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छत्तीसगढ़ का यह हवाई अड्डा बना सियासी 'अखाड़ा', पहली उड़ान का है इंतजार

दरिमा एयरपोर्ट से घरेलू उड़ान अभी शुरू नहीं हुई है. हवाई अड्डा राजनीतिक दलों का सियासी अड्डा बन चुका है. कांग्रेस के मंत्री ने घरेलू उड़ान की शुरुआत में हो रही देरी का जिम्मेदार DGCA को बताया है.

दरिमा एयरपोर्ट
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Published : Oct 19, 2019, 3:36 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 8:00 AM IST

सरगुजा : दरिमा एयरपोर्ट से घरेलू उड़ान का सपना फिलहाल पूरा होता नजर नहीं आ रहा है. लेकिन यह हवाई अड्डा राजनीतिक दलों का सियासी अड्डा जरूर बन चुका है. बीजेपी जहां इसके लिए प्रदेश की कांग्रेस सरकार और जिला प्रशासन को दोषी बता रही है, वहीं कांग्रेस के मंत्री इस नाकामी का ठीकरा DGCA पर फोड़ रहे हैं.

छत्तीसगढ़ का यह हवाई अड्डा बना सियासी अखाड़ा

मंत्री सिंहदेव का कहना है कि 'DGCA बार-बार विमान सेवा शुरू करने को लेकर कमी बताती है. और DGCA राज्य सरकार के नहीं बल्की केंद्र सरकार के अधीन है'. फिलहाल 19 सीटर की उड़ान सेवा भी दरिमा से शुरू होती नहीं दिख रही है.

2017 में प्रयासो में आई थी तेजी

सरगुजा से घरेलू उड़ान शुरू करने की दिशा में पिछले कई साल से प्रयास किया जा रहा है और मार्च 2017 में उस समय इन प्रयासों में तेजी आई थी, जब भारत सरकार के उड्डयन मंत्रालय ने घरेलू उड़ान शुरू करने की योजना को मंजूरी दी थी. केंद्र से मिली मंजूरी के बाद 22 करोड़ रुपए की लागत से 160 हेक्टेयर भूमि पर PWD से निर्माण कराया जा रहा है.

'दूर की जाएंगी कमियां'

मंत्री का कहना है कि '72 सीटर प्लेन का प्रस्ताव आने के बाद अब प्रबंधन को नए सिरे से निर्माण कराना होगा जिसमें टर्मिनल और रनवे का उन्नयन भी किया जाना है. इसके साथ ही एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया की ओर से गिनाई गई कमियों को भी दूर किया जाना है'. हैरान करने वाली बात है कि निर्माण कार्यों के लिए अब तक शासन से कोई राशि नहीं मिल पाई है.

प्रस्ताव बनाकर भेजा गया है

19 सीटर प्लेन के बाद अब 72 सीटर प्लेन से हवाई सेवा शुरू करने की योजना बनाई गई है. वर्तमान में 1500 मीटर का रनवे बनाया गया है. लेकिन भविष्य में बड़े प्लेन के लिए रनवे की लंबाई बढ़ाने की जरुरत होगी. DGCA के निर्देश पर PWD ने रनवे की लंबाई 2100 मीटर करने का प्रस्ताव बनाकर भेजा गया है. रनवे की लंबाई बढ़ने के साथ पेरिमीटर वॉल का भी नए सिरे से निर्माण करना होगा. वहीं इसके लिए अतिरिक्त भूमि अधिग्रहण की भी जरूरत होगी, जिसके लिए सबसे पहले शासन से नए निर्माण कार्यों को स्वीकृति मिलना जरुरी है.

सरगुजा : दरिमा एयरपोर्ट से घरेलू उड़ान का सपना फिलहाल पूरा होता नजर नहीं आ रहा है. लेकिन यह हवाई अड्डा राजनीतिक दलों का सियासी अड्डा जरूर बन चुका है. बीजेपी जहां इसके लिए प्रदेश की कांग्रेस सरकार और जिला प्रशासन को दोषी बता रही है, वहीं कांग्रेस के मंत्री इस नाकामी का ठीकरा DGCA पर फोड़ रहे हैं.

छत्तीसगढ़ का यह हवाई अड्डा बना सियासी अखाड़ा

मंत्री सिंहदेव का कहना है कि 'DGCA बार-बार विमान सेवा शुरू करने को लेकर कमी बताती है. और DGCA राज्य सरकार के नहीं बल्की केंद्र सरकार के अधीन है'. फिलहाल 19 सीटर की उड़ान सेवा भी दरिमा से शुरू होती नहीं दिख रही है.

2017 में प्रयासो में आई थी तेजी

सरगुजा से घरेलू उड़ान शुरू करने की दिशा में पिछले कई साल से प्रयास किया जा रहा है और मार्च 2017 में उस समय इन प्रयासों में तेजी आई थी, जब भारत सरकार के उड्डयन मंत्रालय ने घरेलू उड़ान शुरू करने की योजना को मंजूरी दी थी. केंद्र से मिली मंजूरी के बाद 22 करोड़ रुपए की लागत से 160 हेक्टेयर भूमि पर PWD से निर्माण कराया जा रहा है.

'दूर की जाएंगी कमियां'

मंत्री का कहना है कि '72 सीटर प्लेन का प्रस्ताव आने के बाद अब प्रबंधन को नए सिरे से निर्माण कराना होगा जिसमें टर्मिनल और रनवे का उन्नयन भी किया जाना है. इसके साथ ही एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया की ओर से गिनाई गई कमियों को भी दूर किया जाना है'. हैरान करने वाली बात है कि निर्माण कार्यों के लिए अब तक शासन से कोई राशि नहीं मिल पाई है.

प्रस्ताव बनाकर भेजा गया है

19 सीटर प्लेन के बाद अब 72 सीटर प्लेन से हवाई सेवा शुरू करने की योजना बनाई गई है. वर्तमान में 1500 मीटर का रनवे बनाया गया है. लेकिन भविष्य में बड़े प्लेन के लिए रनवे की लंबाई बढ़ाने की जरुरत होगी. DGCA के निर्देश पर PWD ने रनवे की लंबाई 2100 मीटर करने का प्रस्ताव बनाकर भेजा गया है. रनवे की लंबाई बढ़ने के साथ पेरिमीटर वॉल का भी नए सिरे से निर्माण करना होगा. वहीं इसके लिए अतिरिक्त भूमि अधिग्रहण की भी जरूरत होगी, जिसके लिए सबसे पहले शासन से नए निर्माण कार्यों को स्वीकृति मिलना जरुरी है.

Intro:सरगुज़ा : दरिमा एयरपोर्ट से घरेलु उड़ान का सपना पूरा होना फिलहाल संभव होता नजर नहीं आ रहा है। लेकिन यह हवाई अड्डा राजनीतिक दलों का सियासी अड्डा जरूर बन चुका है, जहां भाजपा इसमें प्रदेश की कांग्रेस सरकार और जिला प्रशासन को दोषी बता रही है तो वहीं कांग्रेस के मंत्री का कहना है की डीजीसीए बार बार कमी बताती है उन्हें एक बार मे बता देना चाहिए और डीजीसीए हमारे नही केंद्र सरकार के अधीन है। बहरहाल इन सबके बीच फिलहाल 19 सीटर की उड़ान सेवा भी यहाँ शरू होती नही दिख रही है।


72 सीटर प्लेन का प्रस्ताव आने के बाद अब प्रबंधन को नए सिरे से निर्माण कराना होगा जिसमें टर्मिनल व रनवे का उन्नयन भी किया जाना है। इसके साथ ही एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इण्डिया द्वारा गिनाई गई कमियों को भी दूर किया जाना है और इन सभी निर्माण कार्यों को पूर्ण करने में लम्बा समय लगने की सम्भावना जताई जा रही है परन्तु सबसे बड़ी बात तो यह है कि इन निर्माण कार्यों के लिए अब तक शासन से कोई राशि नहीं मिल पाई है। निर्माण कार्यों को लेकर पूर्व में ही प्रोजेक्ट बनाकर भेजा जा चुका है परन्तु अब तक इस दिशा में किसी प्रकार की पहल नहीं होने के कारण योजना फिलहाल ठन्डे बस्ते में पड़ी नजर आ रही है। सरगुजा से घरेलु उड़ान शुरू करने की दिशा में वर्षों से प्रयास किया जा रहा है और मार्च 2017 में उस समय इन प्रयासों में तेजी आई थी जब भारत सरकार के उड्डयन मंत्रालय द्वारा घरेलु उड़ान शुरू करने योजना को मंजूरी दी थी। केंद्र से मिली मंजूरी के बाद 22 करोड़ रुपए की लागत से 160 हेक्टेयर भूमि पर लो.नि.वि. द्वारा निर्माण कराया जा रहा है। वर्तमान में दरिमा एयरपोर्ट में 1500 बाई 30 मीटर लम्बे रनवे, 8 किमी लम्बे और 8 मीटर ऊंचे फेंसिंग युक्त दीवार,एटीसी टावर, 30 सीटर पारदर्शी टर्मिनल बिल्डिंग, 6 वाच टावर, मौसम विभाग के कार्यलय, फायर पिट, एक लाख लीटर क्षमता के वाटर रीजर वायर, शेड निर्माण, सिक्युरिटी रूम, पैरिमेटर रोड, गार्डन, कार पार्किंग सहित अन्य निर्माण कार्य पूर्ण कर लिए गए है।

निर्माण कार्यों का एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इण्डिया के साथ ही डीजीसीए भी कई बार निरीक्षण कर चुकी है और अंतिम निरीक्षण में डीजीसीए ने कुछ खामियां बताई थी। इन कमियों को दूर करने लिए एरयपोर्ट प्रबंधन को नए निर्माण कराने के साथ ही पुराने निर्माण कार्यों में कुछ बदलाव करने पड़ेंगे इसके लिए लोनिवि द्वारा प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा गया था परन्तु हैरानी की बात तो यह है कि लम्बा समय बीतने के बाद भी अब तक निर्माण कार्यों के लिए राशि स्वीकृत नहीं हो पाई है और जब तक राशि नहीं मिलती है कमियों को दूर करने की दिशा में काम नहीं किया जा सकता। राशि मिलने के बाद भी निर्माण कार्यों को पूर्ण होने में लम्बा समय लगने की सम्भावना है ऐसे में फिलहाल सरगुजा से घरेलु उड़ान शुरू हो पाना संभव नजर नहीं आ रहा है।


Body:19 सीटर प्लेन के बाद अब 72 सीटर प्लेन से हवाई सेवा शुरू करने की योजना बनाई गई है। क्षमता में विस्तार होने के बाद अब उस हिसाब से रनवे की भी जरुरत पड़ेगी। वर्तमान में 1500 मीटर का रनवे बनाया गया है परन्तु भविष्य में बड़े प्लेन के लिए रनवे की लम्बाई बढ़ानी पड़ेगी। डीजीसीए के निर्देश पर लोनिवि द्वारा लगभग रनवे की लम्बाई 2100 मीटर करने का प्रस्ताव बनाकर भेजा गया है। रनवे की लम्बाई बढ़ने के साथ ही पेरिमीटर वाल का भी नए सिरे से करना होगा वहीं अतिरिक्त भूमि अधिग्रहण की भी जरूरत होगी परन्तु इसके लिए सबसे पहले शासन से नए निर्माण कार्यों को स्वीकृति मिलना जरुरी है।


वर्तमान में दरिमा एयरपोर्ट में 19 सीटर प्लेन के संचालन को ध्यान में रखते हुए लगभग 30 सीटर टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण कराया गया था परन्तु अब 72 सीटर प्लेन के संचालन की योजना बनाई गई है इस लिहाज से टर्मिनल बिल्डिंग की सीटिंग क्षमता में भी विस्तार करना होगा। घरेलु उड़ान शुरू होने पर सुरक्षा मानकों के अनुरूप यात्रियों को समय से एक घंटे पहले ही चेक इन करना होता है ऐसे में उनके सीटिंग को लेकर भी व्यवस्था होनी चाहिए। प्रबंधन द्वारा भविष्य में उड़ान की संख्या में बढ़ोत्तरी को ध्यान में रखते हुए 300 सीटर टर्मिनल बिल्डिंग के निर्माण का प्रस्ताव शासन को भेजा गया है।Conclusion:बाईट01_अनुराग सिंह देव (भाजपा प्रदेश मंत्री)

बाईट02_टी एस सिंह देव (स्वास्थ्य एवं पंचायत मंत्री)

देश दीपक सरगुजा
Last Updated : Jul 25, 2023, 8:00 AM IST
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