए कहा "हम ये भी बताना चाहेंगें की नशे से मुक्त सरगुजा के माध्यम से ही हम इस प्रकार की वारदातों पर लगाम लगा सकते हैं. बीते एक साल से सरगुजा पुलिस नशा मुक्ति के लिये नवा बिहान अभियान भी चला रही है. जिसमें नशे से युक्त लोगों की काउंसलिंग की जाती है. उनको रिहैबिलिटेशन कराने का प्रयास किया जाता है. इसमें अन्य समाज सेवा के क्षेत्र से जुड़े लोग भी लगातार मार्गदर्शन देते रहते हैं"