सरगुजाः मंगलवार सुबह 6 बजे से 23 अप्रैल रात 12 बजे तक 24 घंटे का सख्त लॉकडाउन शुरू हो चुका है. यह लॉकडाउन 11 दिनों का होगा. जिले में कोरोना की स्थिति नियंत्रण में नहीं है. जिसके बाद शहर में लॉकडाउन का फैसला लिया गया है. चौक-चौराहों पर पुलिस बल के जवान तैनात हैं. जो आने-जाने वालों की तस्दीक कर रहे हैं. मेडिकल इमरजेंसी छोड़कर बाकी घूमने वालों पर कार्रवाई के साथ साथ एफआईआर दर्ज करने की कवायद भी की जा रही है.
सरगुजा में 11 हजार 528 लोग कोरोना संक्रमित हो चुके हैं. लगभग 150 मौत कोरोना से हो चुकी है. हालांकि इनमें से कुछ मौतें जो घर मे हुई हैं उसका रिकॉर्ड भी स्वास्थ्य विभाग के पास नहीं है. सोमवार को 208 एक्टिव मामले सामने आए हैं. लगातार बीते एक सप्ताह से सरगुज़ा में 200 से ज्यादा कोरोना मरीज मिल रहे हैं.
कोरोना को लेकर स्वास्थ्य विभाग की तैयारी
कोरोना के इलाज के लिए 144 बेड निजी अस्पतालों में आरक्षित हैं. निजी अस्पतालों में आइसीयू के 42 बेड हैं. वहीं निजी अस्पतालों में ऑक्सीजन बेड की संख्या 76 और शासकीय अस्पताल में 10 मतलब कुल ऑक्सीजन बेड 176 हैं. इसके साथ ही सामान्य बेड निजी अस्पताल में 36 हैं. इसके आलवा शासकीय कोविड अस्पताल में 32 अतिरिक्त ऑक्सीजन बेड की व्यवस्था की जा रही है. जिले में 550 बेड का आइसोलेशन सेंटर है. इसमें भी बेड की संख्या बढ़ाने की तैयारी चल रही हैं. गांव में क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाए जा रहे हैं.
यहां मिल रहे सबसे ज्यादा मरीज
जिले में सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्र अम्बिकापुर शहर है. जहां सबसे अधिक कोरोना मरीज मिल रहे हैं इसके बाद सीतापुर विकासखंड दूसरे नंबर पर है. जिले में लॉक डाउन के दौरान मेडिकल सेवा, वाटर सप्लाई, सफाई का काम, एलपीजी होम डिलीवरी,पेट्रोल पंप, राशन होम डिलीवरी, दूध और न्यूज पेपर की सेवाएं चालू हैं.
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मुफ्त दवाई की सुविधा
जिले में फिलहाल दवाइयों की कमी नहीं है. स्वास्थ्य विभाग लगातार कोरोना के मरीजों को निशुल्क दवाई उपलब्ध करा रहा है. यहां श्मशान घाट में भी हालत सामान्य बने हुए हैं. लेकिन लॉकडाउन 23 अप्रैल को खत्म होगा या आगे बढ़ाया जाएगा इसका फैसला तो कोरोना की रफ्तार से ही तय होगा.